दुखद : दो दोस्तों का एक साथ निकला जनाजा
भरसिया बब्बनबाड़ी गांव में मंगलवार की सुबह दो दोस्तों का एक साथ जनाजा उठने के कारण पूरे गांव में मातमी सन्नाटा पसर गया। दोनों दोस्तों के अटूट रिश्ते के कारण शोक में गांव के लोगों ने चूल्हे तक नहीं...
भरसिया बब्बनबाड़ी गांव में मंगलवार की सुबह दो दोस्तों का एक साथ जनाजा उठने के कारण पूरे गांव में मातमी सन्नाटा पसर गया। दोनों दोस्तों के अटूट रिश्ते के कारण शोक में गांव के लोगों ने चूल्हे तक नहीं जलाए।
मृतक दोनों दोस्त पेशे से राजमिस्त्री का काम करते थे। पान खाने के लिए बाइक से दोनों भरसिया बाजार आ रहे थे। इसी दौरान साइकिल को बचाने के क्रम में बस ने दोनों को कुचल दिया। दोनों दोस्त की मौत हो गयी। मंगलवार को गांव से दोनों का एक साथ ही जनाजा उठा तो टोला के लोगों का गम का आंसू थमने का नाम नहीं ले रहा था। मालूम हो कि बबनबाड़ी गांव निवासी मो. आसिफ व बरजान दोनों की गहरी दोस्ती थी। पोस्टमार्टम के बाद शव उनके आवास पर लाया गया। मृतक मो. आसिफ के वृद्ध पिता सईदुल रहमान व भाई तौसीफ व मेराज शव को लिपटकर चीत्कार मार रोने लगे। वृद्ध पिता सईदुल रोते रोते बड़े बेटे के गम में अचेत हो जा रहे थे। उन्हें क्या पता था कि बुढ़ापे का लाठी बननेवाला आज उनको अकेला छोड़ जायेगा। एक तो पूर्व में उनकी पत्नी की मौत और अब बेटे का भी साया उठ चुका है। इस कारण उनकी दुनिया ही उजड़ गयी। वहीं मृतक बरजान के पिता अब्दुल कासिम व मो. अरमानी खातून को भी यही हाल था। दहाड़े मार रोते रोते दोनों बदहवाश हो जाते। वह कहती कि अल्लाह ने आखिर किस गुनाह की सजा दी है। शव के घर पहंुचते ही इकलौती बहन रूबीना खातून व भाई मो. साकिम व हकीम भी गमगीन था। दहाड़ मार मार रोने से बुरा हाल था। ऐसा लगता था कि बेटे की मौत के गम ने उनके आंखों के आंसू सोख लिया हो।