सहरसा : रक्षाबंधन को लेकर बाजार में जमकर हुई खरीदारी
रक्षाबंधन पर्व को लेकर जिले के बाजारों में रविवार को जमकर खरीदारी हुई। राखी से लेकर मिठाई दुकानों पर पूरे दिन भीड़ लगी रही। बाजार में आई जान से दुकानदारों के चेहरे पर काफी दिनों के बाद खुशी लौटी।...
रक्षाबंधन पर्व को लेकर जिले के बाजारों में रविवार को जमकर खरीदारी हुई। राखी से लेकर मिठाई दुकानों पर पूरे दिन भीड़ लगी रही। बाजार में आई जान से दुकानदारों के चेहरे पर काफी दिनों के बाद खुशी लौटी। रक्षाबंधन का पर्व सोमवार को मनाया जाएगा।
व्यापार संघ के जिलाध्यक्ष विकास गुप्ता, उपाध्यक्ष अर्जुन चौधरी ने बताया कि इस साल कोरोना के कारण व्यापार काफी प्रभावित हुआ है। लेकिन पर्व से पहले मिली तीन दिनों की छूट की वजह से शहर की राखी व मिठाई दुकानों में करीब 50 लाख रुपये से अधिक के कारोबार का अनुमान है। हालांकि पिछले वर्ष से इस बार काफी कम कारोबार हुआ है। कोरोना वायरस संक्रमण के कारण जिले में लगातार बाजार बंद थे। केवल आवश्यक सेवाओं से जुड़ी दुकानें ही खुली हुई थीं। एक अगस्त से बाजार खुलने की अनुमति मिल गई और रक्षाबंधन पर्व ने बाजारों में जान लौटा दी। कारोबार में तेजी के कारण बिक्री के लिए लाए गए सामान के फंसे रुपये काफी हद तक ऊपर होने की उम्मीद बंधी हुई है। जिले में रक्षाबंधन के कारण करोड़ों रुपये का कारोबार होता है। इस वजह से कारोबारी काफी पूंजी निवेश करते हैं लेकिन इस बार बाजार बंद होने के कारण व्यापारियों में अपना पूंजी नुकसान का डर समाया हुआ था। एक जून से अनलॉक वन के बाजार खुले तो व्यापारियों ने राखी खरीदने के लिए कर्ज लेकर भी पूंजी निवेश किया था। इसी बीच अचानक फिर जिले में लॉकडाउन लगा दुकानें बंद करने का आदेश जारी कर दिया गया। इसके बाद एक अगस्त से भले ही तीन दिनों तक कारोबार करने का मिला राखी कारोबारियों के चेहरे पर चमक लौट गई।
सोशल डिस्टेंसिंग का उल्लंघन : रक्षाबंधन पर्व कि खरीदारी में लोगों सोशल डिस्टेंसिंग को भूल गए। मिठाई दुकान, राखियों की दुकानों पर काफी भीड़ रही। हालांकि चौक चौराहे पर पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई थी। इसके बावजूद लोग सोशल डिस्टेंसिंग का उल्लंघन करते दिखे।
राखी बांधने का शुभ मुहूर्त : सोमवार को रक्षा बंधन के दिन सुबह नौ बजकर 28 मिनट से रात्रि नौ बजकर 27 मिनट तक शुभ मुहूर्त रहेगा। तीन अगस्त को सावन का आखिरी और पांचवां सोमवार भी है। सावन में बन रहे इस शुभ संयोग ने रक्षा सूत्र के पर्व को और खास बना दिया है। पंडितों के अनुसार सुबह नौ बजकर 27 मिनट तक भद्राकाल होने से राखी नहीं बांधना चाहिए। सुबह साढ़े सा बजे से नौ बजे तक राहुकाल रहेगा। इन दोनों के होने से रक्षा बंधन सुबह नौ बजकर 28 मिनट के बाद ही मनाना शुभ है।
राशि के अनुसार राखी बांधे व मिठाई खिलाएं : सोनवर्षा राज राधा-कृष्ण ठाकुबाड़ी के पुजारी सुगमा गांव निवासी आचार्य विजय ठाकुर ने बताया कि बहनें अपने भाई को राशि के अनुसार राखी बांधे व मिठाई खिलाएं।
मेष: मेष राशि के भाई को मालपुआ खिलाएं व लाल रंग राखी बांधे।
वृषभ: दूध से बनी मिठाई खिलाएं व सफेद रेशमी डोरी वाली राखी बांधे।
मिथुन: बेशन से निर्मित मिठाई खिलाएं व हरी डोरी वाली राखी बांधे।
कर्क: रावडी खिलाएं व पीली राखी बांधे।
सिंह: रस वाली मिठाई खिलाएं व पंचरंगी डोरे वाली राखी बांधे।
कन्या: मोतीचूर के लड्डू खिलाएं व गणेश जी के प्रतीक वाली राखी बांधे।
तुला: हलवा या घर में निर्मित मिठाई खिलाएं, रेशमी क्रीम रंग की राखी बांधे।
वृश्चिक: गुड के बनी मिठाई खिलाएं व गुलाबी रंग वाली राखी बांधे।
धनु: रसगुल्ले खिलाएं व पीली व सफेद डोली से बनी राखी बांधे।
मकर: बालूशाही मिठाई खिलाएं व मिले जुले धागे वाली राखी बांधे।
कुंभ: कलाकंद मिठाई खिलाएं व नीले रंग के राखी बांधे।
मीन: मिल्क केक खिलाएं व पीले-नीले रंग की राखी बांधे।