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coranavirus: नवरात्रि में ऐसे बढ़ाएं रोग प्रतिरोधक क्षमता, जानें आयुर्वेदिक नुस्खे

कोरोना वायरस के जानलेवा खतरे के बीच नवरात्रि शुरू हो चुके हैं। शक्ति आराधना के इस पर्व पर बड़ी संख्या में लोग व्रत या उपवास रखते हैं। क्या आपको पता है कि उपवास रखना सिर्फ पूजा-पाठ, धर्म या संस्कृति से...

coranavirus: नवरात्रि में ऐसे बढ़ाएं रोग प्रतिरोधक क्षमता, जानें आयुर्वेदिक नुस्खे
हिन्दुस्तान टीम,नई दिल्ली Fri, 27 Mar 2020 08:25 PM
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कोरोना वायरस के जानलेवा खतरे के बीच नवरात्रि शुरू हो चुके हैं। शक्ति आराधना के इस पर्व पर बड़ी संख्या में लोग व्रत या उपवास रखते हैं। क्या आपको पता है कि उपवास रखना सिर्फ पूजा-पाठ, धर्म या संस्कृति से नहीं जुड़ा है बल्कि इसके कई फायदे भी हैं। विज्ञान भी मानता है कि कुछ समय के लिए खाने-पीने की चीजों से दूर रहना आपकी सेहत के लिए कई तरह से फायदेमंद हो सकता है। ऐसे में नवरात्रि एक अच्छा मौका है अपनी इम्यूनिटी को मजबूत करने का।

रोगों से लड़ने की क्षमता बढ़ेगी
दिल्ली के पंचकर्मा आयुर्वेदिक अस्पताल के डॉक्टर राजपाल पारासर के मुताबिक, उपवास रखने से आपके शरीर की रोगों से लड़ने की क्षमता बेहतर होती है क्योंकि यह शरीर में मौजूद हानिकारक तत्वों से होने वाले नुकसान को कम करता है। सूजन व जलन की समस्या दूर होती है।
 
आयुर्वेदिक नुस्खे

  1. नवरात्रि के दौरान पूजा में अगर, तगर, लौंग, इलायची, कपूर, गुग्गल, जावित्री आदि का इस्तेमाल होता है, इससे घर से वैक्टीरिया दूर भागते हैं।
  2. विटामिन सी से भरपूर चीजों लें। आंवला, संतरा, मौसमी, अंगूर में से जो भी उपलब्ध है उसका सेवन जरूर करना चाहिए।
  3. दूध में मुनक्का व खजूर उबालकर लेने से इम्यूनिटी के स्तर में तुरंत सुधार होता है। बच्चों व बुजुर्गों के लिए इनका प्रयोग विशेष रूप से प्रभावी है।
  4. तुलसी, अदरक, लौंग, कालीमिर्च, सौंठ को दूध चाय या पानी में उबालकर दिन में दो तीन बार पीने से प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि होती है

 

तनाव मुक्त भी रहेंगे
लॉकडाउन और कोरोना का भय मानसिक स्तर पर लोगों को कमजोर कर रहा है। व्रत करने से आप मानसिक तनाव से भी दूर रहते हैं। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि दिमाग एकदम शांत रहता है और लगातार सकारात्मक सोचते हैं। इससे डिप्रेशन और दिमाग से जुड़ी कई समस्याओं से आपको छुटाकारा मिलता है।

डायबिटीज में मददगार
डायबीटीज के मरीजों के लिए व्रत काफी फायदेमंद है क्योंकि उपवास से ब्लड शुगर नियंत्रित रहता है। इतना ही नहीं टाइप 2 डायबिटीज के मरीज अगर थोड़े समय (14 से 16 घंटे तक ) तक उपवास रखें तो उनके ब्लड शुगर स्तर में काफी कमी आ जाती है। इंसुलिन के प्रति सेंसिटिविटी बढ़ती है जिससे खून में मौजूद ग्लूकोज को कोशिका तक पहुंचाना आसान हो जाता है।

दिल दुरुस्त रहेगा व्रत

कई अध्ययन में यह बात साबित हो चुकी है कि उपवास रखने से दिल से सेहत दुरुस्त रहती है। क्योंकि उपवास रखने से शरीर में मौजूद खराब कोलेस्ट्रॉल का स्तर काफी कम हो जाता है, इससे रक्तचाफ नियंत्रित रहता है। जाहिर सी बात है कि आपके दिल को किसी तरह का कोई खतरा नहीं होगा।

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