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913 बच्चों ने दी राष्ट्रीय प्रतिभा खोज परीक्षा

शहर के दो परीक्षा केंद्रों पर रविवार को राष्ट्रीय प्रतिभा खोज व आय सह मेधा परीक्षा शांतिपूर्ण माहौल में संपन्न हो गई। इस परीक्षा में 913 बच्चों ने भाग लिया। आय सह मेघा परीक्षा के लिए कन्या इंटर...

913 बच्चों ने दी राष्ट्रीय प्रतिभा खोज परीक्षा
हिन्दुस्तान टीम,नवादाSun, 05 Nov 2017 06:30 PM
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शहर के दो परीक्षा केंद्रों पर रविवार को राष्ट्रीय प्रतिभा खोज व आय सह मेधा परीक्षा शांतिपूर्ण माहौल में संपन्न हो गई। इस परीक्षा में 913 बच्चों ने भाग लिया। आय सह मेघा परीक्षा के लिए कन्या इंटर विद्यालय को परीक्षा केंद्र बनाया गया था जबकि प्रतिभा खोज परीक्षा के लिए प्रोजेक्ट कन्या इंटर स्कूल को परीक्षा केंद्र बनाया गया था। डीपीआरओ परिमल कुमार ने बताया कि परीक्षा नकल मुक्त कराने के लिए छह स्टेटिक मजिस्ट्रेट, एक उड़नदस्ता दल तथा एक गश्ती दल की प्रतिनियुक्ति परीक्षा केंद्रों पर की गई थी। उन्होंने बताया कि कन्या इंटर स्कूल में आय सह मेधा परीक्षा में 284 बच्चे शामिल हुए जबकि प्रोजेक्ट इंटर स्कूल में प्रतिभा खोज परीक्षा में 629 बच्चे शामिल हुए। परीक्षा नकल मुक्त कराने के लिए जिला प्रशासन की ओर से व्यापक व्यवस्था की गई थी।

दिव्यांग बच्चों को मिला अतिरिक्त समय

दिव्यांग बच्चों के लिए एक घंटे का अतिरिक्त समय दिया गया था। प्रोजेक्ट कन्या इंटर स्कूल परीक्षा केंद्र पर एक दिव्यांग बच्चा परीक्षा में शामिल हुआ। परीक्षा 10 बजे से एक बजे तक हुई। परीक्षा को लेकर कलेक्ट्रेट में नियंत्रण कक्ष बनाया गया था। नियंत्रण कक्ष परीक्षा समाप्त होने तक काम करता रहा। परीक्षा केंद्रों पर हॉल में प्रवेश करने के पहले परीक्षार्थियों की सघन तलाशी ली गई। राष्ट्रीय प्रतिभा खोज परीक्षा में ऑब्जेक्टिव टाइप के सवाल पूछे गए थे। कई छात्रों ने बताया कि गणित के सवालों में उलझ गए। सवाल कुछ अलग टाइप का था। हालांकि सभी सवालों का जवाब उन्होंने लिख दिया।

आधी-अधूरी मेडिकल टीम की गयी तैनात

मेधा परीक्षा को लेकर एम्बुलेंस के साथ एक मेडिकल टीम की तैनाती की गयी थी। कंट्रोल रूम में एम्बुलेंस लगातार तैनात मिला पर स्थिति यह थी कि मेडिकल टीम को स्टेरलाइजेशन की सामग्री तक नहीं दी गयी थी। ऐसी स्थिति में कटे-फटे और चोट लगने का समुचित इलाज करना संभव नहीं था। यह तो सौभाग्य की बात है कि कोई ऐसा मामला सामने नहीं आया अन्यथा सिर्फ भागदौड़ के और कुछ करना संभव नहीं हो पाता। टीम में फार्मासिस्ट संजय कुमार सिन्हा, मु.क.से. सुरेश प्रसाद सिन्हा और एएनएम शोभा कुमारी व उर्मिला सिन्हा की तैनाती की गयी थी। मौके पर एक स्टाफ तैनात नहीं दिखा जबकि चिकित्सक की तैनाती ही नहीं की गयी थी। कुल मिलाकर कहा जा सकता है कि मेडिकल टीम के नाम पर बस खानापूर्ति कर दी गयी थी।

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