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Hindi NewsAlert: कम लंबाई वाले बच्चों में ज्यादा होता है आघात का खतरा

Alert: कम लंबाई वाले बच्चों में ज्यादा होता है आघात का खतरा

मस्तिष्क आघात (ब्रेन स्ट्रोक) काफी खतरनाक बीमारी है। इसमें व्यक्ति की जान भी जा सकती है। दिमाग तक ऑक्सीजन और पोषण पहुंचाने वाली रक्त वाहिकाओं में थक्के जमने या फट जाने के कारण मस्तिष्क आघात होता है।...

Alert: कम लंबाई वाले बच्चों में ज्यादा होता है आघात का खतरा
एजेंसी,लंदनFri, 16 Feb 2018 05:39 PM
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मस्तिष्क आघात (ब्रेन स्ट्रोक) काफी खतरनाक बीमारी है। इसमें व्यक्ति की जान भी जा सकती है। दिमाग तक ऑक्सीजन और पोषण पहुंचाने वाली रक्त वाहिकाओं में थक्के जमने या फट जाने के कारण मस्तिष्क आघात होता है। इस बीमारी में व्यक्ति का मुंह तिरछा हो जाना, कोई शारीरिक हिस्सा बेजान हो जाना या जुबान लड़खड़ाने जैसे लक्षण दिखाई देने लगते हैं।

ब्रिटिश वैज्ञानिकों ने सन् 1930 से 1989 के दौरान जन्म लिए व्यक्तियों पर मस्तिष्क आघात से संबंधित एक शोध किया है। जिसमें पाया गया कि बालावस्था के दौरान बच्चे के कद का इस बीमारी से गहरा संबंध है। जिन बच्चों का कद सामान्य से एक या दो इंच कम था, उनमें वयस्क होने के बाद आघात के ज्यादा मामले देखे गए। सामान्य या ज्यादा कद वाले बच्चों में इस बीमारी की कम संभावना देखी गई। यह प्रभाव पुरुष व महिला दोनों पर पड़ता है। शोधकर्ताओं के अनुसार सामान्य से कम कद वाले 7, 10 और 13 साल के बच्चों में मस्तिष्क आघात के 11 प्रतिशत ज्यादा मामले पाये गए। 

सामान्य कद कितना होता है...

वैज्ञानिकों के मुताबिक 13 साल के बच्चे का सामान्य कद पांच फुट तीन इंच और 7 साल के बच्चे का कद चार फुट के करीब होना चाहिए। इससे ज्यादा कद वाले बच्चों में मस्तिष्क आघात का खतरा कम होता है।

वरिष्ठ शोधकर्ता प्राध्यापक जेनीफर बेकर ने कहा कि, "हमारे अध्ययन के अनुसार सामान्य से छोटे कद वाले बच्चों में वयस्क होने पर मस्तिष्क आघात का खतरा ज्यादा होता है। ऐसे बच्चों को अपनी जीवनशैली का अच्छी तरह ध्यान रखना चाहिए। साथ ही पोषक व स्वस्थ आहार का सेवन करना चाहिए। जिससे इस खतरनाक बीमारी से बचा जा सके। हालांकि, कद और मस्तिष्क आघात का संबंध क्यों है? इस पर अध्ययन किया जाना बाकी है।"

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