नॉन-टेक्निकल विषय पढ़ने वाले युवा भी उठा सकेंगे नेशनल अप्रेंटाइसशिप ट्रेनिंग स्कीम का फायदा
सरकार ने नेशनल अप्रेंटाइसशिप ट्रेनिंग स्कीम (एनएटीएस) में संशोधन करने का प्रस्ताव किया है। इसके पास होने के बाद नेशनल अप्रेंटाइसशिप ट्रेनिंग स्कीम (एनएटीएस) में गैर-तकनीकी विषयों में शिक्षा प्राप्त...
सरकार ने नेशनल अप्रेंटाइसशिप ट्रेनिंग स्कीम (एनएटीएस) में संशोधन करने का प्रस्ताव किया है। इसके पास होने के बाद नेशनल अप्रेंटाइसशिप ट्रेनिंग स्कीम (एनएटीएस) में गैर-तकनीकी विषयों में शिक्षा प्राप्त कर रहे छात्र-छात्राओं को भी शामिल किया जा सकेगा ।
कौशल विकास मंत्रालय के एक अधिकारी ने न्यूज एजेंसी 'भाषा' को बताया, ''उच्चतर शिक्षा विभाग ने वर्ष 2021-22 से 2025-26 की अवधि के लिये नेशनल अप्रेंटाइसशिप ट्रेनिंग स्कीम में संशोधन करने का प्रस्ताव किया है। उन्होंने बताया कि संशोधित योजना के तहत स्नातक, तकनीशियन और डिग्री प्रशिक्षुओं के शिक्षा प्रशिक्षण को शामिल करने का प्रस्ताव किया गया है । इसके तहत डिग्री प्रशिक्षुता में गैर तकनीकी विषयों (बीए/ बी कॉम/ बीएससी) आदि में शिक्षा प्राप्त कर रहे छात्रों को भी एनटीएस योजना के तहत शामिल करने का प्रस्ताव किया गया है ।
स्नातकों, तकनीशियनों और डिग्री प्रशिक्षुओं के लिये वर्ष 2021-22 से 2025-26 की अवधि के दौरान मानदेय राशि (स्टाइपेंड) की प्रतिपूर्ति के लिये अनुमानित लागत 3000 करोड़ रुपये का प्रावधान किया जा सकता है।
अधिकारियों ने बताया कि युवाओं के लिये प्रशिक्षुता के अवसरों में और वृद्धि करने की दृष्टि से प्रशिक्षुता अधिनियम 1961 में संशोधन का प्रस्ताव किया गया है । संशोधन के मसौदे पर संबंधि पक्षों के साथ विचार विमर्श चल रहा है।