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ई-सिगरेट से बढ़ सकता है कैंसर का खतरा, भाप में मिले जानलेवा कण

अमेरिकी वैज्ञानिकों की एक टीम ने पाया है कि साल 2013 में प्रचलन में आने के बाद से टैंक-स्टाइल इलेक्ट्रॉनिक सिगरेट के एरोसोल या वाष्प में सीसा, निकल, आयरन और कॉपर जैसी हानिकारक धातुओं के कणों की...

ई-सिगरेट से बढ़ सकता है कैंसर का खतरा, भाप में मिले जानलेवा कण
लाइव हिन्दुस्तान टीम,नई दिल्लीMon, 30 Sep 2019 11:51 AM
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अमेरिकी वैज्ञानिकों की एक टीम ने पाया है कि साल 2013 में प्रचलन में आने के बाद से टैंक-स्टाइल इलेक्ट्रॉनिक सिगरेट के एरोसोल या वाष्प में सीसा, निकल, आयरन और कॉपर जैसी हानिकारक धातुओं के कणों की संख्या बढ़ी है। इन धातुओं को कार्सिनोजेन धातु भी कहा जाता है जिनसे कैंसर होने का खतरा रहता है।

उनके मुताबिक, ई-सिगरेट में बैटरी, एटॉमिजिंग यूनिट और फ्लूइड होता है, जिसे फिर से भरा जा सकता है। यह अब नए टैंक-स्टाइल डिजाइन में आती है, जिसमें अधिक दमदार बैटरियां होने के साथ-साथ फ्लूइड जमा रखने के लिए अधिक क्षमता वाली टंकी बनी होती है।

कैलिफोर्निया यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने कहा कि नई स्टाइल में प्रयोग में लाई जाने वाली उच्च क्षमता वाली बैटरी और फ्लूइड के संपर्क से जो वाष्प उत्पन्न होती है, उनमें भारी धातु के कण शामिल होते हैं।

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