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शहर में तीन दिनों से नहीं उठा कचरा, लोग परेशन

नगर विकास विभाग की तरफ से राज्य भर के नगर निकायों में 1 फरवरी से ग्रुप डी की सेवा दैनिक मजदूरों से लेने पर रोक लगा देने के बाद सरकार बैकफुट पर आ गयी है। विभाग ने चार दिन पूर्व दैनिक मजदूरों से काम न...

शहर में तीन दिनों से नहीं उठा कचरा, लोग परेशन
हिन्दुस्तान टीम,जमुईTue, 04 Feb 2020 12:21 AM
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नगर विकास विभाग की तरफ से राज्य भर के नगर निकायों में 1 फरवरी से ग्रुप डी की सेवा दैनिक मजदूरों से लेने पर रोक लगा देने के बाद सरकार बैकफुट पर आ गयी है। विभाग ने चार दिन पूर्व दैनिक मजदूरों से काम न लेने से संबंधित आदेश जारी किया था।

इसके बाद सोमवार को जमुई नगर परिषद के सफाई कार्य से जुड़े चालक, सुपरवाइजर समेत अन्य कर्मी हड़ताल पर चले गए। सफाई कर्मियों के हड़ताल पर जाने से सोमवार को कूड़े का समुचित उठाव नहीं किया गया। विभाग से मिली जानकारी के अनुसार फैसले पर सोमवार को 31 मार्च तक रोक लगा दी गयी है। विभाग की ओर से कहा गया कि पूर्व में जारी ग्रुप डी की सेवा आउटसोर्सिंग के माध्यम से न लेकर दैनिक मजदूरी पर सेवा प्राप्त किये जाने की स्थिति में 31 जनवरी तक दैनिक मजदूरी पर सेवा लेना बंद करने के आदेश को 31 मार्च तक स्थगित किया जाता है।

साथ ही निर्देश दिया है कि 01 अप्रैल से इस आदेश का सख्ती से पालन किया जाए। बता दें कि सरकार के फैसले से आक्रोशित जमुई नगर परिषद के कर्मियों ने भी मोर्चा खोल दिया था। सुबह से ही कूड़ा उठाने वाले कर्मी कार्यालय के समीप जुटकर काम पर न जाने की बात कह नीतीश कुमार मुर्दाबाद के नारे लगा रहे थे। हड़ताल का असर शहर के महाराजगंज, भछियार, खैरा मोड़, अस्पताल रोड़, कल्याणपुर रोड़, हांसडीह, अतिथि पैलेस, थाना चौक, बायपास रोड, महिसौड़ी आदि में देखने को मिला। कूड़े पर पशुओं का विचरण होता दिख रहा था। शहर के कई इलाकों में कचरा का ढ़ेर अब भी लगा है। इंटर की परीक्षा देने आए छात्र-छात्राओं को भी कूड़े के दुर्गंध से होकर गुजरना पड़ रहा है। साफ - सफाई को लेकर लोगों को परेशानी हो रही है।

नगर परिषद के सफाई कर्मियों का कहना है कि दैनिक मजदूरों के हटाने का फैसला सरकार ने गलत तरीके से किया है। इस फैसले के खिलाफ कर्मी अपना संघर्ष जारी रखेंगे। विभाग का यह कदम असंवैधानिक है। सरकार ने बिना कर्मियों से राय लिए ही एनजीओ सेवा बहाल कर दी जबकि एनजीओ लागू करने से पूर्व और बाद में भी उनलोगों ने इसका विरोध किया था। आज स्थिति ऐसी है कि वेतन भुगतान में भी अड़चन होती है। मौके पर किशोरी यादव, रंजीत सिन्हा, अवधेश सिंह, मुकेश कुमार, कुंदन कुमार, नौशाद, पंचम साह, प्रभाकर रावत, गुड्डू सिंह, शंभु सिंह, लालु रावत, पवन पासवान, लोचन सिंह, उपेन्द्र रावत, टिंकु सिंह, कैलाश भगत, राजेश कुमार, अवधेश समेत कई कर्मी मौजूद थे।

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