ग्रामीण शिक्षा में क्रांति: डॉ. विजय रंजन के नेतृत्व में शिक्षा के क्षेत्र में नई इबारत लिख रहा संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल
ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा की स्थिति चुनौतीपूर्ण रही है। बिहार के मधुबनी के फुलपरास का भी यही हाल था, जहां अच्छी शिक्षा का अभाव समस्या थी। इसलिए 2009 में संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल की नींव पड़ी।
भारत के ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा की स्थिति लंबे समय से चुनौतीपूर्ण रही है। बेहतर स्कूलों और शिक्षण सुविधाओं की कमी ने इन क्षेत्रों के बच्चों के भविष्य को सीमित किया । बिहार के मधुबनी जिले के फुलपरास ब्लॉक का भी यही हाल था, जहां गुणवत्तायुक्त शिक्षा का अभाव एक बड़ी समस्या थी। इस गंभीर स्थिति को सुधारने के उद्देश्य से वर्ष 2009 में संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल की नींव पड़ी।
संस्थापक डॉ. विजय रंजन बताते हैं कि गांव की चरमराई हुई शिक्षा व्यवस्था से परेशान होकर, एक दिन यह तय किया कि एक अच्छे स्कूल की स्थापना की जाए। इसी उद्देश्य से किड जी की फ्रैंचाइज़ी लेकर संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल की स्थापना की गयी। इस स्कूल का उद्देश्य गांव और आसपास के क्षेत्र के बच्चों को उत्कृष्ट शिक्षा प्रदान करना है। ताकि बच्चे अपने जीवन में जो कुछ हासिल करना चाहते हैं, वह उसे अपनी बेहतरीन शिक्षा के बल पर प्राप्त कर सके।
डॉ. विजय रंजन ने महसूस किया कि शिक्षा ही वह माध्यम है जिससे न केवल बच्चों का बल्कि पूरे समाज का विकास संभव है। उनका उद्देश्य था कि मधुबनी के फुलपरास ब्लॉक के बच्चे भी वे सभी सुविधाएं प्राप्त करें जो शहरी क्षेत्रों के बच्चों को मिलती हैं। उनके नेतृत्व में चल रहा संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल शैक्षणिक गुणवत्ता और बच्चों के सर्वांगीण विकास के लिए प्रतिबद्ध है। वर्ष 2012 में, इस स्कूल को केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) से मान्यता प्राप्त हुई, जिससे यह ग्रामीण क्षेत्र के लिए एक मिसाल बन गया। कड़ी चुनौतियों का किया सामना बकौल डॉ. विजय शुरुआती दिनों में स्कूल को चलाने में कड़ी चुनौतियों का सामना करना पड़ा। जैसे कि दूर-दूर से बच्चों को स्कूल लाना, पेरेंट्स का भरोसा जीतना, शहरी व्यवस्था न होने के कारण गांव में शिक्षकों को बुलाना और उन्हें हर प्रकार की सुविधा मुहैया करना बेहद मुश्किल था। लेकिन बावजूद इसके प्रयास जारी रहा और आज संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल का नाम न केवल मधुबनी जिला बल्कि पूरे बिहार में टॉप रैंकिंग में शुमार है।
30 बच्चों के साथ हुई थी शुरुआत
शुरुआत में स्कूल में 30 बच्चे थे और 20 शिक्षक थे। लेकिन अभी स्कूल में हर एक क्लास के चार सेक्शन हैं और सभी में 30 से 40 बच्चे हैं। पहले साल भर चौथी और 8वीं कक्षा के छात्रों का पढ़ाया गया। एक-एक बच्चों को 20 से 30 किलोमीटर दूर से छोटी-छोटी गाड़ियों से स्कूल लाने और सुरक्षित घर छोड़ने का कार्य किया जाता था। यह बेहद मुश्किल था। लेकिन कहते हैं न कि कोशिश करने वालों की हार नहीं होती। डॉ. विजय रंजन और उनकी टीम ने भी हार नहीं मानी और बड़ी से बड़ी समस्याओं का डटकर सामना किया। आज यह स्कूल 12वीं तक की उत्कृष्ट शिक्षा प्रदान करने में सक्षम है। यहां साइंस और कॉमर्स स्ट्रीम की पढ़ाई करवाई जाती है। आज स्कूल में 1500 से अधिक बच्चे पढ़ते हैं। बकौल विजय 30 से 1500 छात्रों का सफर इतना आसान नहीं था।
