Jogira Sara Ra Ra Review: कमजोर कहानी ने डुबोई नैया, नवाजुद्दीन की एक्टिंग भी नहीं आई काम
जोगीरा सारा रा रा सिनेमाघरों में रिलीज हो गई है। फिल्म में नवाजुद्दीन सिद्दीकी और नेहा शर्मा की परफॉर्मेंस तो अच्छी है लेकिन यह खराब कहानी से मात खा जाती है। साथ ही फिल्म हंसा भी नहीं पाती।
फिल्म: जोगीरा सारा रा रा
कलाकार: नवाजुद्दीन सिद्दीकी, नेहा शर्मा, महाक्षय चक्रवर्ती, संजय मिश्रा, जरीना वहाब और अन्य
निर्देशक: कुशन नंदी
फिल्म 'जोगीरा सारा रा रा' में पहली बार नवाजुद्दीन सिद्दीकी और नेहा शर्मा काम कर रहे हैं। दोनों पिछले कुछ दिनों से लगातार इसके प्रमोशन के सिलसिले में देखे गए। अब उनकी यह फिल्म सिनेमाघरों में रिलीज हो गई है। इसे देखते वक्त कई सीन बॉलीवुड की अन्य फिल्मों की याद दिलाती हैं। चाहे वह शादी का सीन हो, एक आदमी जिसने शादी न करने का वादा किया है, वेडिंग प्लानर लड़की को भगाने में मदद करता है, उनका प्यार में पड़ना और परिवार के सदस्यों को इन सबका पता चलता है। निर्देशक कुशन नंदी की यह फिल्म अगर देखने का प्लान कर रहे हैं तो उससे पहले रिव्यू पढ़िए।
क्या है कहानी
कहानी वेडिंग प्लानर जोगी प्रताप (नवाजुद्दीन सिद्दीकी) के इर्द-गिर्द घूमती है। वह इसलिए शादी नहीं करना चाहता क्योंकि वह घर में 6 महिला सदस्यों के साथ एक और महिला को नहीं लाना चाहता। उसकी मां, चार बहनें और चाची हैं। वह तब मुश्किल में आ जाता है जब डिंपल चौबे (नेहा शर्मा) उसे लल्लू (महाक्षय चक्रवर्ती) के साथ अरेंज मैरिज को तुड़वाने के लिए मना लेती है। इस बीच परिवार के सदस्यों के सीन हैं। पुलिस वाले हैं जो कभी भी आते हैं और कभी भी चले जाते हैं। चाचा चौधरी (संजय मिश्रा) का एक अजीब गैंग के साथ सीन है, ये सब कहानी में आते हैं लेकिन कुछ नया नहीं दे पाते।
कैसी है एक्टिंग
कास्टिंग की बात करें तो नवाजुद्दीन और नेहा अपने किरदारों में ढल जाते हैं लेकिन उनकी ऑन स्क्रीन केमेस्ट्री से इससे ज्यादा उम्मीद नहीं की जा सकती। नवाजुद्दीन की एक्टिंग से आपको शिकायत नहीं होगी। वह स्वाभाविक लगते हैं। एक बेहतरीन एक्टर एक कमजोरर कहानी के आगे बेबस दिखता है। नेहा शर्मा ने सरप्राइज किया है। कई जगह वह कृति सेनन की याद दिलाती हैं। महाक्षय चक्रवर्ती लंबे समय बाद दिखे हैं लेकिन उनके हिस्से में ज्यादा कुछ आया नहीं है। संजय मिश्रा की बात करें तो उनके रोल की इस फिल्म में जरूरत महसूस नहीं पड़ती।
कहानी और निर्देशन कमजोर
'जोगीरा सारा रा रा' देखते हुए कई कमियां साफ झलकती हैं, कॉमेडी सहज नहीं दिखती है। ऐसा लगता है ठीक से कहानी को लिखा नहीं गया है और ना ही उसे ठीक से पर्दे पर उतारा गया है जिससे कुछ भी कनेक्ट नहीं होता है। फिल्म का पहला हाफ बहुत ही फीका और बोरिंग है। इंटरवल के बाद आप सोचने लग जाते हैं कि यह जल्दी खत्म हो। ऐसे वक्त में जब दर्शक कंटेंट वाली फिल्मों को देखने के लिए तरस रहे हैं 'जोगीरा सारा रा रा' उन उम्मीदों पर खरी नहीं होती है। यह एक औसत दर्जे की कॉमेडी फिल्म है।