Karnanagar Residents Demand Basic Amenities After Name Change from Refugee Colony बोले भागलपुर: कर्णनगर के सभी घरों में पेयजल आपूर्ति की व्यवस्था करे निगम, Bhagalpur Hindi News - Hindustan
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बोले भागलपुर: कर्णनगर के सभी घरों में पेयजल आपूर्ति की व्यवस्था करे निगम

बरारी के वार्ड नंबर 28 में रिफ्यूजी कॉलोनी का नाम बदलकर कर्णनगर रखा गया है। यहां जलापूर्ति, सड़क और नाला की समस्याएं हैं। लगभग 300 बंगाली परिवारों को पानी की कमी और अन्य सुविधाओं की कमी का सामना करना...

Newswrap हिन्दुस्तान, भागलपुरMon, 19 May 2025 08:32 PM
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बोले भागलपुर: कर्णनगर के सभी घरों में पेयजल आपूर्ति की व्यवस्था करे निगम

बरारी के वार्ड नम्बर 28 में स्थित है रिफ्यूजी कॉलोनी। हालांकि अब इस मोहल्ले का नाम बदल दिया गया है। दिसंबर 2024 में डीएम की अध्यक्षता में हुई बैठक में नगर निगम द्वारा इस मोहल्ले का नाम बदलकर कर्णनगर करने के बारे में जानकारी दी गयी। इस मोहल्ले में मुख्य रूप से पाकिस्तान से 1955 के बाद विस्थापित होकर आए लोग बसे हुए हैं। यहां करीब तीन सौ बंगाली परिवार रहते हैं। मोहल्ले का नाम निगम ने बदल तो दिया लेकिन लोगों को सुविधाएं उपलब्ध कराना भूल गया। यहां सबसे बड़ी समस्या जलापूर्ति की है। सभी घरों में जलापूर्ति की व्यवस्था नहीं की गयी है। इससे लोगों में नाराजगी है। सड़क और नाला की स्थिति भी अच्छी नहीं है।

गंगा किनारे बसे कर्णनगर (रिफ्यूजी कॉलोनी) की आबादी करीब दो हजार है। नगर निगम क्षेत्र का यह मोहल्ला है, लेकिन यहां सुविधाएं गांव वाली भी नहीं है। मोहल्ले में लोगों के लिए रोजगार भी बड़ी समस्या है। बुडको द्वारा जलापूर्ति की व्यवस्था की जा रही है। सभी घरों में अभी तक पानी का कनेक्शन नहीं मिला है। इसके चलते लोगों को दूर से पीने के पानी की व्यवस्था करनी पड़ रही है। पाइप बिछाने के लिए बुडको द्वारा सड़क काटी गयी, लेकिन सड़क की मरम्मत ठीक से नहीं होने के चलते लोगों की परेशानी बढ़ गयी है। मोहल्ले के लोगों का कहना है कि बार-बार नगर निगम में शिकायत करने के बाद भी कार्रवाई नहीं हो रही है।

अशोक कुमार सरकार ने बताया कि मोहल्ले में पूर्वी पाकिस्तान से विस्थापित होकर कई परिवार भागलपुर आए थे। बाद में कुछ और परिवार विस्थापित होकर आए। उस समय सरकार द्वारा उनलोगों को रहने के लिए क्वार्टर बनाकर दिया गया था। बाद में सरकार द्वारा रहने के लिए पांच डिसमिल जमीन दी गयी। करीब दो सौ परिवारों को जमीन दी गयी। उसमें मकान बनाकर लोग रह रहे हैं। हालांकि कुछ लोगों का कागजात अभी तक नहीं बना है। गंगा किनारे रहने के चलते अधिकांश लोग मछली मारकर परिवार का भरण-पोषण करने लगे। गंगा के दूर जाने के बाद लोग अब दूसरा काम करते हैं। यहां बसने के बाद स्थानीय स्तर पर सुविधाएं तो दी गयीं, लेकिन जरूरत के हिसाब से काफी कम है। पहले मोहल्ले की सड़क अच्छी थी। जलापूर्ति को लेकर बुडको द्वारा पाइप बिछाने के लिए सड़क काट दी गयी। उसके बाद से सड़क की हालत जर्जर हो गयी है। सड़क पर कंक्रीट फैलने से चलने में लोगों को काफी परेशानी हो रही है।

असीम कुमार बाल ने बताया कि मोहल्ले में जलापूर्ति की व्यवस्था सबसे अधिक खराब है। तीन सौ में से करीब एक सौ घरों में अभी तक पानी का कनेक्शन नहीं पहुंचा है। जिन घरों में पानी का कनेक्शन है। वहां बुडको द्वारा 20 से 25 मिनट पानी की आपूर्ति की जाती है। नगर निगम से जो पानी मिल रहा है। वह काफी गंदा रहने के चलते पीने के लायक नहीं रहता है। कनेक्शन देने का काम अधूरा छोड़ दिया गया है। बुडको द्वारा जिन घरों को कनेक्शन नहीं दिया गया है। वैसा परिवार दूसरे के घरों या प्याऊ से पानी लाकर काम चला रहा है। नगर निगम को तत्काल सभी घरों में जलापूर्ति की व्यवस्था करनी चाहिए।

साजन चन्द्र दास ने बताया कि मोहल्ले में एक प्राथमिक विद्यालय है। विद्यालय की स्थिति अच्छी है, लेकिन एक भी बंगाली भाषा के शिक्षक नहीं हैं। मोहल्ले में अधिकांश बंगाली परिवार रहता है। स्कूल में बंगाली भाषा पढ़ाने के लिए एक शिक्षक की व्यवस्था होनी चाहिए। पुलिस प्रशासन को मोहल्ले में नियमित रूप से गश्ती करनी चाहिए। ताकि असामाजिक तत्वों के विरुद्ध कार्रवाई हो सके। उन्होंने बताया कि कई जगहों पर नाला का निर्माण हुआ है, लेकिन नाले के पानी की निकासी की कोई व्यवस्था नहीं है। कई जगहों पर नाला का गंदा पानी सड़क पर बह रहा है। नगर निगम को मोहल्ले की सभी गलियों में नाला का निर्माण करते हुए पानी निकासी की व्यवस्था करनी चाहिए। राजन दास ने बताया कि अभी तक राशन कार्ड और आयुष्मान कार्ड नहीं बना है। जिसके चलते दोनों योजनाओं का लाभ उन्हें नहीं मिल रहा है। कई परिवार सरकार की योजनाओं से वंचित है। राशन कार्ड के लिए कार्यालय का चक्कर लगाकर थक गये हैं। सुशीला कुमारी ने बताया कि वृद्धा पेंशन चार सौ रुपये मिलता है। कम राशि मिलने से परिवार का भरण-पोषण करने में परेशानी होती है। मोहल्ले में अधिकांश गरीब परिवार हैं जो मजदूरी कर भरण-पोषण करते हैं। सभी परिवारों का राशन कार्ड और आयुष्मान कार्ड बनना चाहिए।

वार्ड पार्षद के प्रतिनिधि मो. जफर ने बताया कि सभी घरों में पानी का कनेक्शन देने के लिए दो साल से नगर निगम में प्रयास किया जा रहा है। सामान्य बोर्ड की बैठक में भी इस मुद्दे को उठाया गया। बुडको द्वारा एक टंकी से वार्ड 28 और 29 में जलापूर्ति की जाती है। इसके चलते 20 से 25 मिनट पानी मिलता है। समय बढ़ाने के लिए इंजीनियर से भी कहा गया है। मोहल्ले में कुछ जगहों पर नाला की समस्या है। उससे संबंधित योजना नगर निगम में दी गई है। दो प्याऊ से लोगों को पानी दिया जा रहा है। सभी घरों में पानी का कनेक्शन होने से बाद सड़क की मरम्मत करायी जाएगी। मोहल्ले में जलापूर्ति, सड़क और नाला की समस्या है। उसका समाधान किया जाएगा। मोहल्ले के बगल में अस्पताल है। वहां जाकर लोग इलाज कराते हैं।

बोले जिम्मेदार

कर्णनगर (रिफ्यूजी कॉलोनी) में जलापूर्ति की समस्या का जल्द समाधान किया जाएगा। इसके लिए बुडको द्वारा योजना बनायी गयी है। जल्द ही सभी घरों में पानी का कनेक्शन देने की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। पाइप बिछाने और कनेक्शन देने के बाद सड़क की मरम्मत करायी जाएगी। सभी मोहल्ले में नाला बनाने की प्रक्रिया चल रही है। नाला निर्माण होने के पास जल निकासी की व्यवस्था की जाएगी। कर्णनगर मोहल्ले की समस्याओं का समाधान होगा।

-डॉ. बसुंधरा लाल, मेयर, भागलपुर नगर निगम

रिफ्यूजी कॉलोनी की जगह कर्णनगर नाम देना स्वागतयोग्य

बरारी स्थित कर्ण नगर के स्थानीय निवासी अशोक सरकार ने बताया कि रिफ्यूजी कॉलोनी के नाम से इस मोहल्ले को लंबे समय से जाना जाता था। अब प्रशासन ने रिफ्यूजी कॉलोनी की जगह कर्णनगर नाम रखा है। प्रशासन का यह कदम स्वागतयोग्य है। नाम बदलने के लिए काफी प्रयास किया गया। इसके लिए डीएम सहित अन्य अधिकारियों को कई ज्ञापन सौंपा गया। इसके बाद मोहल्ले की पहचान अब कर्णनगर के रूप में होने लगी है। कॉलोनी की पहचान अंगराज कर्ण के नाम से होना उन लोगों के लिए गर्व की बात है। देश की आजादी के सात दशक बीत जाने के बाद भी अबतक उन लोगों की पहचान रिफ्यूजी की तरह होना अच्छा नहीं लगता था। मोहल्ले का नाम तो बदल गया, लेकिन समस्याओं का समाधान नहीं हो रहा है। नगर निगम को मोहल्ले की जलापूर्ति, सड़क और नाला की समस्याओं का समाधान तत्काल करना चाहिए।

पाइपलाइन बिछाने के बाद भी नहीं मिल रहा पानी

वार्ड नंबर 28 के पार्षद प्रतिनिधि मो. जफर ने बताया कि कर्णनगर कॉलोनी (रिफ्यूजी कॉलोनी) में बुडको द्वारा पाइपलाइन बिछाई गई है। हालांकि यह काम पूरे कॉलोनी में नहीं किया गया है। कई जगहों पर पाइपलाइन बिछाने के बाद भी पानी नहीं पहुंच पा रहा है। जिसके कारण यहां के लोगों को जलापूर्ति की समस्या से जूझना पड़ता है। मोहल्ले में कई घर ऐसे हैं, जहां पाइपलाइन बिछाने के बाद कनेक्शन नहीं दिया गया है। जबकि पाइप बिछाने के लिए सड़क तोड़ने के बाद उसकी मरम्मत भी नहीं कराई गई है। जिसके कारण लोगों को आवागमन करने में काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। बरारी हाउसिंग बोर्ड बोरिंग से आने वाला पानी महज बीस मिनट चलता है, जिससे पर्याप्त पानी नहीं मिल पाता है। इसके लिए डीप बोरिंग की व्यवस्था करानी चाहिए। सारे मुद्दे को 7 मई को नगर निगम में हुई सामान्य बोर्ड की बैठक में उठाया गया है, जिसमें स्थल निरीक्षण कर मामले की जानकारी लेने और इसका समाधान कराने का आश्वासन मिला है।

अस्थायी कैंप लगाकर हो जरूरी दस्तावेजों में करेक्शन

असीम कुमार पाल ने बताया कि वर्षों से इस कॉलोनी की पहचान रिफ्यूजी कॉलोनी के नाम से रही है। यह नाम इलाके के लोगों के लिए शोभनीय नहीं लगता था। काफी प्रयास के बाद कॉलोनी का नाम तो बदल गया, लेकिन अब उन लोगों के समक्ष सबसे बड़ी चुनौती दस्तावेजों में मोहल्ले के परिवर्तित नाम को दर्ज कराना है। इसके लिए कॉलोनी के लोगों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। प्रशासन की ओर से इस कॉलोनी में ही अस्थायी कैंप लगाकर लोगों का वोटर आई कार्ड और आधार कार्ड में नाम सही करवाने की व्यवस्था करनी चाहिए। इससे आधार कार्ड, मतदाता पहचान पत्र समेत कई दस्तावेजों में कॉलोनी का नाम परिवर्तन आसानी से हो सकता है। कॉलोनी में छह दशक से अधिक समय से रहने वाले सभी लोगों को प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ मिलना चाहिए। इसके लिए कैंप में आवेदन जमा लेकर आगे की प्रक्रिया शुरू की जानी चाहिए।

कूड़ा कचरा के कारण आवागमन में परेशानी

कर्णनगर कॉलोनी की निवासी सरिता दत्ता ने बताया कि कॉलोनी के लोगों को कूड़ा कचरा जमा होने के कारण आवागमन में काफी परेशानी होती है। किसी भी समारोह या अन्य आयोजनों से निकलने वाले वेस्ट मटेरियल के लिए जगह चिह्नित कर डस्टबिन की व्यवस्था होनी चाहिए। कूड़ा कचरा के निस्तारण के लिए वेस्ट मैनेजमेंट के तहत व्यवस्था की जानी चाहिए। समाज के लोगों की समस्याओं के समाधान के लिए उचित पहल नहीं हो सकी है। इलाके का सर्वे कराकर सभी तरह की जरूरी सुविधा उपलब्ध करानी चाहिए। सभी परिवार को राशन कार्ड मिलना चाहिए, ताकि लोग सही तरीके से परिवार का भरण-पोषण कर सकें। कॉलोनी में कई ऐसी सड़क और गलियां हैं जहां रास्ते पर ही नाला का पानी बहता है। इसको देखते हुए सभी जगहों पर नाला निर्माण, पानी के लिए पर्याप्त व्यवस्था और बिजली का पोल लगाने की आवश्यकता है।

इनकी भी सुनिए

वृद्धा पेंशन की राशि बढ़ाई जानी चाहिए। जो राशि तय है वह भी समय पर नहीं मिल पाने से काफी परेशानी होती है। शरीर से लाचार होने के कारण कोई काम नहीं कर सकती हूं। सरकार प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ देते हुए वृद्ध महिलाओं के पेंशन में वृद्धि करे।

-सुशीला

कर्णनगर कॉलोनी में कूड़ा फेंकने के लिए डस्टबिन की व्यवस्था नहीं है। जिसके कारण लोग जहां-तहां कचरा फेंक देते हैं। नगर निगम से रोज कूड़ा उठाने वाली गाड़ी नहीं आती है। झाड़ू और साफ-सफाई की भी व्यवस्था ठीक नहीं है। इसे दुरुस्त किया जाना चाहिए।

-रीना राजवंशी

कर्णनगर कॉलोनी में कुछ जगहों पर बिजली का पोल लगा है, लेकिन बिजली के पोल पर लाइट की कोई व्यवस्था नहीं है। शाम होते ही इलाके में अंधेरा छा जाता है और आपराधिक तत्वों की गतिविधियां बढ़ जाती हैं। अंधेरा होने के कारण कई बार लोग सड़क के गड्ढे में गिरकर घायल हो जाते हैं।

-ज्योत्सना कर्मकार

विधवा पेंशन नहीं मिलता है। कॉलोनी में नाला की व्यवस्था ठीक नहीं होने के कारण पानी सड़क पर बहता है। पीने के पानी की व्यवस्था पर्याप्त नहीं है, जिसके कारण पड़ोसियों के चापाकल से पानी ढोकर घर का जरूरी काम करना पड़ता है।

-संध्या रानी दास

कर्णनगर कॉलोनी में अधिकतर जगहों पर नाला की व्यवस्था नहीं होने से पानी की निकासी में काफी दिक्कत होती है। इसके कारण जलजमाव की स्थिति बन जाती है। बारिश होने पर हालत और बदतर हो जाती है। गंदा पानी जमा होने के कारण बीमारी फैलने की संभावना बनी रहती है।

-निभाष राजवंशी

कर्णनगर में सड़क कई जगहों पर पूरी तरह से जर्जर है, जिसके कारण लोगों को आवागमन में परेशानी होती है। कुछ जगहों पर सड़क और नाला नहीं है। जिसके कारण घरेलू उपयोग से निकलने वाला नाले का गंदा पानी रास्ते पर ही बहता है।

