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हजार करोड़ का व्यापार रेल प्रोजेक्ट पर अटका

मिथिलांचल में एक कहावत है। इस भूमि का नेपाल से बेटी-रोटी का संबंध है। सीमा से लगे कई गांव में नेपाल से आई बहुएं हैं। वहीं बेटियों का ससुराल नेपाल में है। मिथिलांचल और नेपाल के बीच महत्वपूर्ण मंडी है...

हजार करोड़ का व्यापार रेल प्रोजेक्ट पर अटका
दीपक कुमार,मधुबनीTue, 09 Apr 2019 05:04 PM
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मिथिलांचल में एक कहावत है। इस भूमि का नेपाल से बेटी-रोटी का संबंध है। सीमा से लगे कई गांव में नेपाल से आई बहुएं हैं। वहीं बेटियों का ससुराल नेपाल में है। मिथिलांचल और नेपाल के बीच महत्वपूर्ण मंडी है जयनगर।

जयनगर में लगभग रोज डेढ़ करोड़ रुपए नेपाली बदले जाते हैं। स्पष्ट है कि सालाना यह राशि लगभग पांच सौ करोड़ की हो जाती है। जब नोटबंदी हुई तो जयनगर में जो राशि बैंकों में जमा की गई वह देश में बड़े-बड़े शहरों से कहीं अधिक थी।

छोटी लाइन बंद होने से खस्ता है जयनगर मंडी की हालत : साल 2012 से छोटी लाइन जो जयनगर से जनकपुर तक जाती थी वह बंद कर दी गई। उसे बड़ी लाइन में तब्दील किया गया। रेल लाइन के बंद होने के बाद से जयनगर बाजार की हालत खराब होती जा रही है। कपड़े और हॉजरी के सामान की मांग नेपाल में सबसे अधिक है। जिसकी पूर्ति जयनगर के मंडी से होती है। इसमें रोज गिरावट आ रही है।

750 करोड़ की लागत से तैयार है रेल प्रोजेक्ट: भारत-नेपाल के बीच 750 करोड़ की लागत से बड़ी लाइन का ट्रैक बिछकर तैयार है। पर नेपाल के ढीले रवैया के कारण देरी हो रही है। ट्रेन सेवा जयनगर से जनकपुर तक दिसंबर 2018 में शुरू होनी थी। पर अचानक नेपाल ने कहा कि वह भारत का कोच इस्तेमाल नहीं करेगा। वह अपना कोच और इंजन खरीदेगा। इसके लिए अभी केवल टेंडर की प्रक्रिया पूरी की गई है। निकट भविष्य में रेल चलने की गतिविधि नहीं है। इससे रोज व्यापार को नुकसान हो रहा है।

बोले सांसद

नेपाल रेल प्रोजेक्ट को लेकर मैंने कई बार प्रयास किया। उसी का परिणाम है कि आज यह प्रोजेक्ट पूरा हो गया है। चुनाव के बाद इस पर ट्रेनें दौड़ने लगेगी। यह प्रोजेक्ट पीएम नरेंद्र मोदी की मिथिला को देन है। इस ट्रेन से एकबार फिर जनकपुर और मिथिला की दूरी घटेगी। - वीरेंद्र कुमार चौधरी, सांसद

बोले विधायक

मैं बिहार का प्रतिनिधि हूं। यह मामला रेलवे से जुड़ा हुआ है। इसके लिए केंद्र की सरकार को पहल करनी चाहिए थी। पर निश्चित रूप से ट्रेन सेवा बहाल होने से जयनगर का विकास होगा। लोगों की आमदनी बढ़ेगी। भारत-नेपाल के बीच आना जाना आसान होगा।

- सीता राम यादव, विधायक , खजौली

पर्यटन को मिलेगा बढ़ावा

जनकपुर जैसे ट्रेन से जुड़ेगा वैसे ही सालाना करोड़ों रुपए की बचत होगी। लगभग दो सौ गाड़ियां रोज भंसार कटाकर जनकपुर के लिए जाती है। उसमें आधे से अधिक लोग ट्रेन का इस्तेमाल शुरू करेंेगे। इसका सीधा लाभ लोगों को मिलेगा। पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा और व्यवसाय बढ़ेगा।

जनता बोली

पवन कुमार यादव ने कहा कि ट्रेन शुरू होने के साथ ही जयनगर का व्यापार तीन गुणा बढ़ जाएगा। पर इसके लिए स्थानीय जन प्रतिनिधि को काम करना होगा। सांसद को जो दबाव बनाना चाहिए वो नहीं किया।

- पवन कुमार यादव, व्यापारी

जयनगर के व्यापारी ने कहा कि पहले नेपाल से ग्राहक ट्रेन से 20 रुपए टिकट लेकर आते थे। ट्रेन बंद होने से वो बस से 200 रुपए खर्च कर आते हैं। ट्रेन शुरू होने से बाजार में लोग बढ़ेंगे।

- शम्भू गुप्ता, व्यापारी

नेपाल के खुले रास्ते और जयनगर से जो व्यापार होता है वो बढ़ेगा। 2012 से जयनगर का व्यापार गिर रहा है। उसे नई उर्जा मिलेगी। साथ ही ट्रेन व्यापार के नए रास्तों को खोलेगा।

- अखिलेश सिंह, अध्यक्ष, सीओसी

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