ट्रेंडिंग न्यूज़

Hindi News विदेशभारत से बातचीत की पहल करने पर अपने ही देश में घिरे इमरान खान

भारत से बातचीत की पहल करने पर अपने ही देश में घिरे इमरान खान

पाकिस्तान के विपक्षी सांसदों ने संसद को विश्वास में लिये बगैर आतंकवाद और कश्मीर समेत अहम मुद्दों पर भारत से फिर से बातचीत की पेशकश करने पर प्रधानमंत्री इमरान खान की आलोचना की है। मंगलवार को मीडिया की...

भारत से बातचीत की पहल करने पर अपने ही देश में घिरे इमरान खान
नई दिल्ली।एजेंसी Tue, 25 Sep 2018 04:36 PM
ऐप पर पढ़ें

पाकिस्तान के विपक्षी सांसदों ने संसद को विश्वास में लिये बगैर आतंकवाद और कश्मीर समेत अहम मुद्दों पर भारत से फिर से बातचीत की पेशकश करने पर प्रधानमंत्री इमरान खान की आलोचना की है। मंगलवार को मीडिया की एक रिपोर्ट में यह बात कही गई है। संसद के उपरी सदन सीनेट की सोमवार की शाम को बैठक हुई। उसमें भारत से वार्ता बहाल करने की सरकार की कोशिशों समेत विभिन्न मुद्दों पर चर्चा हुई। 

पिछले महीने पाकिस्तान के प्रधानमंत्री बने पूर्व क्रिक्रेटर इमरान खान ने 14 तारीख को एक पत्र लिखकर इस महीने न्यूयार्क में संयुक्त राष्ट्र महासभा की बैठक के मौके पर विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी और उनकी भारतीय समकक्ष सुषमा स्वराज के बीच भेंटवार्ता का प्रस्ताव रखा था। खान ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 18 अगस्त के पत्र के जवाब में यह पत्र लिखा था। मोदी ने अपने पत्र में पाकिस्तान के साथ सार्थक और रचनात्मक संवाद की दिशा में बढ़ने की कटिबद्धता प्रदर्शित की थी और आतंकवाद मुक्त दक्षिण एशिया के लिए काम करने की आवश्यकता पर बल दिया था।

पाकिस्तानी सीनेट के पूर्व सभापति और पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी के नेता मियां रजा रब्बानी ने कहा कि खान की भारत के साथ वार्ता की पेशकश कश्मीर की स्थिति के मद्देनजर समझ से परे है। मोदी का पत्र तो प्रतीकात्मक था जबकि उसके जवाब में लिखे गये पत्र में वार्ता की पेशकश कर दी गयी। उन्होंने खान के पत्र की इस भाषा पर भी एतराज किया कि पाकिस्तान आतंकवाद पर चर्चा के लिए तैयार है।

जमीयत उलेमा-ए-इस्लाम फज्ल के सीनेटर अब्दुल गफूर हैदरी ने सवाल किया कि कैसे कोई एक व्यक्ति भारत के साथ वार्ता की पेशकश कर सकता है। उन्होंने संसद को विश्वास में नहीं लेने पर खान की आलोचना की और उन्होंने सावधानीपूर्वक आगे बढ़ने की ताकीद की। सरकार की ओर से सूचना मंत्री फवाद चौधरी ने सफाई दी कि खान ने उन्हें मिले पत्र का जवाब दिया था। पाकिस्तान जम्मू कश्मीर के अहम मुद्दे समेत भारत के साथ सभी विवादों का हल चाहता है।
जल्द ही ट्रंप उत्तर कोरिया के शासक किम जोंग-उन से करेंगे मुलाकात

उन्होंने कहा, दोनों देश 70 सालों से लड़ते आ रहे हैं और अगर भारत चाहेगा तो हम अगले 70 साल भी लड़ाई जारी रख सकते हैं। लेकिन अगर परमाणु युद्ध छिड़ गया तो पूरा उपमहाद्वीप तबाह हो जाएगा। पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के फैसल जावेद ने कहा कि इन मुद्दों पर अंक बनाने की कोशिश चल रही है जबकि इस पर सभी राजनीतिक दलों के बीच पूर्ण एकता की जरूरत है।

बैठक रद्द होने पर बोले शाह महमूद कुरैशी, भारत अनिच्छुक पर हम अपने दरवाजे बंद नहीं करेंगे

हिन्दुस्तान का वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें