नीलम नहीं खरीद सकते तो पहनें बिच्छू बूटी
शनि के विपरीत होने पर लोगों के बने बनाए काम बिगड़ने लगते हैं। शनि देव को प्रसन्न करने के लिए तमाम उपाय बताए गए हैं। नीलम धारण करना भी उसमें शामिल है लेकिन नीलम महंगा होने की वजह से आम जन के लिए...
शनि के विपरीत होने पर लोगों के बने बनाए काम बिगड़ने लगते हैं। शनि देव को प्रसन्न करने के लिए तमाम उपाय बताए गए हैं। नीलम धारण करना भी उसमें शामिल है लेकिन नीलम महंगा होने की वजह से आम जन के लिए मुश्किल होता है। ऐसे लोग बिच्छू बूटी पहनकर शनि देव की कृपा प्राप्त कर सकते हैं।
शनि देव को प्रसन्न करने के लिए लोग आमतौर पर नीलम, नीली या घोड़े की नाल का छल्ला धारण करते हैं लेकिन अनुकूल बैठने वाला उत्तम रत्न नीलम बहुत कम ही मिलता है। इसके साथ ही उसके भले -बुरे की परीक्षा भी अत्यधिक कठिन है। ज्योतिष के जानकार पंडित केएल झा शास्त्री ने बताया कि काफी महंगा होने के कारण यह रत्न आम लोगों के लिए खरीदना कठिन होता है। ऐसे में अगर आप भी शनिदेव को प्रसन्न करना चाहते हैं तो परेशान न हों क्योंकि नीलम की जगह आप बिच्छू बूटी की जड़ का प्रयोग कर सकते हैं। नीलम रत्न की जगह बिच्छू बूटी की जड़ का प्रयोग करके आप निश्चित रूप से शनिदोष से बच सकते हैं ।
चांदी के ताबीज में पहनें बिच्छू बूटी
बिच्छू बूटी को धारण करने के लिए किसी भी शुक्ल पक्ष के शनिवार को प्रात: पुष्य नक्षत्र में बिच्छू बूटी की जड़ उखाड़कर ले आएं। साथ ही पहले दिन शुक्रवार की संध्या को पहले निमंत्रण दें आएं। इस जड़ के टुकड़े को चांदी के ताबीज में भरकर शनिमन्त्र से अभिमंत्रित कर धारण करें। यह प्रत्येक व्यक्ति का शनिदोष निवारण करती है।
इस मंत्र का जाप करने से मिलता फायदा- ॐ -शं नो देवीरभिष्टय आपो भवन्तु पीतये ,शंय्योरभिस्रवन्तु न: शं शनये नम: ॐ
जानें क्या है बिच्छू बूटी
बिच्छू बूटी हिमाचल प्रदेश में बहुत होती है। कोमल कांटेदार पत्तों को स्पर्श करने से वृश्चिकदंश जैसी पीड़ा होने लगती है। इसीलिए इसका नाम बिच्छू बूटी है।