विचाराधीन बंदियों की रिहाई केलिए बैठक
विभिन्न जेलों में बंद विचाराधीन बंदियों की पैरोल पर रिहाई को लेकर गुरुवार को जिला कोर्ट में आला अधिकारियों की बैठक हुई। जिला जज कृष्ण मुरारी शरण ने मंडलकारा, बेनीपट्टी एवं झंझारपुर उपकार के अधीक्षकों...
विभिन्न जेलों में बंद विचाराधीन बंदियों की पैरोल पर रिहाई को लेकर गुरुवार को जिला कोर्ट में आला अधिकारियों की बैठक हुई। जिला जज कृष्ण मुरारी शरण ने मंडलकारा, बेनीपट्टी एवं झंझारपुर उपकार के अधीक्षकों से जेल में कैद विचाराधीन बंदी के बारे में जानकारी ली। खासकर ऐसे बंदियों के बारे में रिपोर्ट मांगी जिन्होंने अपराध की अधिकतम सजा की आधी अवधि जेल में व्यतीत किया हो। तीनों अधिकारियों से जेल की क्षमता एवं बंदियों की संख्या के बारे में भी रिपोर्ट तलब किया गया। बैठक में जिलाधिकारी निलेश रामचंद्र देवरे, एसपी डा. सत्यप्रकाश, परिवार न्यायालय के प्रधान न्यायाधीश मनोज तिवारी, एडीजे जयप्रकाश, एडीजे ओम सागर, जिला विधिक सेवा प्राधिकार के सचिव अमरजीत कुमार भी मौजूद थे। मंडलकारा अधीक्षक धर्मेंद्र कुमार ने बताया कि बंदियों की क्षमता एवं संख्या के साथ विचाराधीन बंदियों एवं उसकी सजा अवधि के बारे में विस्तृत रिपोर्ट सौंपी गई है। बेनीपट्टी व झंझारपुर उपकारा के अधीक्षक ने भी बिंदुवार जानकारी दी है। जिला जज ने कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए जिला प्रशासन द्वारा उठाए गए कदम एवं लॉक डाउन का उल्लंघन करने वालों पर की गई कार्रवाई की समीक्षा की जिलाधिकारी ने जिला मुख्यालय सहित अनुमंडल प्रखंड स्तर पर किए गए कार्यों से अवगत कराया। एसपी ने थानों में दर्ज की गई एफआईआर एवं जुर्माना वसूली की जानकारी दी। जिला जज ने सिविल सर्जन से संदिग्ध लोगों की जांच, बेड की उपलब्धता एवं एहतियात के रूप में की गई तैयारी के बारे में जानकारी ली। प्रभारी कोर्ट प्रशासन शुभ नारायण झा ने बताया कि जेल में भीड़ कम करने को लेकर उच्च न्यायालय के निर्देशानुसार विचाराधीन बंदियों की रिहाई को लेकर बैठक हुई।