सहवाग हुए FAKE NEWS का शिकार, गलत फैक्ट के साथ शेयर की ये फोटो
सोशल मीडिया पर इन दिनों एक फोटो खूब वायरल हो रही है, जिसमें बताया जा रहा है कि हिसामुद्दीन खान नाम के एक इंजीनियरिंग छात्र के पिता रिक्शा चलाने वाले हैं और कॉन्वोकेशन के दिन वो अपने मां-बाप को...
सोशल मीडिया पर इन दिनों एक फोटो खूब वायरल हो रही है, जिसमें बताया जा रहा है कि हिसामुद्दीन खान नाम के एक इंजीनियरिंग छात्र के पिता रिक्शा चलाने वाले हैं और कॉन्वोकेशन के दिन वो अपने मां-बाप को रिक्शे पर बैठाकर खुद उसको चलाकर घर तक ले गया। टीम इंडिया के स्टार क्रिकेटर रहे वीरेंद्र सहवाग ने ये स्टोरी अपने ट्विटर पेज पर शेयर की है।
Beautiful-
— Virender Sehwag (@virendersehwag) October 18, 2018
This is an engineering graduate , Hisamuddin Khan who's father is a rickshaw puller. Back from convocation he drives his parents home 🙏🏼 pic.twitter.com/GHZOTdV4Ys
चलिए अब आपको इस फोटो का सच बताते हैं। दरअसल सोशल मीडिया पर वायरल हुई ये फोटो तो सच है, लेकिन इसके साथ जुड़ी कहानी बिल्कुल अलग है। इस फोटो में जो शख्स रिक्शा चला रहा है, उसका नाम हिसामुद्दीन नहीं बल्कि वली उल्लाह है। वली भारत का नहीं बल्कि बांग्लादेश का रहने वाला है। उसकी फेसबुक प्रोफाइल के मुताबिक उसने अकाउंटेंसी एंड इनफॉरमेशन सिस्टम से ग्रैजुएशन किया है और वो भी यूनिवर्सिटी ऑफ ढाका से।
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इस फोटो को शेयर करते हुए वली ने लिखा था, 'मेरी मां मेरी जिंदगी का ताज हैं, इसलिए मेरी कॉन्वोकेशन कैप उनके लिए। मेरे पिता ने जिंदगीभर मुझे तकलीफों से बचाया है इसलिए मेरा कॉन्वोकेशन गाउन उनके शरीर पर ज्यादा जंच रहा है।' अपनी वायरल हो रही फोटो के साथ गलत इनफॉर्मेशन को देखकर वली ने एक और फेसबुक पोस्ट लिखी और बताया कि उनके पिता रिक्शा चालक नहीं बल्कि किसान हैं।