ट्रेंडिंग न्यूज़

Hindi News बिहार अररियाराज्य सरकार के अधिनियम को मानने से एलडीएम का इंकार

राज्य सरकार के अधिनियम को मानने से एलडीएम का इंकार

बिहार सरकार ने शिकायतों की निर्धारित समय सीमा के भीतर निष्पादन के लिए बनाए गए लोक शिकायत निवारण अधिकार अधिनियम 2015 को बैंकिंग सेक्टर ठेंगा दिया है। बैंक के अधिकारी अब सुनवाई में पहुंचने से सीधे...

राज्य सरकार के अधिनियम को मानने से एलडीएम का इंकार
हिन्दुस्तान टीम,अररियाWed, 16 Jan 2019 01:07 AM
ऐप पर पढ़ें

बिहार सरकार ने शिकायतों की निर्धारित समय सीमा के भीतर निष्पादन के लिए बनाए गए लोक शिकायत निवारण अधिकार अधिनियम 2015 को बैंकिंग सेक्टर ठेंगा दिया है। बैंक के अधिकारी अब सुनवाई में पहुंचने से सीधे इंकार कर गए। इससे जिला लोक शिकायत निवारण कार्यालय में बैंक सबंधित मामले के निष्पादन में ग्रहण लगता प्रतीत हो रहा है।

वहीं एलडीम का कहना है कि बैंकिंग सेक्टर केंद्र सरकार के अधीन है ना कि राज्य सरकार की। राज्य सरकार की यह अधिनियम उस पर लागू नहीं होता है। इस अशाय का प्रतिवेदन जिला लोक शिकायत में जमा किया है। इधर मममले के निष्पादन में अड़चन आते देखकर जिला लोक श्किायत निवारण पदाधिकारी ने प्रधान सचिव सह मिशन निदेशक बिहार प्रशासनिक सुधार मिशन सोसाइटी को पत्र भेजकर मार्गदर्शन मांगा है।

एलडीएम अधिनियम के तहत है लोक प्राधिकार : अधिनियम में स्पष्ट रूप से कहा गया कि लोक शिकायत निवारण अधिकार अधिनियम 2015 की धार 2(ड) में वित्त विभाग के बैंक सबंधित परिवाद में निष्पादन में अग्रणीय जिला प्रबंधक को लोक प्राधिकार नामित किया गया है। जबकि एलडीएम ने अपने को अधिनियम के तहत लोक प्राधिकार नहीं मानते हुए प्रतिवेदन दिया है। बताया जाता है कि बैंक से सबंधित 21 मामलों की सुनवाई जिला लोक शिकायत निवारण कार्यालय में चल रही थी। इसमें अधिकांश मामले सीएसपी सेंटर से सरकारी योजनाओं की प्रोत्साहन व अनुदान राशि की गबन व बैंक के मामले से सबंधित है। एलडीएम रत्न कुमार ठाकुर ने कहाकि एसएलवीसी से प्राप्त ओदश के अनुसार प्रतिवेदन जिला लोक शिकायत निवारण कार्यालय में दिया गया है। बैंकिंग सेक्टर केंद्र सरकार के अधीन है। राज्य सरकार की यह कानून बैंकिंग सेक्टर पर लागू नहीं होता है। ऊपर से आदेश मिलने पर आदेश का पालन किया जाएगा। इधर जिला लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी शशि शेखर चौधरी ने कहाकि प्रधान सचिव से मार्गदर्शन की मांग की गई है। मार्गदशन मिलने पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।

हिन्दुस्तान का वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें