
बिहार में जेल की हाई सिक्योरिटी सेल में बंद कैदी ने दी जान, हत्या का आरोप
संक्षेप: इलाज के दौरान सदर अस्पताल में पुलिस को चकमा देकर कैदी फरार हो गया था। बताया गया कि इस मामले में वरीय अधिकारी ने चार पुलिस कर्मियों पर कार्रवाई भी की थी। इसके बाद फरार शराब के धंधेबाज की गिरफ्तारी के लिए पुलिस लगातार छापेमारी कर रही थी।
बिहार के हाजीपुर मंडल कारा में बंद विचाराधीन कैदी ने शनिवार को फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। आत्महत्या की सूचना मिलते ही जेल प्रशासन और पुलिस प्रशासन में हड़कंप मच गया। जेल प्रशासन ने मृत कैदी के शव का पोस्टमार्टम हाजीपुर सदर अस्पताल में करवाया। जहां दंडाधिकारी प्रतिमा कुमारी की मौजूदगी में वीडियो ग्राफी के बीच पोस्टमार्टम करवाया गया।

मृत कैदी बराटी थाना क्षेत्र के रंदाहा गांव निवासी विशेश्वर राय का पुत्र रंजन कुमार उर्फ मूसा था। घटना के संबंध में बताया गया कि बाराटी थाने की पुलिस ने 28 सितंबर को देशी शराब के साथ गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। जेल में ही चार अक्टूबर को मृतक कैदी का तबीयत अचानक खराब हो गई। उसके बाद जेल प्रशासन ने इलाज के लिए सदर अस्पताल में भर्ती करवाया था।
इलाज के दौरान सदर अस्पताल में पुलिस को चकमा देकर कैदी फरार हो गया था। बताया गया कि इस मामले में वरीय अधिकारी ने चार पुलिस कर्मियों पर कार्रवाई भी की थी। इसके बाद फरार शराब के धंधेबाज की गिरफ्तारी के लिए पुलिस लगातार छापेमारी कर रही थी। गुरुवार को बरांटी थाना क्षेत्र के घोड़ा चौक के पास पुलिस ने छापेमारी कर रविरंजन कुमार उर्फ मूसा को गिरफ्तार किया था।
गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने सदर अस्पताल में मेडिकल जांच करवाया और न्यायिक हिरासत जेल भेज दिया था। जहां शनिवार को कैदी ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। पुलिस प्रशासन ने घटना की सूचना मृतक के परिजनों को दी। सूचना मिलते ही परिजनों में कोहराम मच गया। मृतक की मां सदर अस्पताल पहुंची। जहां रोते रोते हाल बेहाल बना हुआ था। परिजनों ने जेल प्रशासन पर हत्या का आरोप लगाया है। घटना की सूचना मिलते ही सदर फर्स्ट एसडीपीओ सुबोध कुमार, नगर थानाध्यक्ष सिकंदर कुमार समेत कई पुलिस अधिकारी सदर अस्पताल पहुंचे।
वहां दंडाधिकारी की मौजूदगी में वीडियोग्राफी के साथ पोस्टमार्टम करवाकर परिजनों को शव सौंप दिया गया। इस संबंध में जेल सुपरीटेंडेंट ने बताया कि पिछले दिनों सदर अस्पताल से चकमा देकर भाग निकले रविरंजन कुमार उर्फ मूसा को जब दोबारा पुलिस ने पकड़कर जेल भेजा तो ऐहतियातन उसे हाईसिक्योरिटी सेल में रखा गया था। वहां बिछाने के लिए दी गई चादर और गमछे से फंदा बनाकर झूल गया। इसके बाद उसे लेकर हाजीपुर सदर अस्पताल पहुंचे, जहां चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया।
सदर एसडीपीओ फर्स्ट, सुबोध कुमार ने कहा कि रविरंजन कुमार उर्फ मूसा को जेल भेजा गया था। 4 अक्टूबर को तबियत खराब होने के बाद उसे सदर अस्पताल लाया गया था। जहां से वह भाग निकला था। दोबारा पुलिस ने 09 अक्टूबर को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया।





