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पंडित बिरजू महाराज का नहीं रहना अपूरणीय क्षति

पंडित चंद्रशेखर धर शुक्ल साहित्यिक व सांस्कृतिक संस्थान व कला- संगम के संयुक्त तत्वावधान में मंगलवार को शिवपुरी भीसा स्थित ह्यजायसवाल भवनह्ण में...

पंडित बिरजू महाराज का नहीं रहना अपूरणीय क्षति
हिन्दुस्तान टीम,सीतामढ़ीWed, 19 Jan 2022 03:31 AM
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सीतामढ़ी , नगर संवाददाता

पंडित चंद्रशेखर धर शुक्ल साहित्यिक व सांस्कृतिक संस्थान व कला- संगम के संयुक्त तत्वावधान में मंगलवार को शिवपुरी भीसा स्थित ह्यजायसवाल भवनह्ण में काव्यांजलि का आयोजन किया गया जिसमें कत्थक के महान विभूति पंडित बिरजू महाराज के असामयिक निधन पर उन्हें शब्दों के श्रद्धा सुमन अर्पित किये गये।

वरिष्ठ कवि रमाशंकर मिश्र की अध्यक्षता में आयोजित कार्यक्रम में वक्ताओं ने महाराज के व्यक्तित्व व कृतित्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि सादगी और सरलता की प्रतिमूर्ति पंडित बिरजू महाराज ने कत्थक नृत्य को जो ऊंचाई प्रदान की, वह शब्दों से परे हैं। 17 जनवरी 2022 का मनहूस दिवस ने हमसे पंडित बिरजू महाराज जैसा नृत्य जगत का एक ऐसा नायाब हीरा छीन लिया। जिसकी क्षतिपूर्ति संभव नहीं है।गीतकार गीतेश ने अपनी रचना ह्यकत्थक ने खो दी सच में अपनी ऊंची परवाज, नहीं रहे अब बीच हमारे पंडित बिरजू जी महाराज, है शत-शत नमन कत्थक के अमर पुरोधा को, नृत्य के नयनों में आंसू नृत्य कर रहे आज से उन्हें काव्यांजलि अर्पित की। मौके पर सुरेश लाल कर्ण, राम बाबू सिंह वनगांव, मो. कमरुद्दीन नदाफ, युवा कवि कृष्णनंदन लक्ष्य, अर्णव आर्या, रवि प्रकाश, शुभम सत्यांश, शशि रंजन, सचिन सिंह एवं रवि रंजन उपस्थित थे। अंत में दो मिनट का मौन रखकर दिवंगत आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना की गई।

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