सभी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध
स्कूल में सभी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध हैं। छात्रों को विज्ञान, गणित, और कंप्यूटर की शिक्षा प्रदान करने के लिए आधुनिक लैब्स जैसे कंप्यूटर लैब, साइंस लैब, और मैथ्स लैब की व्यवस्था की गई है। इसके साथ ही, स्कूल में स्वच्छ हॉस्टल और मेस की सुविधा भी उपलब्ध है, ताकि छात्रों को एक सुरक्षित, स्वस्थ वातावरण में शिक्षा प्राप्त हो सके साथ ही उन्हें सही खान- पान भी मिले।
सुरक्षा के प्रबंध
सुरक्षा व्यवस्था भी स्कूल की प्राथमिकताओं में से एक है। स्कूल में छात्रों की सुरक्षा के लिए सभी आवश्यक प्रबंध किए गए हैं, जिससे अभिभावकों को अपने बच्चों के भविष्य के प्रति निश्चिंतता मिलती है। यहां 24 घंटे सीसीटीवी निगरानी और सुरक्षा गार्ड्स का प्रबंध भी है। स्कूल में शिक्षा प्राप्त कर रही 100 ज्यादा छात्राएं हॉस्टल में रहती है और 200 से ज्यादा छात्र हॉस्टल में सुकून से रहते हैं। कैंपस पूरी तरह से बॉउंड्री वाल से घिरा हुआ है। 200 स्टाफ में से तकरीबन 100 स्टाफ मेंबर्स कैंपस में ही निवास करते हैं जिससे छात्र और ज्यादा सुरक्षित महसूस करते हैं।
सर्वांगीण विकास पर खास ध्यान
संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल न केवल शिक्षा प्रदान करता है, बल्कि छात्रों के सर्वांगीण विकास पर भी खास ध्यान देता है। छात्रों को शारीरिक, मानसिक, और भावनात्मक विकास के लिए विभिन्न गतिविधियों में शामिल किया जाता है, ताकि वे न केवल पढ़ाई में बल्कि जीवन के हर क्षेत्र में आगे बढ़ सकें।
हॉस्टल में खान-पान और सफाई की बेहतरीन व्यवस्था
स्कूल के हॉस्टल में 500 बच्चे एक साथ बैठकर भोजन कर सकें ऐसी व्यवस्था है। 4000 स्क्वायर फीट का डाइनिंग एरिया है। 1000 स्क्वायर फीट का मेस एरिया है। यहां खाने की गुणवत्ता के साथ कोई समझौता नहीं किया जाता है। अगर कभी किसी बच्चे के पेरेंट्स स्कूल आते हैं तो उनके खाने की व्यवस्था भी है। कमरों, वाशरूम आदि की नियमित साफ सफाई की जाती है।
पर्सनालिटी डेवलपमेंट और करियर काउंसलिंग
संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल में बच्चों को सिर्फ शैक्षणिक ज्ञान ही नहीं, बल्कि उनके उज्जवल भविष्य के लिए आवश्यक मार्गदर्शन और कौशल भी प्रदान किया जाता है। स्कूल का लक्ष्य है कि यहां के छात्र न केवल एक बेहतरीन जीवन जिएं, बल्कि अपने करियर में भी सफलता प्राप्त करें। इसी उद्देश्य से, डॉ. विजय रंजन की देखरेख में करियर काउंसलिंग और पर्सनालिटी डेवलपमेंट की विशेष व्यवस्था की गई है। डॉ. विजय रंजन, जो बच्चों के भविष्य के प्रति बेहद संवेदनशील हैं, स्वयं करियर काउंसलिंग और पर्सनालिटी डेवलपमेंट का कार्य संभालते हैं। उनका मानना है कि बच्चों की नींव जितनी मजबूत होगी, उनका भविष्य उतना ही उज्ज्वल होगा। वह बच्चों की रुचियों और क्षमताओं को समझकर उन्हें सही करियर पथ चुनने में मदद करते हैं।
इसके साथ ही, डॉ. रंजन बच्चों को UPSC, NEET, NDA जैसी प्रतियोगी परीक्षाओं और उच्च शिक्षा के विभिन्न क्षेत्रों में करियर बनाने के लिए प्रेरित करते हैं। उनका मार्गदर्शन छात्रों को न केवल शिक्षा में उत्कृष्टता प्राप्त करने में मदद करता है, बल्कि उनके व्यक्तित्व के विकास में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल में यह सुनिश्चित किया जाता है कि हर बच्चा अपनी अद्वितीय पहचान और क्षमताओं के साथ आगे बढ़े, और डॉ. विजय रंजन के नेतृत्व में दी जा रही यह करियर काउंसलिंग और पर्सनालिटी डेवलपमेंट की सुविधा इस दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
कंप्यूटर साइंस प्रोग्रामिंग की व्यवस्था
संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल के बच्चों को रोजाना एक घंटे का समय उनकी कंप्यूटर साइंस प्रोग्रामिंग स्किल सीखने और के लिए दिया जाता है। कक्षा 5 से लेकर 12वीं तक के बच्चों को कंप्यूटर साइंस की बेहतरीन शिक्षा दी जाती है।
डॉ. विजय रंजन : क्षेत्र में प्रतिष्ठित नाम, समाज सेवा में भी अग्रणी
डॉ. विजय रंजन का नाम मधुबनी क्षेत्र में अत्यधिक सम्मानित है। उनके सामाजिक कार्यों और शिक्षा के प्रति उनके समर्पण ने उन्हें एक विशिष्ट व्यक्तित्व बना दिया है। लोग उनके प्रयासों की सराहना करते हैं और उनके द्वारा स्थापित स्कूल को ग्रामीण शिक्षा में क्रांति के रूप में देखते हैं। डॉ. विजय रंजन न केवल शिक्षा के क्षेत्र में बल्कि समाज सेवा में भी अपना महत्वपूर्ण योगदान देते हैं। वे ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने के लिए लगातार प्रयासरत हैं, साथ ही समाज के कमजोर वर्गों की सहायता के लिए भी सक्रिय रहते हैं। डॉ. रंजन ने शिक्षा के साथ-साथ स्वास्थ्य, स्वच्छता, और सामाजिक जागरूकता के विभिन्न अभियानों में अपनी भूमिका निभाई है। उनका मानना है कि समाज के समग्र विकास के लिए शिक्षा और अनुशासन के पाठ के साथ-साथ सामाजिक उत्तरदायित्व भी आवश्यक है, और वे इस दिशा में लगातार कार्यरत हैं।
संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल ने कायम की मिसाल
संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल ने ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा के प्रति एक नई सोच और जागरूकता को जन्म दिया है। डॉ. विजय रंजन के इस प्रयास ने न केवल मधुबनी बल्कि पूरे बिहार में शिक्षा के क्षेत्र में एक नई दिशा दिखाई है। उनका यह प्रयास इस बात का प्रमाण है कि शिक्षा के माध्यम से समाज में सकारात्मक परिवर्तन लाया जा सकता है। संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल आज एक मिसाल बन गया है, जो यह साबित करता है कि अगर इच्छाशक्ति हो और सही दिशा में प्रयास किए जाएं, तो कोई भी बाधा इतनी बड़ी नहीं होती कि उसे पार न किया जा सके। डॉ. विजय रंजन का यह योगदान अनुकरणीय है। उनके द्वारा स्थापित यह स्कूल आने वाली पीढ़ियों के लिए भी प्रेरणा का स्रोत साबित होगा।
पता: संस्कार भारती ग्लोबल स्कूल,
फुलपरास ब्लॉक, मधुबनी (बिहार)
वेबसाइट: www.sbgs.edu.in
(अस्वीकरण: इस लेख में किए गए दावों की सत्यता की पूरी जिम्मेदारी संबंधित व्यक्ति/संस्थान की है।)