देश में संविधान बचाने की है लड़ाई : कन्हैया कुमार
हमारी लड़ाई इस देश की बुनियादी मूल्यों, इसकी आधारभूत संरचना एवं देश के इतिहास को बचाने की है। आज हमारे देश का संविधान खतरे में है। संविधान एवं तिरंगे को बचाने के लिए लड़ाई लड़ी जा रही है। कानून के नाम...
हमारी लड़ाई इस देश की बुनियादी मूल्यों, इसकी आधारभूत संरचना एवं देश के इतिहास को बचाने की है। आज हमारे देश का संविधान खतरे में है। संविधान एवं तिरंगे को बचाने के लिए लड़ाई लड़ी जा रही है। कानून के नाम पर गैरकानूनी कोशिशें की जा रही हैं, जिसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। सरकार का दो करोड़ लोगों को नौकरी देने एवं सभी के खाते में 15 लाख रुपये देने के झांसे में लोग आ गए। एनआरसी पर प्रधानमंत्री कुछ बोलते हैं, गृह मंत्री अमित शाह का कुछ बोलते हैं और कार्यकर्ता कुछ और बोलते हैं। ये कहना है जेएनयू के पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष कन्हैया कुमार का, जो सोमवार को नवादा आईटीआई मैदान व पकरीबरावां में जनसभा को संबोधित कर रहे थे। कन्हैया का नवादा में भी कहीं-कहीं विरोध किया गया। जमुई में सोमवार की सुबह आढ़ा जाने के क्रम में कन्हैया के काफिले पर युवकों ने हमला कर दिया। युवकों ने युवकों ने उनकी गाड़ी पर अंडे और मोबिल फेंके।
जन गण मन यात्रा के तहत आईटीआई मैदान में संविधान बचाओ संघर्ष मोर्चा की ओर से आयोजित सभा में कन्हैया कुमार ने कहा कि नरेन्द्र मोदी की सरकार में किसानों को उनकी उपज का वाजिव मूल्य नहीं मिल रहा है। किसान आत्महत्या करने को मजबूर हैं। किसान अपने बेटे को किसान नहीं बनाना चाहते है। वे अपने बेटे को इंजीनियर व डॉक्टर बनाना चाहते हैं पर सिस्टम में व्याप्त भ्रष्टाचार के कारण उन्हें इसमें भी सफलता नहीं मिलती है। एक तरफ किसान आत्महत्या कर रहे हैं तो दूसरी ओर उनके बेटे सीमा पर शहीद हो रहे हैं। दूसरी ओर राजनीति करने वाले सत्ता का आनंद ले रहे हैं। कन्हैया ने कहा कि ये लड़ाई एक व्यक्ति को नेता बनाने की नहीं है। ये लड़ाई दो सोच की लड़ाई है। एक सोच को नए भारत में देशद्रोही कहा जाता है। दूसरी तरफ वे लोग हैं जिन्होंने अंग्रेजी की चापलूसी की। वे आज देशभक्त कहलाते हैं। ये लड़ाई असली व नकली के बीच है।
सीएए वापस ले केंद्र की सरकार छोड़े हठ
जेएनयू छात्र संघ के पूर्व कन्हैया कुमार ने कहा कि सीएए को केंद्र की सरकार वापस ले। सरकार अपनी हठ को छोड़े। पार नवादा के बुंदेलाबाग सभा को संबोधित करते हुए कन्हैया ने कहा कि इस काले कानून के खिलाफ लोगों को जगाने के लिए मेरे बिहार भर का दौरा जारी है। फैसला बदले जाने तक विरोध जारी रहेगा। मौके पर मौजूद सभी लोगों ने अपना दम दिखाया और कन्हैया का समर्थन जताया।