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गिरफ्तार होने के बाद पटना पुलिस से बोला साइको किलर, 5 करोड़ दूंगा, मुझे छोड़ दीजिये...

साइको किलर अविनाश श्रीवास्तव उर्फ अमित बड़ा ही दुस्साहसी है। बात-बात में वह गोली चलाने में माहिर रहा है। उसका सटीक निशाने पर जो कोई आया, गोली लगने पर बच नहीं सका। यही वजह रही कि उसके खिलाफ विभिन्न...

गिरफ्तार होने के बाद पटना पुलिस से बोला साइको किलर, 5 करोड़ दूंगा, मुझे छोड़ दीजिये...
पटना, हिन्दुस्तान टीमSat, 26 Sep 2020 08:50 AM
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साइको किलर अविनाश श्रीवास्तव उर्फ अमित बड़ा ही दुस्साहसी है। बात-बात में वह गोली चलाने में माहिर रहा है। उसका सटीक निशाने पर जो कोई आया, गोली लगने पर बच नहीं सका। यही वजह रही कि उसके खिलाफ विभिन्न थानों में हत्या के 20 से अधिक मामले दर्ज हो गये। रक्सौल में पटना पुलिस द्वारा की गई गिरफ्तारी के बाद उसने पुलिस से कहा, छोड़ दीजिए। इसके एवज में 5 करोड़ रुपये दूंगा.. लेकिन पटना पुलिस ने उसकी पेशकेश को ठुकरा दिया। पुलिस को जांच में पता चला है कि पटना सिटी के खाजेकलां थाना क्षेत्र में उसका आतंक कायम था। 

उसके द्वारा खाजेकलां थाना क्षेत्र में भी हत्या और लूट के कई मामलों को अंजाम दिया गया था। गर्दनीबाग में वर्ष 2018 को पटना की पूर्व डिप्टी मेयर अमरावती देवी के पति तथा पूर्व वार्ड पार्षद दीना गोप की एके-47 से की गई हत्या में वह शामिल बताया जा रहा है। इन सभी मामलों में अब खाजेकलां थाने की पुलिस पकड़े गये राजद के पूर्व एमएलसी ललन श्रीवास्तव के बेटे अविनाश से पूछताछ कर रही है। आरोपित की गिरफ्तारी व उससे पूछताछ किये जाने की पुष्टि एसएसपी उपेंद्र शर्मा ने की है।

पुलिस सूत्रों की मानें तो कंकड़बाग थाना क्षेत्र के एमआईजी कॉलोनी का रहनेवाला अविनाश श्रीवास्तव उर्फ अमित वेश बदलकर अक्सर खाजेकलां व कंकड़बाग में ही छिपता था। छापेमारी में वह कई बार पुलिस को चकमा देकर भाग गया था। नेपाल भागने की फिराक में ही वह रक्सौल पहुंचा था, लेकिन सटीक सूचना के बाद पटना पुलिस ने रक्सौल थाने की पुलिस के साथ एक होटल में छापेमारी कर आतंक का पर्याय बने शार्पू शूटर अविनाश को धर-दबोचा।

अंग्रेजी में करता है बात एमसीए की है डिग्री
पुलिस के मुताबिक अविनाश काफी पढ़ा लिखा है। वह अंग्रेजी में अच्छी बात करता है। एमसीए की डिग्री भी उसके पास है। पूर्व एमएलसी ने उसे पढ़ने के लिए दिल्ली भेजा था। एमसीए करने के बाद वह दिल्ली की एक नामी कंपनी में नौकरी करने लगा। प्रतिमाह उसे 40 हजार रुपये वेतन मिलता था। बाद में पिता ने अविनाश को पटना आकर कारोबार शुरू करने को कहा। पटना आने के बाद अविनाश ने जिनके साथ कारोबार शुरू किया, उन्हीं लोगों ने उसके पिता पूर्व एमएलसी की हत्या कर दी। इसके बाद अविनाश अपराध जगत में कूद पड़ा और हथियार उठाकर खूनी खेल खेलना शुरू कर दिया। 

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