पहली बार 40 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से दौड़ी पटना मेट्रो, तीन स्टेशनों की हुई जांच
संक्षेप: संरक्षा आयुक्त ने सबसे पहले डिपो का बारीकी से निरीक्षण किया। इसके बाद डिपो के यार्ड में लगी मेट्रो में सभी अधिकारी सवार होकर एलिवेटेड मार्ग के लिए निकले। जहां मेट्रो सबसे पहले न्यू पाटलिपुत्र बस टर्मिनल स्टेशन पहुंची।
पटना मेट्रो के परिचालन को लेकर रेड लाइन के तीन स्टेशनों का मेट्रो रेल सुरक्षा आयुक्त (सीएमआरएस) ने मंगलवार को निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान आईएसबीटी से जीरोमाइल और जीरोमाइल से भूतनाथ तक मेट्रो पहली बार 40 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से चली। इस दौरान सभी मानकों पर जांच की गई।
सीएमआरएस जल्द ही पटना मेट्रो रेल कॉरपोरेशन को रिपोर्ट सौंपेंगे। मेट्रो रेल के संरक्षा आयुक्त जनक कुमार गर्ग ने मंगलवार को मेट्रो डिपो, रॉलिंग स्टॉक (मेट्रो ट्रेन) और प्राथमिक कॉरिडोर के तीनों स्टेशनों का विस्तार से निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने रॉलिंग स्टॉक, स्टेशन सुविधाओं एवं डिपो के हर एक बिंदु की गहनता से समीक्षा की और सुरक्षा, संरक्षा और परिचालन मानकों का पालन सुनिश्चित करने पर जोर दिया।
इसके बाद उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक हुई। इसमें नगर विकास एवं आवास विभाग के सचिव सह पटना मेट्रो रेल कॉरपोरेशन के प्रबंध निदेशक अभय कुमार सिंह, अपर प्रबंध निदेशक अभिलाषा शर्मा सहित पटना और दिल्ली मेट्रो रेल कॉरपोरेशन के अधिकारी थे। बैठक में संरक्षा आयुक्त गर्ग ने कहा कि जन सुरक्षा सर्वोच्च प्राथमिकता होनी चाहिए। मेट्रो संचालन प्रारंभ करने के लिए सभी सुरक्षा और परिचालन प्रोटोकॉल का पूर्ण पालन अनिवार्य है। परियोजना के प्रत्येक चरण योजना, निर्माण, संचालन और अनुरक्षण में सुरक्षा को प्राथमिकता में रखें। सभी हितधारकों के बीच संपूर्ण समन्वय हो।
तीनों स्टेशनों की भी हुई गहनता से जांच
संरक्षा आयुक्त ने सबसे पहले डिपो का बारीकी से निरीक्षण किया। इसके बाद डिपो के यार्ड में लगी मेट्रो में सभी अधिकारी सवार होकर एलिवेटेड मार्ग के लिए निकले। जहां मेट्रो सबसे पहले न्यू पाटलिपुत्र बस टर्मिनल स्टेशन पहुंची। यहां संरक्षा आयुक्त ने स्टेशन पर पटरी और प्लेटफॉर्म का निरीक्षण किया। इसके बाद जीरो माइल और भूतनाथ स्टेशन का भी निरीक्षण किया। इस दौरान प्रत्येक स्टेशन पर लगभग आधे घंटे तक ट्रेन रुकी।





