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प्रसव के बाद अधिक ब्लीडिंग से जच्चा की मौत, बच्चा जीवित

तेघड़ा पीएचसी में महिला ने दी थी बेटे को जन्म निज प्रतिनिधि तेघड़ा पीएचसी में सोमवार की सुबह एक प्रसूता की डिलेवरी करायी गयी। स्वस्थ बच्चे को जन्म देने...

प्रसव के बाद अधिक ब्लीडिंग से जच्चा की मौत, बच्चा जीवित
हिन्दुस्तान टीम,बेगुसरायMon, 24 Jan 2022 07:50 PM
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बेगूसराय। निज प्रतिनिधि

तेघड़ा पीएचसी में सोमवार की सुबह एक प्रसूता की डिलेवरी करायी गयी। स्वस्थ बच्चे को जन्म देने के बाद प्रसूता हो ब्लीडिंग होने लगी। लाख प्रयास के बाद भी ब्लीडिंग जब नहीं रूका तो अस्पताल के स्वास्थ्य कर्मियों ने प्रसुता को निजी क्लीनिक में रेफर कर दिया। निजी क्लीनिक में भी प्रसुता की तबियत बिगड़ने लगी तो वहां से सदर अस्पताल रेफर कर दिया गया, जहां अस्तपाल आते-आते प्रसूता ने दम तोड़ दिया। चिकित्सक ने प्रसूता की जांच के बाद उसे मृत घोषित कर दिया। मृतका 28 वर्षीया गुड़िया देवी तेघड़ा थाना के काजीरसलपुर गांव निवासी ललन कुमार दास की पत्नी थी। मौत की सूचना मिलते ही परिजनों में कोहराम मच गया।

रोते बिलखे मृतका की गोतनी पूनम देवी और कमली देवी ने बताया कि आशा बहु के कहने पर उसे तेघड़ा पीएचसी में भर्ती कराया। सोमवार की सुबह बेटा हुआ। उसके बाद उसे ब्लीडिंग होने लगी। शूट पहने हुई दो महिला थी वह चिकित्सक थी कि नर्स उसे पता नहीं। आशा बहु को फोन लगाया तो वह आने से इंकार कर गयी। पीएचसी में ब्लीडिंग नहीं रूका तो निजी क्लीनिक में जाने के लिए सलाह दिया गया। उन्होंने आरोप लगाया कि यदि तेघड़ा पीएचसी में सारी सुविधाएं नहीं थी तो वहां प्रसुता की डिलेवरी क्यों करायी जाती है। सदर अस्पताल की ओर से शव वाहन की व्यवस्था कर शव उसके गांव के लिए भेजा गया।

जन्म के तीन घंटे बाद ही बच्चे के सर से मां का साया हटा

नवजात बच्चा बिल्कुल स्वस्थ्य व जीवित है। दुर्भाग्य की बात है कि जन्म के तीन घंटे बाद ही नवजात बच्चे के सिर पर से मां का साया सदा के लिए खत्म हो गया। मृतका अपने नवजात बच्चे समेत चार बच्चों को अपने पीछे छोड़ गया।

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