वार्ड-10 में पेयजल संकट, गंदगी व जलजमाव से बढ़ी लोगों की परेशानी
जगतपुर फुलवारी टोला के निवासी जलजमाव, सफाई की कमी, पेयजल संकट और जर्जर सड़कों से परेशान हैं। दो साल से नगर निगम क्षेत्र में शामिल होने के बावजूद कोई विकास नहीं हुआ है। लोग गंदे तालाब के पानी पर निर्भर...
शहर के वार्ड संख्या 10 अंतर्गत जगतपुर फुलवारी टोला में कई समस्याएं हैं। बारिश में जलजमाव, साफ-सफाई न होना, पेयजल संकट और जर्जर सड़कें यहां की मुख्य समस्या है। फुलवारी टोला के निवासी रतन राय, राजू कुमार, मुकेश कुमार, चंदन कुमार, शिला देवी और अन्य स्थानीय महिला-पुरुषों ने बताया कि नगर निगम क्षेत्र में शामिल हुए दो साल से अधिक हो चुके हैं, लेकिन आज तक विकास के नाम पर कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। न तो नल-जल योजना सफल हो सकी है, न ही नियमित सफाई की व्यवस्था लागू हो पाई है। यहां पीने के पानी के लिए रोजाना दूर-दराज के इलाकों तक जाना पड़ता है।
मोहल्ले में ना तो कोई सार्वजनिक नल की व्यवस्था है और ना ही सबमर्सिबल की सुविधा पर्याप्त है। कई बार लोग दूसरे मोहल्लों या चौक पर जाकर पानी भरने को मजबूर होते हैं। यह स्थिति हर दिन की परेशानी बन गई है, जिससे महिलाओं और बुजुर्गों को खास कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। लोगों का कहना है कि यहां का जलस्तर काफी नीचे चला गया है, जिससे मोहल्ले के अधिकतरचापाकल से पानी निकलना बंद हो गया है। वहीं, नल जल योजना के पाइप अब तक अधिकांश घरों तक नहीं पहुंचे हैं। इस कारण मोहल्ले में जल संकट की स्थिति अत्यंत भयावह हो गई है। लोगों को स्नान करने और बर्तन धोने के लिए गंदे तालाब के पानी पर निर्भर रहना पड़ता है, जिससे संक्रमण और बीमारियों का खतरा हमेशा बना रहता है। फुलवारी टोला में साफ-सफाई की स्थिति भी खराब है। मोहल्ले में चारों तरफ कूड़ा-कचरा बिखरा पड़ा है। न तो कूड़ा उठाने की गाड़ी समय पर आती है और न ही सफाईकर्मियों की तैनाती है। स्थानीय निवासी बताते हैं कि नगर निगम की सफाई गाड़ी महीनों से इलाके में नहीं आई है। बच्चे कीचड़ में गिरते हैं, बुजुर्गों को चलने में कठिनाई होती है, और जगह-जगह जमा गंदगी के कारण संक्रामक रोगों का खतरा बढ़ गया है। लोगों का कहना है कि चुनाव के समय बड़े-बड़े वादे करने वाले जनप्रतिनिधि चुनाव जीतने के बाद लोगों की समस्याओं से मुंह मोड़ लेते हैं। इस मोहल्ले के लोग अब खुद को ठगा महसूस कर रहे हैं। स्थानीय युवाओं ने कहा है कि अगर हालात नहीं बदहले, तो स्थिति और बिगड़ जाएगी। लोगों का यह भी कहना है कि नगर निगम की अधिकांश योजनाओं का धरातल पर स्थिति अच्छी नहीं है। पेयजल, सफाई, जल निकासी, सड़कों की मरम्मत जैसी मूलभूत सुविधाओं के लिए लोगों को संघर्ष करना पड़ रहा है। मोहल्ले की सड़कों पर कहीं भी नाला नहीं है, जिससे बारिश के समय जलजमाव की स्थिति बन जाती है और गंदा पानी घरों के अंदर घुस जाता है। इससे संक्रमण का खतरा रहता है। बीमार और बुजुर्गों के लिए यह स्थिति और भी भयावह हो जाती है, क्योंकि स्वास्थ्य सेवाएं भी पास में उपलब्ध नहीं हैं। इस कारण, कई लोग इलाज के अभाव में परेशान रहते हैं। फुलवारी टोला के नागरिक अब एकजुट होकर अपनी आवाज बुलंद करने लगे हैं। वे नगर निगम और प्रशासन से मांग कर रहे हैं कि जल्द से जल्द इलाके में नल जल योजना को पूरी तरह लागू किया जाए, साफ-सफाई की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए और तालाब की सफाई कर उसे उपयोग करने लायक बनाया जाए। साथ ही मोहल्ले में नियमित रूप से सफाईकर्मी की नियुक्ति और कूड़ा उठाने की गाड़ी भेजी जाए। स्थानीय लोगों की यह भी मांग है कि निगम क्षेत्र में शामिल होने के बाद उन्हें जितने अधिकार और सुविधाएं मिलनी चाहिए वह नहीं मिल रहा है। समस्याओं का जल्द समाधान नहीं हुआ, तो वे लोग आंदोलन करेंगे।
बोले जिम्मेदार: जलसंकट की चुनौतीपूर्ण स्थिति से निपटने के लिए नगर निगम तेजी से प्रयास कर रहा है। पहले से संचालित नल-जल योजना की पाइपलाइन में आई तकनीकी खराबियों को चिह्नित कर मरम्मत का कार्य शुरू कराया गया है। कई वार्डों में लाइन रिपेयरिंग और वॉल्व बदलने का कार्य तेजी से चल रहा है, ताकि लोगों को नियमित और स्वच्छ जल की आपूर्ति सुनिश्चित की जा सके। पेयजल आपूर्ति के स्थायी समाधान के लिए निगम द्वारा टंकी आधारित जलापूर्ति प्रणाली को भी मजबूत किया जा रहा है। नल-जल योजना की सुचारुता के लिए निगम के अभियंताओं और ठेकेदारों की निगरानी में वार्डवार स्थिति की समीक्षा की जा रही है। पेयजल संकट वाले इलाकों में विशेष प्राथमिकता के आधार पर पाइपलाइन बिछाने, कनेक्शन जोड़ने और मरम्मत कार्यों को अंजाम दिया जा रहा है। जल्द ही निगम क्षेत्र के लोगों की समस्याओं को दूर किया जाएगा। -अनिल कुमार चौधरी, नगर आयुक्त ,मधुबनी
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