ट्रेंडिंग न्यूज़

Hindi News बिहार सहरसासहरसा के सिमरी में आल इंडिया मुशायरा का आयोजन 22 नवंबर को

सहरसा के सिमरी में आल इंडिया मुशायरा का आयोजन 22 नवंबर को

सिमरी बख्तियार पुर में आगामी 22 नवम्बर को आंल इंडिया आलिशान मुशायरा के आयोजन के लिए शनिवार को पहाड़पुर के एक स्कूल के परिसर में एक बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में समय एवं शायरों के चयन पर विस्तृत...

सहरसा के सिमरी में आल इंडिया मुशायरा का आयोजन 22 नवंबर को
हिन्दुस्तान टीम,सहरसाSun, 07 Oct 2018 05:25 PM
ऐप पर पढ़ें

सिमरी बख्तियार पुर में आगामी 22 नवम्बर को आंल इंडिया आलिशान मुशायरा के आयोजन के लिए शनिवार को पहाड़पुर के एक स्कूल के परिसर में एक बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में समय एवं शायरों के चयन पर विस्तृत विचार विमर्श किया गया। बैठक की अध्यक्षता मास्टर सैयद सईद अशरफ साहब ने किया। जबकि संचालन अंजुमन तरक्की ए उर्दू के जिला उपाध्यक्ष वजीह अहमद तसौवुर ने की। इस अवसर पर सैंकड़ों की संख्या में उर्दू साहित्य प्रेमियों ने मुशायरे के आयोजन में भरपूर सहयोग का आश्वासन दिया। इससे पूर्व आयोजन कमेटी के संयोजक नाजिम अनवर, चांद मंजर ईमाम एवं गुलाम मो.कौसर ने उपस्थित जन समूह से मीटिंग के उद्देश्य पर अपने विचार रखते हुए कहा कि मुशायरे से न केवल साहित्य एवं संस्कृति से जुड़ाव होता है, बल्कि हिन्दू मुस्लिम एकता में भी अहम रोल अदा करता है। यह मुशायरा चकभारो हाई स्कूल के मैदान में आयोजित करने का फैसला लिया गया। इस अवसर पर अपने विचार व्यक्त करते हुए मो. मेराज आलम ने कहा कि उर्दू हमारी संस्कृति से ऐसे जुड़ी हुई है, कि उसके बिना हमारा वजूद कुछ नहीं है। मजहब से लेकर अदब के मैदान तक उर्दू ही हमारी रहनुमाई कर रही है। इसलिए इस तरह के प्रोग्राम से उर्दू को शक्ति मिलती है। वजीह अहमद तसौवुर ने कहा कि अपने बच्चों को उर्दू सिखा दीजिए, वह खुद व खुद तहजीब सीख जायेंगे। क्योंकि उर्दू तहजीब की जुबान है। उन्होंने ने मुशायरे में कम मगर चुनिंदा शायरों को ही लाने का मशविरा दिया। अपने अध्यक्षीय संबोधन में सैयद सईद अशरफ ने भी मुशायरा कराने के लिए आयोजक को बधाई देते हुए, कम मगर सेलेक्ट शायरों को लाने पर जोर दिया। मीटिंग में सैयद वसी अशरफ, मास्टर आवान अहमद, महबूब आलम, अदनान आलम, रजा वारिस, खुर्शीद आलम चुन्ना, मो. हसीब उददीन, शमशाद आलम, दिल हसन, सरवर आलम, मो. दाऊद, मास्टर सदरूद्दीन, मास्टर करीम उददीन, फरहाद, पंकज कुमार, शाहिद, नजमुल होदा पप्पू, सलाह उद्दीन, मास्टर मसलेह उद्दीन, हसनैन जिया, फजलूर रहमान, मो0 अकबर लल्लू, ईमरान, साबिर हुसैन मुख्तार आलम, मुरशीद आलम, समेत सैंकड़ों की संख्या में लोग मौजूद थे।

हिन्दुस्तान का वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें