FY24 के ग्रोथ अनुमान पर वित्त मंत्रालय और RBI की क्या है राय, CEA ने बताया
आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की बैठक के बाद कहा कि 2023-24 के लिए जीडीपी की वृद्धि दर 6.5 प्रतिशत रहने का अनुमान है।
मुख्य आर्थिक सलाहकार वी अनंत नागेश्वरन ने शनिवार को कहा कि वित्त वर्ष 2023-24 के वृद्धि पूर्वानुमानों को लेकर सरकार और भारतीय रिजर्व बैंक की राय एक है। दोनों ने 6.5 प्रतिशत वृद्धि का अनुमान जताया है। नागेश्वरन ने कहा कि वित्त मंत्रालय और आरबीआई, दोनों ने चालू वित्त वर्ष में 6.5 प्रतिशत वृद्धि का अनुमान जताया है। घरेलू आर्थिक वृद्धि की गति बाहरी जोखिमों पर काबू पाने के लिए काफी मजबूत है। उन्होंने कहा कि हमें तेल की कम कीमतों और समग्र घरेलू व्यापक आर्थिक स्थिरता से भी लाभ मिल रहा है।
सीईए ने कहा कि पिछले वित्त वर्ष के दौरान वास्तविक जीडीपी वृद्धि दर 7.2 प्रतिशत थी, जो इससे पिछले वित्त वर्ष में दर्ज 9.1 प्रतिशत से कम थी। नागेश्वरन ने कहा कि हालांकि, मुझे लगता है कि पिछले वित्त वर्ष की वृद्धि दर 7.2 फीसदी से कहीं ज्यादा रहेगी।
वी अनंत नागेश्वरन ने कहा कि अप्रैल में सभी उच्च-आवृत्ति मापदंडों के साथ भारत ने प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में सर्वाधिक तेजी से वृद्धि दर्ज की है, जो चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही के लिए अच्छा संकेत है। हालांकि, नागेश्वरन ने कृषि के बारे में कहा कि अल नीनो प्रभाव के बारे में चिंताएं हैं, लेकिन देश के जलाशयों में पर्याप्त पानी है और बीज तथा खाद भी पर्याप्त रूप से उपलब्ध है।
बता दें कि आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की बैठक के बाद कहा कि 2023-24 के लिए जीडीपी की वृद्धि दर 6.5 प्रतिशत रहने का अनुमान है। केंद्रीय बैंक ने इससे पहले अप्रैल में कहा था कि वृद्धि दर 6.4 प्रतिशत रह सकती है।
