लालू के शासनकाल में चार्जशीट दाखिल होना, अपराधियों का जेल जाना सपना था; मंत्री मंगल पांडेय ने RJD को घेरा
स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने आरजेडी पर हमला बोला है। और कहा कि लालू यादव के कार्यकाल में चार्जशीट दाखिल होना और अपराधियों का जेल जाना सपना था। शाम को लोगों का घरों से निकलना दूभर था। 2005 के अंत में जब जेडीयू-बीजेपी की बिहार में सरकार बनी तब हालात सुधरे।
बिहार सरकार के स्वास्थ्य मंत्री और बीजेपी के वरिष्ठ नेता मंगल पांडेय ने आरजेडी पर तीखा हमला बोला है। उन्होने कहा कि राजद सुप्रीमो लालू यादव के कार्यकाल में चार्जशीट दाखिल होना और अपराधियों का जेल जाना सपना था। एनडीए के शासनकाल में स्पीडी ट्रायल से अपराधियों में खौफ पैदा किया गया। नतीजतन अपहरण की वारदात पर लगाम लगी।
नवंबर 2005 से 2020 के बीच 56 हजार से ज्यादा अपराधी जेल भेजे गए हैं। 2005 के अंत में जब जेडीयू-बीजेपी की बिहार में सरकार बनी तब हालात सुधरे। और कानून का शासन स्थापित होने के बाद अपराधियों में कानून का खौफ बढ़ा।
स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि बिहार में एक दौर वह भी था, जब शाम को लोगों का घरों से निकलना दूभर था। लालू प्रसाद के शासनकाल में लोग देर शाम घरों से बाहर नहीं निकलते थे। बच्चों को स्कूल भेजने से माताएं डरती थीं। स्कूल गए बच्चों की सकुशल वापसी तक वह बेचैन रहती थीं। पटना के मासूम छात्र किसलय के अपहरण के बाद तो पूरे बिहार में दहशत का माहौल कायम हो गया था।
सोमवार को जारी बयान में मंगल पांडेय ने कहा कि फिरौती के लिए अपहरण के उस दौर में स्थिति काफी खराब थी। देर शाम पटना जंक्शन पर उतरने वाले यात्रियों को रात वहीं गुजारनी पड़ती थी। बाहर गए किसी परिजन को घर आने में ज्यादा देर हुई तो परिवार में कोहराम मच जाता था। पुलिस जब भी कोई लाश बरामद करती थी, लोग अपनों के बारे में सोच कर डर जाते थे।
आपको बता दें नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव लगातार नीतीश सरकार की कानून व्यवस्था पर सवाल खड़े कर रहे हैं। और बाकयदा वारदातों के आंकड़े पोस्ट करके सरकार को घेर रहे हैं। वहीं एनडीए के मंत्री और नेता भी पलटवार करके बार-बार लालू यादव के शासनकाल की याद दिला रहे हैं। अपराध पर सियासी जुबानी जंग बीते कई महीनों से चली आ रही है।
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