-भगवान राजवंशी

कर्णनगर कॉलोनी में सड़क बनवाई गई थी। लेकिन सप्लाई पानी की पाइपलाइन बिछाने के लिए बुडको द्वारा सड़क को तोड़ने के बाद उसकी मरम्मत नहीं कराई गई। इसके कारण जर्जर सड़क से आवागमन करने वाले कई बार गिरकर घायल हो जाते हैं।

-तपन दास

रिफ्यूजी कॉलोनी में सप्लाई वाटर की व्यवस्था ठीक नहीं है, जिसके कारण पेयजल की समस्या उत्पन्न होती है। सड़क पर नाला का पानी बहता रहता है। जिसके कारण दुर्गा पूजा के समय लोगों को गंदा पानी से होकर गुजरना पड़ता है।

-भीम दास

कॉलोनी के लोगों के काफी प्रयास के बाद रिफ्यूजी कॉलोनी का नाम बदला गया। अब लोगों के समक्ष जरूरी दस्तावेज में नाम परिवर्तन कराना आवश्यक है। ताकि लोगों को दस्तावेज से संबंधित कार्यों में परेशानी नहीं हो।

-रंजीत दास

कॉलोनी में काफी ऐसे घर हैं, जहां पाइपलाइन बिछाने के बाद भी कनेक्शन नहीं मिला है। जिसके चलते पीने के पानी का संकट बना हुआ है। पाइप लाइन जहां बिछाई गयी है, वहां की सड़क को तोड़ने के बाद मरम्मत नहीं कराई गई है।

-सुजीत दास

बरारी स्थित कर्णनगर कॉलोनी में नाला निर्माण नहीं होने से लोगों को काफी परेशानी होती है। कॉलोनी का नाम रिफ्यूजी से बदलकर कर्णनगर कॉलोनी करने की मांग लंबे समय से की जा रही थी। इसमें लोगों को सफलता मिल गयी है।

-सदानंद राजवंशी

कर्णनगर कॉलोनी के लोगों को जन वितरण प्रणाली की दुकान से जो राशन मिलता है, वह खाने के योग्य नहीं रहता है। इसके कारण उनलोगों को काफी दिक्कत होती है। प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ भी नहीं मिल पाता है।

-गिरेंद्र दास

शिकायतें

1. कर्णनगर कॉलोनी में नाला की समुचित व्यवस्था नहीं होने के कारण इलाके का पानी सड़क या घर के आसपास जमा हो जाता है। बारिश होने पर परेशानी बढ़ जाती है।

2. सड़क की हालत जर्जर है। जलजमाव के कारण गड्ढे का पता नहीं चल पाता है। जिसके कारण कई बार लोग आवागमन के दौरान गिरकर घायल भी हो जाते हैं।

3. कॉलोनी का नाम परिवर्तन के बाद कागजात में नाम बदलवाने में लोगों को परेशानी हो रही है। इसके लिए प्रशासन की तरफ से कोई व्यवस्था नहीं है।

4. कॉलोनी में सभी जगहों पर बिजली का पोल नहीं होने से लोगों को परेशानी होती है, दूर से तार का कनेक्शन लेकर लोग बिजली का उपयोग कर रहे हैं।

5. वर्षों से कॉलोनी में लोग रहते आ रहे हैं। बावजूद कई लोगों का अभी तक राशन कार्ड नहीं बना है।

सुझाव

1. कर्णनगर कॉलोनी में अविलंब नाला निर्माण कराया जाना चाहिए। जिससे लोगों को जहां-तहां जमा गंदे पानी की समस्या से राहत मिल सके।

2.रोजगार की कोई व्यवस्था नहीं है, इसके लिए लोगों को सरकार की योजनाओं का लाभ मिलना चाहिए।

3.कागजातों में मोहल्ले का नाम परिवर्तित करने के लिए प्रशासन को शिविर लगाना चाहिए। इससे लोगों को राहत मिलेगी।

4. कॉलोनी में कई ऐसी सड़क और गलियां हैं जहां रास्ते पर ही नाला का पानी बहता है, सभी जगहों पर नाला निर्माण, पानी के लिए पर्याप्त व्यवस्था होनी चाहिए।

5. कॉलोनी में छह दशक से अधिक समय से रहने वाले सभी लोगों को प्रधानमंत्री आवास और अन्य योजनाओं की सुविधा मिलनी चाहिए।

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