वायु सेना एयरमैन भर्ती का ऑनलाइन प्रश्न पत्र हल करते 7 पकड़े, सरगना करता था UPSC परीक्षा की तैयारी, जयपुर में हो रही थी परीक्षा
क्राइम ब्रांच ने रविवार को गांधी विहार के एक फ्लैट में छापा मारकर सात लोगों को गिरफ्तार किया है। आरोपी दिल्ली में बैठकर वायु सेना के एयरमैन पद के लिए जयपुर में हो रही परीक्षा का प्रश्नपत्र हल कर रहे...
क्राइम ब्रांच ने रविवार को गांधी विहार के एक फ्लैट में छापा मारकर सात लोगों को गिरफ्तार किया है। आरोपी दिल्ली में बैठकर वायु सेना के एयरमैन पद के लिए जयपुर में हो रही परीक्षा का प्रश्नपत्र हल कर रहे थे। इस दौरान भागने की कोशिश में तीसरी मंजिल से एक आरोपी कूद गया, जिसका पैर टूट गया। पुलिस ने इनके कब्जे से 14 लैपटाप एवं किताबें बरामद की हैं। डीसीपी राजेश देव ने बताया कि इंटर स्टेट सेल के एसीपी जसबीर सिंह की टीम को सूचना मिली थी कि गांधी विहार इलाके में रुपये लेकर पेपर हल किया जा रहा है। इंस्पेक्टर नीरज कुमार एवं इंस्पेक्टर विजय कुमार की टीम गठित की गई। टीम को रविवार को सूचना मिली कि गांधी विहार के एफ ब्लॉक स्थित एक फ्लैट में पेपर को साल्व किया जा रहा है। इस सूचना के आधार पर पुलिस की टीम ने छापा मारा।
ये हैं आरोपी
क्राइम ब्रांच की टीम ने जब छापा मारा तो फ्लैट में बैठकर ऑनलाइन पेपर सॉल्व किया जा रहा था। छापे के वक्त कमरे में भगदड़ मच गई और आरोपी भागने लगे। तभी एक युवक तीसरी मंजिल से नीचे कूद गया, जिससे उसका पैर टूट गया। पुलिस ने गांधी विहार से नरेश, अमन, राकेश, अंकुश, मंजीत, हरदीप और विक्रांत को गिरफ्तार कर लिया। नरेश और अंकुश गिरोह के सरगना हैं।
सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल किया
गिरोह ने स्क्रीन शेयरिंग सॉफ्टवेयर के जरिये जयपुर के परीक्षा केंद्र में बैठे छात्र के कम्प्यूटर में सेंध लगाई और यहां से ही उसका पेपर सॉल्व करने लगे। वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि परीक्षा केंद्र से जुड़े लोगों से भी पूछताछ की जाएगी, क्योंकि वहां के किसी व्यक्ति की मिलीभगत के बिना ऐसा करना असंभव है।
सौ छात्रों का चयन करा चुके
गिरोह दो साल से सक्रिय था और अब तक सौ से अधिक छात्रों का इस तरह चयन करा चुका था। ये इसके लिए पांच लाख से दस लाख रुपये तक वसूलते थे। शिकार तलाशने के लिए देश के विभिन्न भागों में फैले कोचिंग सेंटर में घूमते थे।
बदलते रहते थे ठिकाना
जांच में सामने आया है कि गांधी विहार के इस फ्लैट को गिरोह ने तीन दिन पहले ही किराए पर लिया था। एक माह में ही इस फ्लैट को खाली कर गिरोह कहीं और चला जाता। यह गिरोह कभी होटल तो कभी किसी इलाके के फ्लैट से पेपर साल्व करता था। उसके बाद ठिकाना बदल देता था।
UPSC परीक्षा की तैयारी करता था सरगना
पुलिस अधिकारी ने बताया कि गिरोह का सरगना नरेश यूपीएससी परीक्षा की तैयारी करने के लिए दिल्ली आया था। लेकिन आर्थिक तंगी के कारण उसे पढ़ाई छोड़नी पड़ी। फिर वह ऑनलाइन परीक्षा केंद्र वाले लैब पर काम करने लगा तभी उसे इस तरह पेपर सॉल्व करने का तरीका सूझा। वहीं अंकुश फार्मासिस्ट है और वह विज्ञान के प्रश्नों को हल करने के साथ ही शिकार भी ढूंढ़ता था।
सॉल्वर को देते थे 20 हजार
गिरफ्तार सात आरोपियों में से पांच पेपर सॉल्वर हैं। ये गांधी विहार और मुखर्जी नगर में प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करते हैं। चयन नहीं होने पर आर्थिक तंगी से जूझ रहे इन युवकों को गिरोह के सदस्यों ने अपना सॉल्वर बना लिया। ये बीस हजार रुपये में एक पेपर हल करते थे। गिरोह के पास हर विषय का विशेषज्ञ छात्र था जिसकी मदद से पेपर हल किया जाता था।
गांधी विहार से पहले भी हुई है गिरफ्तारी
इससे पहले वर्ष 2018 में भी गांधी विहार से ऐसे ही गिरोह का भंडाफोड़ किया गया था। इसमें उत्तर जिला स्पेशल स्टाफ के एसआई संजय गुप्ता की टीम ने गिरोह के सदस्यों को गिरफ्तार कर करीब 50 लाख रुपये की नकदी भी बरामद की थी। छापे के वक्त गिरोह के सदस्य एसएससी परीक्षा का प्रश्नपत्र हल कर रहे थे।