TRAI: 5जी रोलआउट से पहले राहत की तैयारी, कंपनियों को नेटवर्क इंफ्रास्ट्रक्चर साझा करने की मिलेगी अनुमति
देश में 5 जी सेवाएं शुरू होने के पहले टेलीकॉम कंपनियों को बड़ी राहत दी जा सकती है। सूत्रों के जरिए मिली जानकारी के मुताबिक टेलीकॉम रेग्युलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया जल्द ही कंपनियों को एक्टिव नेटवर्क...
देश में 5 जी सेवाएं शुरू होने के पहले टेलीकॉम कंपनियों को बड़ी राहत दी जा सकती है। सूत्रों के जरिए मिली जानकारी के मुताबिक टेलीकॉम रेग्युलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया जल्द ही कंपनियों को एक्टिव नेटवर्क इंफ्रास्ट्रक्चर साझा करने की अनुमति से जुड़ी गाइडलाइंस जारी कर सकती है।
जानकारी के मुताबिक एक से दो महीनों में टेलीकॉम क्षेत्र से जुड़े सभी हितधारकों के साथ विचार विमर्श के लिए कंसल्टेंशन पेपर जारी किया जा सकता है। कंसल्टेशन पेपर जारी किए जाने के बाद सभी हितधारकों के साथ बैठक भी होगी और व्यापक चर्चा के बाद तय गाइडलाइंस को सरकार के पास मंजूरी के लिए भेज दिया जाएगा।
अभी देश में टेलीकॉम कंपनियों को सिर्फ टावर और बीटीएस जैसी चीजें ही साझा करने की इजाजत है। सूत्रों ने ये भी बताया कि एक्टिव नेटवर्क इंफ्रास्ट्रक्चर साझा करने के फैसले से टेलीकॉम कंपनियों को करीब 30 फीसदी की बचत हो सकेगी।
मामले से जुड़े अधिकारी के मुताबिक ट्राई हमेशा से ही नेटवर्क और इंफ्रास्ट्रक्चर के साझा करने के पक्ष में रहा है। इससे न सिर्फ कंपनियों के खर्च की बचत होगी बल्कि इंफ्रास्ट्रक्चर का भी बेहतर इस्तेमाल किया जा सकेगा। मौजूदा दौर में बदलते हालात के चलते एक ही सॉफ्टवेयर और तकनीक पर काम करने वाली कंपनियों के लिए दूसरे का इंफ्रास्ट्रक्चर को साझा करना भी संभव हो रहा है।
विशेषज्ञों की राय में मौजूदा रफ्तार से बढ़ते इंटरनेट इस्तेमाल और नए कनेक्शन के चलते आने वाले दिनों में सीमित इंफ्रास्ट्रक्चर की वजह से सेवाओं में व्यवधान न आए इसके लिए ये व्यवस्था काफी काम आ सकती है। साथ ही 5जी रोलआउट के समय कंपनियों के ऊपर खर्च का ज्यादा बोझ न पड़े इसके लिए नेटवर्क शेयरिंग ही एक टिकाऊ विकल्प बचता है।
जानें Hindi News , Business News की लेटेस्ट खबरें, Share Market के लेटेस्ट अपडेट्स Investment Tips के बारे में सबकुछ।