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महिलाओं के लिए वरदान बना दुनिया का पहला ब्लड इक्यूंबेटर, भ्रूण नष्ट करने वाले संक्रमण से करेगा बचाव

पिछले दो दशकों में भारत में इनफर्टिलिटी के आंकड़ों में लगातार बढ़ोत्तरी देखी गई है। इसकी खास वजह तनावपूर्ण लाइफस्टाइल, शादी की बढ़ती उम्र, शराब का अधिक सेवन, बढ़ते मोटापे के साथ महिलाओं के पेट में पल...

महिलाओं के लिए वरदान बना दुनिया का पहला ब्लड इक्यूंबेटर, भ्रूण नष्ट करने वाले संक्रमण से करेगा बचाव
लाइव हिन्दुस्तान टीम,नई दिल्लीMon, 23 Sep 2019 07:19 AM
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पिछले दो दशकों में भारत में इनफर्टिलिटी के आंकड़ों में लगातार बढ़ोत्तरी देखी गई है। इसकी खास वजह तनावपूर्ण लाइफस्टाइल, शादी की बढ़ती उम्र, शराब का अधिक सेवन, बढ़ते मोटापे के साथ महिलाओं के पेट में पल रहे भ्रूण को खत्म करने वाले संक्रमण होते हैं। जिसकी वजह से महिलाएं मां बनने के सुख से वंचित रह जाती हैं। लेकिन अब महिलाओं की इस परेशानी का हल डॉक्टर्स ने ढूंढ निकाला है। जी हां शोधकर्ताओं ने दुनिया के पहले ब्लड इक्यूंबेटर की खोज कगर ली है। आइए जानते हैं आखिर क्या है ये ब्लड इक्यूंबेटर।

शोधकर्ताओं ने लेजर तकनीक की मदद से दुनिया के पहले ब्लड इक्यूंबेटर की खोज की। यह गर्भवती महिलाओं में एंटीबॉडी का पता लगाकर भ्रूण को खत्म करने वाले संक्रमण को रोक सकेगा।

हेल्थ जर्नल में प्रकाशित एक शोध नेचुरल साइंटिफिक के मुताबिक, यह निष्कर्ष पैथोलॉजी लैब से प्वाइंट-ऑफ-केयर तक प्री-ट्रांसफ्यूजन टेस्ट ला सकते हैं, जिसमें इंडस्ट्री की तुलना में ब्लड इक्यूंबेशन में सिर्फ 40 सेकेंड का समय लगता है जोकि सामान्य प्रक्रिया में पांच मिनट तक होता है।

ब्लड इक्यूंबेटर के जरिये दुनिया भर में रक्त संक्रमण से गुजरने वालो लाखों रोगियों की पूर्व में जांच कर मदद की जा सकती है। इसके जरिये इम्युनोग्लोबुलिन जी (आईजीजी) एंटीबॉडी का पता लगाने के लिए 37 डिग्री सेल्सियस पर 15 मिनट तक ऊष्मायन की आवश्यकता होती है।  

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