बिहार: सूखाग्रस्त प्रखंडों के लिए 1450 करोड़ का प्रस्ताव विधानमंडल में पेश
सूबे के 275 सूखाग्रस्त प्रखंडों में किसानों को कृषि इनपुट अनुदान का लाभ देने के लिए 1450 करोड़ की मंजूरी का प्रस्ताव बिहार विधानमंडल में पेश हुआ। सोमवार को बिहार विधानमंडल की शीतकालीन सत्र की...
सूबे के 275 सूखाग्रस्त प्रखंडों में किसानों को कृषि इनपुट अनुदान का लाभ देने के लिए 1450 करोड़ की मंजूरी का प्रस्ताव बिहार विधानमंडल में पेश हुआ। सोमवार को बिहार विधानमंडल की शीतकालीन सत्र की कार्यवाही के पहले दिन वित्तीय वर्ष 2018-19 के आय-व्ययक से संबंधित पेश द्वितिय अनुपूरक व्यय विवरणी में यह राशि भी शामिल है।
उप मुख्यमंत्री सह वित्त मंत्री सुशील कुमार मोदी ने 10 हजार 463 करोड़ की अनुपूरक व्यय विवरणी पेश की। दोनों सदनों में चर्चा और सरकार के उत्तर के बाद यह आने वाले दिनों में दोनों सदनों से पारित होगा। राज्य मंत्रिमंडल से इस राशि की पहले ही मंजूरी दी जा चुकी है। अनुपूरक व्यय विवरणी में 7601.27 करोड़ वार्षिक स्कीम मद में है। स्थापना एवं प्रतिबद्ध व्यय मद में 2767.78 करोड़ और केंद्रीय क्षेत्र स्कीम मद में 94.12 करोड़ है। वार्षिक स्कीम मद के लिए तय 7601.27 करोड़ में से 1066.88 करोड़ पीएम आवास ग्रामीण योजना, 976.07 करोड़ सर्व शिक्षा अभियान स्कीम, 617.33 करोड़ स्वच्छ भारत मिशन और 500 करोड़ सीएम ग्राम सम्पर्क योजना मद में खर्च होगा। जबकि 388.68 करोड़ एकीकृत बाल विकास, 360 करोड़ मेडिकल कॉलेजों के निर्माण, 318.23 करोड़ राज्य फसल सहायता योजना, 315.78 करोड़ राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन, 264.33 करोड़ राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, 230 करोड़ सिंचाई सृजन परियोजनाएं मद में खर्च होगी।
तस्वीरों में देखें: बिहार विधानसभा का शीतकालीन सत्र शुरू, सदन शांत, बाहर होता रहा हंगामा
वहीं, 175 करोड़ डीजल अनुदान, 166 करोड़ मध्याह्न भोजन, 159 करोड़ ग्राम परिवहन, 145 करोड़ बाढ़ नियंत्रण,125 करोड़ आयुष्मान भारत और 120 करोड़ सीएम वास स्थल क्रय सहायता योजना पर खर्च होगा। बाकी राशि दो दर्जन ऐसी परियोजनाएं पर खर्च होगी जो 100 करोड़ से कम की है।
स्थापना एवं प्रतिबद्ध व्यय मद में 2767.78 करोड़ में से 1450 करोड़ सूखाग्रस्त प्रखंडों में कृषि इनपुट अनुदान व पेयजल मद में खर्च होगा। 450 करोड़ विभिन्न विवि को अनुदान 127 करोड़ चीनी निर्माणशाला से संबंधित सहायक अनुदान, 170 करोड़ पंचायती राज संस्थाओं को बकाया दिया जाएगा। जबकि 105 करोड़ मेडिकल कॉलेजों के वेतन मद में खर्च किए जाएंगे। बाकी राशि अन्य मदों में खर्च किया जाएगा। केंद्रीय क्षेत्र स्कीम में 60 करोड़ पीएम स्वास्थ्य सुरक्षा योजना तो 12.30 करोड़ निर्भया परियोजना के क्रियान्वयन पर खर्च किया जाएगा।