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जीवाणु और विषाणु हैं शरीर के दुश्मन, खुद को कैसे बचाएं

प्रकृति में मौजूद बैक्टीरिया और वायरस के लगातार संपर्क से व्यक्ति की प्रतिरक्षा प्रणाली कमजोर हो जाती है। बैक्टीरिया यानी जीवाणु और वायरस यानी विषाणु के बारे में जानना बहुत जरूरी है क्योंकि लोग...

जीवाणु और विषाणु हैं शरीर के दुश्मन, खुद को कैसे बचाएं
myupcharFri, 10 Jan 2020 11:48 AM
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प्रकृति में मौजूद बैक्टीरिया और वायरस के लगातार संपर्क से व्यक्ति की प्रतिरक्षा प्रणाली कमजोर हो जाती है। बैक्टीरिया यानी जीवाणु और वायरस यानी विषाणु के बारे में जानना बहुत जरूरी है क्योंकि लोग इन्हें एक ही मान लेते हैं। लेकिन वास्तव में जीवाणु और विषाणु में अंतर है। बैक्टीरिया अन्य जीवों के अंदर पाए जाने वाले ऐसे कोशिकीय सूक्ष्म जीव होते हैं, जिनकी संख्या लाखों में होती है और विषाणु एक अकोशिकीय सूक्ष्म जीव है जो किसी जीवित कोशिका के सम्पर्क में आते ही जीवित होता है। दोनों में एक बड़ा अंतर है कि बैक्टीरिया कभी भी सुप्त अवस्था में नहीं रहते हैं जबकि वायरस यदि किसी जीवित कोशिका के सम्पर्क में नहीं हैं तो वे सुप्त अवस्था में सैकड़ों साल तक रहते हैं।

www.myupchar.com/ से जुड़े एम्स के डॉ. अजय मोहन के अनुसार, मानव शरीर में कोशिकाओं की तुलना में बैक्टीरिया अधिक होते हैं। बैक्टीरिया अधिकतर अच्छे होते हैं और बहुत कम मात्रा में नुकसान पहुंचाते हैं, लेकिन कभी-कभी ये कई बीमारियों को भी बुलावा देते हैं जबकि वायरस हमेशा संक्रमित करता है और अपने अनुसार आरएनए और डीएनए को बदलता है।

बैक्टीरिया आसपास के वातावरण में यानी हवा, पानी और मिट्टी में पाए जाते हैं। यहां तक कि ये हमारे भोजन में भी मौजूद होते हैं। ये बैक्टीरिया स्किन, मुंह, पेट और आंतों में भी रहते हैं और हमारी आंतों में रहने वाले बैक्टीरिया रोग पैदा करने वाले जीवाणुओं को खत्म कर देते हैं और हमारे शरीर को स्वस्थ बनाए रखने में मददगार होते हैं। इसके अलावा शरीर में एंजाइम और विटामिन के निर्माण में भी इनकी खास भूमिका होती है। बीमारी पैदा करने वाले बैक्टीरिया में कुछ विषैले तत्व होते हैं जिन्हें  एंडोटॉक्सिन और एक्सो‍टॉक्सिन कहा जाता है। बैक्टीरिया से होने वाली कुछ प्रमुख बीमारियों में बैक्टीरियल मेनिनन्जाइटिस, निमोनिया, टीबी, कॉलेरा, स्ट्रेप थ्रोट, फूड पॉइजनिंग शामिल हैं।

वहीं वायरस के कारण कई प्रकार के रोग हो सकते हैं। वायरस से होने वाली कुछ बीमारियों में चेचक, सामान्य सर्दी जुकाम, चिकन पॉक्स, इन्फ्लूएंजा, जेनाइटल हर्पीस, मीजल्स, रेबीज, इबोला, पोलियो, एड्स आदि हैं। जानवरों को प्रभावित करने वाली बीमारियों में रेबीज, बर्ड फ्लू स्वाइन फ्लू शामिल हैं।

एंटीबायोटिक्स वायरल इन्फेक्शन के लिए काम नहीं करते हैं। कुछ वायरल इन्फेक्शन के इलाज के लिए एंटी वायरस दवाएं दी जाती हैं।

ऐसे बचें बैक्टीरिया और वायरस से

कई वायरल बीमारियों से बचाने में कुछ टिके उपलब्ध हैं जैसे स्माल पॉक्स। हानिकारक बैक्टीरिया या वायरस से बचने के लिए आपको हाइजिन रखना जरूरी है। इसके लिए बार-बार हाथ धोएं और बैक्टीरियारोधी साबुन व गर्म पानी का इस्तेमाल करें। अपने आसपास की चीजों को साफ रखें। बीमार व्यक्ति से दूर रहें। सभी को छींकते या खांसते हुए अपना मुंह और नाक पर हाथ की बजाए कोहनी रखना चाहिए। खाना बनाने से पहले हाथ जरूर धोएं। साथ ही सब्जियों को अच्छी तरह धोकर ही पकाएं। निजी वस्तुओं को शेयर करने से बचें जैसे टूथब्रश, तौलिया, नेलकटर, रुमाल, रेजर आदि। इससे बैक्टीरिया फैलते हैं। अगर पशु प्रेमी हैं तो भी आपको खूब ध्यान रखने की जरूरत है। अपने पालतू जानवरों का चेकअप करवाते रहें और उनके वैक्सीनेशन का ध्यान रखें। वायरस और बैक्टीरिया यात्रा के समय आसानी से प्रभावित करते हैं। ऐसी जगह पानी न पिएं जहां आपको उसकी गुणवत्ता पर संदेह हो।

 

अधिक जानकारी के लिए देखें: https://www.myupchar.com/disease/bacterial-infections

स्वास्थ्य आलेख www.myUpchar.com द्वारा लिखे गए हैं।

 

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