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DU: तदर्थ शिक्षकों ने कहा, कल्याण कोष को लेकर भेदभाव क्यों

दिल्ली विश्वविद्यालय में बड़ी संख्या में शिक्षकों का कोरोना के कारण निधन हो रहा है। इस बीच शिक्षकों के लिए बने डीयू शिक्षक कल्याण कोष के सदस्यों पर भेदभाव का आरोप लगा है। तदर्थ शिक्षकों का कहना है कि...

DU: तदर्थ शिक्षकों ने कहा, कल्याण कोष को लेकर भेदभाव क्यों
प्रमुख संवाददाता,नई दिल्लीFri, 14 May 2021 10:50 PM
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दिल्ली विश्वविद्यालय में बड़ी संख्या में शिक्षकों का कोरोना के कारण निधन हो रहा है। इस बीच शिक्षकों के लिए बने डीयू शिक्षक कल्याण कोष के सदस्यों पर भेदभाव का आरोप लगा है। तदर्थ शिक्षकों का कहना है कि जब डूटा चुनाव में मतदान करने की बात आती है तो हमारा मत भी एक स्थाई शिक्षक के मत के बराबर महत्व रखता है लेकिन जब शिक्षकों के निधन के बाद कल्याण कोष से राहत देने की बात आती है तो तदर्थ शिक्षकों के परिवार को केवल 5 लाख की राशि दी जाती है। यह हम लोगों के साथ भेदभावपूर्ण रवैया है।

तदर्थ शिक्षकों के नेता मनोज कुमार का कहना है कि यह भेदभावपूर्ण निर्णय बेहद दुखद ,निराशाजनक और अस्वीकार्य है। तदर्थ शिक्षकों को केवल पांच लाख देने की बात है जबकि स्थाई शिक्षकों को दस लाख और 5 लाख दिया जा रहा है ऐसा तब है जब स्थाई शिक्षकों को मेडिकल की सुविधा भी मिलती है। हम लोगों की डीयू कुलपति से मांग है कि सभी शिक्षको की एक या दो दिन का वेतन लिया जाए और सब पैसा शिक्षक कल्याण कोष में डाला जाए। सभी शिक्षकों जिनकी मौत हुई हो वह तदर्थ हों या स्थाई हों उनको एक समान राशि दी जाए। जिन तदर्थ शिक्षकों का कोविड इलाज के दौरान जो भी पैसा खर्च हुआ है वो सारा पैसा इस फंड में से दिया जाये। यह भेदभाव खत्म हो।

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