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कुशीनगर इंटरनेशनल एयरपोर्ट से पूर्वांचल में पर्यटन उद्योग को मिलेगी उड़ान, पीएम मोदी 20 को करेंगे उद्घाटन

पीएम नरेंद्र मोदी बुधवार यानी 20 अक्टूबर को उत्तर प्रदेश के कुशीनगर में अंतरार्ष्ट्रीय हवाई अड्डे का उद्घाटन करेंगे। कुशीनगर में बने नवनिर्मित अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से न केवल अंतरराष्ट्रीय बौद्ध...

कुशीनगर इंटरनेशनल एयरपोर्ट से पूर्वांचल में पर्यटन उद्योग को मिलेगी उड़ान, पीएम मोदी 20 को करेंगे उद्घाटन
लाइव हिन्दुस्तान,नई दिल्लीTue, 19 Oct 2021 12:03 PM
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पीएम नरेंद्र मोदी बुधवार यानी 20 अक्टूबर को उत्तर प्रदेश के कुशीनगर में अंतरार्ष्ट्रीय हवाई अड्डे का उद्घाटन करेंगे। कुशीनगर में बने नवनिर्मित अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से न केवल अंतरराष्ट्रीय बौद्ध पर्यटकों का आवागमन सरल हो पाएगा बल्कि इस क्षेत्र में आर्थिक गतिविधियों में भी तेजी आएगी। पूर्वांचल के पर्यटन उद्योग भी उड़ान भरेगा। भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण ने उत्तर प्रदेश सरकार के सहयोग से 260 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से 3600 वर्गमीटर में फैले नए टर्मिनल भवन के साथ कुशीनगर हवाई अड्डा तैयार किया है। नया टर्मिनल भीड़भाड़ वाले समय में 300 यात्रियों के लिए आने-जाने की सुविधा प्रदान करेगा। 

अंतरार्ष्ट्रीय बौद्ध तीर्थ का केन्द्र है कुशीनगर

कुशीनगर एक अंतरार्ष्ट्रीय बौद्ध तीर्थ केन्द्र है, जहां भगवान गौतम बुद्ध ने महापरिनिवार्ण प्राप्त किया था। यह बौद्ध सर्किट का केन्द्र बिंदु भी है, जिसमें लुंबिनी, सारनाथ और गया के तीर्थस्थल शामिल हैं। हवाई अड्डा बौद्ध धर्म के और अधिक अनुयायियों को देश और विदेश से कुशीनगर आकर्षित करने में मदद करेगा और बौद्ध विषय वस्तु आधारित सर्किट के विकास को बढ़ाएगा। बौद्ध सर्किट के लुंबिनी, बोधगया, सारनाथ, कुशीनगर, श्रावस्ती, राजगीर, संकिसा और वैशाली की यात्रा अब कम समय में पूरी हो सकेगी।

दक्षिण एशियाई देशों के साथ सीधा विमान सम्पर्क

कुशीनगर हवाई अड्डे से दुनिया के विभिन्न हिस्सों के तीर्थयात्रियों को इस क्षेत्र के विभिन्न बौद्ध स्थलों से निबार्ध संपर्क प्रदान करने की सुविधा मिलेगी। दक्षिण एशियाई देशों के साथ सीधा विमान सम्पर्क श्रीलंका, जापान, ताइवान, दक्षिण कोरिया, चीन, थाईलैंड, वियतनाम, सिंगापुर आदि से आने वाले पर्यटकों के लिए कुशीनगर पहुंचने और क्षेत्र की समृद्ध विरासत का अनुभव करना आसान बना देगी। उड़ान के उद्घाटन के साथ पर्यटकों के आगमन में 20 प्रतिशत तक की वृद्धि होने की उम्मीद है।

 होटल व्यवसाय, पर्यटन एजेंसियों, रेस्तरां को लगेंगे पंख

कुशीनगर अंतरार्ष्ट्रीय हवाई अड्डा न केवल तीर्थ स्थल को अंतरार्ष्ट्रीय विमानन मानचित्र पर रखेगा बल्कि क्षेत्र के आर्थिक विकास को भी बढ़ावा देगा। यह होटल व्यवसाय, पर्यटन एजेंसियों, रेस्तरां आदि को बढ़ावा देकर आतिथ्य उद्योग पर कई गुना प्रभाव डालेगा। यह फीडर परिवहन सेवाओं, स्थानीय गाइड की नौकरियों आदि में अपार अवसर खोलकर स्थानीय लोगों के लिए रोजगार पैदा करेगा। स्थानीय उद्योग और उत्पाद को वैश्विक मान्यता मिलेगी। यह सांस्कृतिक जागरूकता को बढ़ावा देगा और स्थानीय संस्कृति और परम्पराओं को संरक्षित करने में भी मदद करेगा।

बौद्ध सर्किट के हिस्से के रूप में मिलेगी प्रमुखता

कुशीनगर में हवाई अड्डे के विकास से कुशीनगर को बौद्ध तीर्थयात्रा के चार प्रमुख स्थानों में से एक के रूप में विकसित करने में मदद मिलेगी। यह कुशीनगर को बौद्ध सर्किट के हिस्से के रूप में प्रमुखता प्रदान करने में मदद करेगा। इसके अलावा, इससे भारत को मूल बौद्धिक केन्द्र के रूप में विकसित किया जा सकेगा और दुनिया भर में बौद्ध धर्म के सिद्धांतों का प्रसार होगा।

दो करोड़ से अधिक आबादी को फायदा

दो करोड़ से अधिक आबादी हवाई अड्डे की सेवाएं ले सकेगी, क्योंकि हवाई अड्डे के परिक्षेत्र में लगभग 1०-15 जिले हैं और यह पूवीर् उत्तर प्रदेश और बिहार के पश्चिमी/उत्तरी भाग की बड़ी प्रवासी आबादी के लिए सहायक सिद्ध होगा। इससे बागवानी उत्पादों जैसे केला, स्ट्रॉबेरी और मशरूम के नियार्त के अवसरों को भी बढ़ावा मिलेगा।

नागर विमानन मंत्रालय के अनुसार उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, केन्द्रीय नागर विमानन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया की उपस्थिति में प्रधानमंत्री यह उद्घाटन करेंगे। अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा इस सप्ताह चालू हो जाएगा, जिससे पूर्व में होने वाली जटिल यात्रा को सुगम बनाया जा सके और भारत में अंतरार्ष्ट्रीय बौद्ध तीर्थयात्रियों की हवाई यात्रा आवश्यकताओं को सरल बनाया जा सके। पहली उड़ान 125 गणमान्य व्यक्तियों और बौद्ध भिक्षुओं के साथ कोलंबो, श्रीलंका से इस हवाई अड्डे पर उतरेगी। इस हवाई अड्डे से दुनिया भर के बौद्धों को भगवान बुद्ध के महापरिनिवार्ण स्थल की यात्रा करने की सुविधा मिल सकेगी।

इनपुट: वार्ता

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