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मायागंज अस्पताल में मरीज के नस से रिस रहा था खून, नर्सें बनी रहीं बेखबर

मायागंज अस्पताल के मेडिसिन विभाग में भर्ती मरीज के नस से खून रिस रहा था। मरीज दर्द से घंटों बेजार रहा। परिजन बहते खून को रोकने के लिए नर्सों से गुहार लगाते रहे, लेकिन वे नहीं पसीजी।

मायागंज अस्पताल में मरीज के नस से रिस रहा था खून, नर्सें बनी रहीं बेखबर
Malay Ojhaहिन्दुस्तान,भागलपुरMon, 15 Aug 2022 06:59 PM

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मायागंज अस्पताल के मेडिसिन विभाग में भर्ती मरीज के नस से खून रिस रहा था। मरीज दर्द से घंटों बेजार रहा। परिजन बहते खून को रोकने के लिए नर्सों से गुहार लगाते रहे, लेकिन वे नहीं पसीजी। अंत में परेशान परिजनों ने इसकी शिकायत उच्चाधिकारियों से करने की धमकी दी तो नर्सों ने मरीज को रिसते खून को रोक दिया। मामला रविवार पूर्वाह्न की है।

शनिवार की देर रात में कराया गया था भर्ती: मुंगेर जिले के असरगंज निवासी 24 वर्षीय सौरभ कुमार को दस अगस्त की शाम करीब सात बजे खेत पर बोरिंग कराने जाते वक्त किसी जहरीले जीव (शायद सांप) ने काट लिया था। वह सांप काटने की आशंका के तहत क्षेत्र के पिपरा गांव में गया, लेकिन उसे कोई फायदा नहीं हुआ। घर आया तो उसकी आवाज तक निकलनी बंद हो गयी। बेहोशी उस पर छाने लगी तो शनिवार की रात 11 बजे इलाज के लिए मायागंज अस्पताल के इमरजेंसी में भर्ती कराया गया। अगले दिन यानी रविवार को मेडिसिन विभाग में शिफ्ट कर दिया गया। यहां पर चिकित्सकों ने उसके दाहिने पैर में कटने वाले स्थान पर कॉटन का गाज लगाकर लपेट दिया और कहा कि अगर सूजन कम नहीं हुआ तो ऑपरेशन करना पड़ेगा।

रविवार को कलाई में हो रहा था दर्द, खून भी रिसा : परिजनों के मुताबिक, सौरभ को इलाज के दौरान स्लाइन चढ़ाया गया था। जिसकी वजह से उसकी कलाई पर वेसोफिक्स लगा दिया गया था। इसी वेसोफिक्स के दौरान उसे इंजेक्शन भी दिया गया था। नर्सों ने जो एक बार वेसोफिक्स लगाया तो उसे बदली ही नहीं। पुराना वेसोफिक्स जाम होने से रक्त प्रवाह में बाधा आयी तो खून जमने लगा। जिससे कलाई में तेज दर्द होने लगा, यहां तक जहां पर वेसोफिक्स लगा था, वहां के नस से खून भी रिसने लगा। इंजेक्शन देने के लिए नर्स आयी उससे भी परिजनों ने बताया, लेकिन उसने नहीं सुनी। सिस्टर इंचार्ज से लेकर ड्यूटी पर तैनात नर्सों को परेशानी को लेकर परिजनों ने बताया, लेकिन किसी ने भी वेसोफिक्स नहीं बदला। इसके बाद परिजनों ने अस्पताल अधीक्षक से इसकी शिकायत करने की धमकी दी तो करीब दो घंटे बाद नर्सों ने वेसोफिक्स बदला।

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