दुर्गा मंदिरों व पूजा पंडालों में गूंजने लगे भक्ति गीत
दरभंगा में शारदीय नवरात्रि के तीसरे दिन माता दुर्गा के चंद्रघंटा स्वरूप की पूजा वैदिक मंत्रोच्चार से की गई। जयदेवपट्टी, तुमौल, घनश्यामपुर आदि के मंदिरों में श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ी। देवी भागवत कथा...

दरभंगा/ घनश्यामपुर। शारदीय नवरात्रि के तीसरे दिन विभिन्न दुर्गा मंदिरों में वुधवार को माता दुर्गा के चंद्रघंटा स्वरूप की वैदिक मंत्रोच्चार से पूजा अर्चना की गई। भगवती की पूजा के बाद आरती, मंत्र पुष्पांजलि एवं क्षमा प्रार्थना के बाद चरणामृत,नैवेद्य का वितरण किया गया। प्रखंड के जयदेवपट्टी, तुमौल, बुढेब, घनश्यामपुर, गनौन, देथुआ, बाऊर, पाली, पोहद्दीबेला, कोर्थु, शिवनगर घाट, सिद्ध विद्यापीठ गलमा धाम आदि के मंदिरों में पूजा पाठ में भाग लेने तथा माता दुर्गा का दर्शन करने श्रद्धालुओं की संख्या में वृद्धि होती जा रही है। पराती, वेदपाठ, सप्तशती पाठ, पूजा पाठ, देवी भागवत कथा, आरती, प्रार्थना, भजन कीर्तन, कुमारि भोजन आदि के आयोजनों से क्षेत्र का वातावरण जगदंबा मय हो चला है।
वातावरण में सप्तशती पाठ तथा पारंपरिक सुमधुर दुर्गा के गीत गुंजायमान हो रहा है। इस बीच पाली दुर्गा मंदिर प्रांगण में देवी भागवत कथा के तीसरे दिन वुधवार को कथा व्यास पं रौशन कुमार पाठक ने कहा कि मां दुर्गा की अराधना से प्राणी दुर्गम भवसागर से पार उतर जाता है। माता दुर्गा की कृपा से जो स्थान देवताओं के लिए भी दुर्लभ है वह स्थान उनके भक्तों को प्राप्त है। मां दुर्गा विश्वमाता तथा जगत कल्याणी हैं। देवताओं ने भी विपत्ति आने पर मां दुर्गा की अराधना की थी।
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