बच्चे को तो बचा ली लेकिन खुद सबिला की चली गई जान
भरगामा, एक संवाददाता बीरनगर पश्चिम पंचायत के कदमाहा गांव की सबिला खातून चाहती...

भरगामा, एक संवाददाता
बीरनगर पश्चिम पंचायत के कदमाहा गांव की सबिला खातून चाहती तो हाई टेंशन तार की चपेट में आने से बच सकती थी। लेकिन छठ घाट पर लोगों की उमड़ी भीड़ को बचाने का उन्होंने भरपूर प्रयास किया। ग्रामीणों ने बताया कि सबसे पहले 11 हजार तार में आग की लपटें उसने ही देखी थी। तार में आग लगने की बात वह दौड़कर चिल्ला कर कह रही थी। ग्रामीण बताते हैं कि उसी के प्रयास से घायल बच्चे के साथ कोई अनहोनी नहीं हुई। वहीं उसके चिल्लाने पर छठ घाट पर उमड़ी भीड़ भी सजग हो चुकी थी। लोग तार के नीचे से हट चुके थे । इसी बीच आग लगा तार उसके शरीर पर गिर गया। व सबिला बुरी तरह जल गई। बिरनगर एवं आसपास के लोग में सबिला के बहादुरी के चर्चा आम रही। ग्रामीण बताते है कि सबिला ने खुद की प्रवाह न कर आमलोगों की चिंता की। बताते चलें कि जेबीसी नहर पर कदमाहा के समीप बिरनगर पूरब एवं पश्चिम दोनों पंचायत के लोग छठ पर्व मनाते आते हैं। इस पर्व में मजहब दीवार नहीं आती है। दोनों ही समुदाय के लोगो की उपस्थिति इस घाट पर रहती है। एक वर्ग जहां पूजा करती है वही दूसरे वर्ग के लोग बड़ी संख्या में इस पर्व में शामिल होते है। इस घटना से दोनों वर्ग के लोग खासे आहत है।
