सहरसा: साल भर अपराध से प्रभावित रहा कोसी क्षेत्र
कोसी प्रमंडल के तीनों जिले वर्ष 2018 में अपराधिक घटनाओं को लेकर अशांत रहा। कोसी के सहरसा, मधेपुरा व सुपौल जिले में हर महीने औसतन अपराध का ग्राफ एक समान ही...
कोसी प्रमंडल के तीनों जिले वर्ष 2018 में अपराधिक घटनाओं को लेकर अशांत रहा। कोसी के सहरसा, मधेपुरा व सुपौल जिले में हर महीने औसतन अपराध का ग्राफ एक समान ही रहा। हत्या, लूट, दुष्कर्म, अपहरण के मामले तीनों जिलों में एक समान ही दर्ज हुए। सहरसा जिले में करीब 4 हजार, मधेपुरा में 42 सौ और सुपौल में भी करीब 4 हजार की संख्या में विभिन्न अपराधिक घटनाएं हुई। सहरसा में करीब 45, मधेपुरा में 60 से अधिक और सुपौल में भी करीब 50 हत्या की घटनाओं से लोगों में दहशत का माहौल बना रहा। तीनों जिले में औसतन हर महीने 35 से अधिक चोरी की घटना को लेकर लोग परेशान रहे। वहीं दुष्कर्म की वजह से महिला सुरक्षा पर भी सवाल खड़े रहे। दुष्कर्म की सबसे ज्यादा 45 घटनाएं सुपौल में हुई। इसके अलावा सहरसा में भी 20 व मधेपुरा में 21 दुष्कर्म की घटना हुई। तीनों जिले में अपहरण की करीब पांच से अधिक मामले सामने आए। जिसमें 125 सहरसा, 150 मधेपुरा व 135 से अधिक अपहरण के मामले सुपौल में दर्ज कराया गया।
खुब चला हत्याओं का दौर
सहरसा जिले में इस वर्ष साल भर के दौरान करीब पचास हत्या की घटनाएं हुई। जिसमें करीब आधा दर्जन से अधिक हत्याकांड से शहर में माहौल तनावपूर्ण बना रहा। हत्या के बाद लोगों को सड़क पर उतरना पड़ा। हालांकि इस वर्ष हुई हत्या के अधिकतर मामलों में पुलिस ने अभियुक्तों को गिरफ्तार कर लिया है। वर्ष 2018 के प्रमुख हत्याओं में कोसी चौक पर दिनदहाड़े दर्जनों बदमाशों द्वारा मोनु उर्फ सत्यम की हत्या कर दी गई। गांधी पथ में उमेश साह की बदमाशों ने घर में घुसकर हत्या कर दी। सराही निवासी प्रभु पासवान का अपहरण के बाद हत्या कर दिया गया। थाना चौक पर दुकानदार अरविंद पंडित की पड़ोसी दुकानदार ने हत्या कर दी। कचहरी चौक समीप चाकू मारकर कैलु यादव की हत्या कर दी गई। कोसी चौक पर खगड़िया निवासी अमित साह की हत्या कर दी गई। जिले के बैजनाथपुर ओपी क्षेत्र के खजुरी सपहा निवासी संजय कुमार साह की अपराधियों ने लूट के दौरान गोली मारकर हत्या कर दी।
दिनदहाड़े चोरी से रही दहशत:
जिले में पिछले साल की तरह इस साल भी काफी संख्या में चोरी की घटनाएं हुई। लेकिन वर्ष 2018 में खासकर शहर के लोग दिनदहाड़े चोरी की घटना को लेकर परेशान रहे। चाहे आम हो या खास शहर का ऐसा कोई क्षेत्र नहीं था। जहां दिनदहाड़े चोरी की घटना नहीं हुई। जिससे प्रशासन पर काफी दबाव रहा। वहीं शहर में शटर तोड़ कर चोरी की घटना भी खुब हुई। लगातार चोरी की घटना को लेकर शहर में लोगों को सड़क पर भी उतरना पड़ा।