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Hindi News विधानसभा चुनावहरियाणा में अकाली दल के साथ BJP का गठबंधन कभी था ही नहीं : सुभाष बराला

हरियाणा में अकाली दल के साथ BJP का गठबंधन कभी था ही नहीं : सुभाष बराला

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के प्रदेशाध्यक्ष सुभाष बराला ने शुक्रवार को कहा कि हरियाणा में भाजपा-अकाली दल का कभी गठबंधन नहीं था, इसलिए उनके साथ धोखा करने की बात गलत है। सिरसा में पत्रकारों से...

हरियाणा में अकाली दल के साथ BJP का गठबंधन कभी था ही नहीं : सुभाष बराला
सिरसा। एजेंसीFri, 27 Sep 2019 05:57 PM
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भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के प्रदेशाध्यक्ष सुभाष बराला ने शुक्रवार को कहा कि हरियाणा में भाजपा-अकाली दल का कभी गठबंधन नहीं था, इसलिए उनके साथ धोखा करने की बात गलत है।

सिरसा में पत्रकारों से बातचीत में उन्होंने शिरोमणि अकाली दल व भाजपा के बीच बढ़ी दरार के सवाल पर यह बात कही। उन्होंने पंजाब में भाजपा अकाली दल गठबंधन पर कहा कि यह केंद्रीय नेतृत्व का मामला है, वह केंद्र में किस घटक दल से गठबंधन रखता है।

हरियाणा में अकेले चुनाव लड़ेगी अकाली दल, BJP पर लगाया यह आरोप

एक सवाल के जवाब में बराला ने कहा कि हरियाणा विधानसभा चुनावों के लिए पार्टी के प्रत्याशियों की घोषणा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वदेश लौटने के बाद की जाएगी। प्रधानमंत्री रविवार, 29 सितंबर को स्वदेश लौटेंगे जबकि 30 सितंबर को संसदीय दल की बैठक होगी। उन्होंने बताया कि प्रदेश संगठन की ओर से टिकटों को लेकर काम पूरा कर लिया गया है। केंद्रीय मंत्री राव इंद्रजीत के अपनी बेटी को टिकट दिलाने को लेकर शुक्रवार को अलग से बुलाई बैठक पर प्रतिक्रिया में बराला ने कहा कि उन्हें इस संदर्भ में मालूम नहीं है बाकी इस पर केंद्रीय नेतृत्व ही फैसला लेगा।

अकाली दल विधायक के भाजपा में जाने से सुखबीर नाराज

गौरतलब है कि शिरोमणि अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने हरियाणा में पार्टी के एकमात्र विधायक के भाजपा में शामिल होने के बाद शुक्रवार को कहा कि भाजपा ने जो किया है वह अनैतिक और दुर्भाग्यपूर्ण है। बादल ने कहा कि हर रिश्ते की एक मर्यादा होती है और अकाली दल के मौजूदा विधायक को अपने खेमे में शामिल करने से उनके गठबंधन की मर्यादा का उल्लंघन हो रहा है।

कलांवली के विधायक बलकौर सिंह गुरुवार को नई दिल्ली में भाजपा में शामिल हो गए, जहां उन्होंने मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर की राज्य को ईमानदार सरकार देने के लिए प्रशंसा की। बादल ने अमृतसर में संवाददाताओं से कहा कि रिश्ते की एक मर्यादा होती है। हमारे मौजूदा विधायक को अपने खेमे में शामिल करना अनैतिक है और मर्यादा तोड़ने वाला है।

हरियाणा विधानसभा चुनाव अकेले दम पर लड़ने का फैसला

एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि अकाली दल ने हरियाणा विधानसभा चुनाव अकेले दम पर लड़ने का फैसला किया है। पंजाब में कोई समस्या नहीं है जहां भाजपा के साथ हमारा गठबंधन है। पंजाब और दिल्ली में हमारा गठबंधन कायम है। उन्होंने कहा कि हरियाणा में पहले भी भाजपा के साथ हमारा गठबंधन नहीं रहा। लेकिन पुराने सहयोगी दल होने के नाते हमारी एक प्रतिबद्धता है। बादल ने कहा कि उन्होंने जो किया है वह अत्यंत निंदनीय है। खासतौर पर ऐसी पार्टी के साथ जो हमेशा उसके (भाजपा के) साथ खड़ी रही। उस पार्टी के साथ ऐसा करना बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है और हमारी पार्टी इसकी पुरजोर निंदा करती है।

इससे पहले अकाली दल ने बृहस्पतिवार को भाजपा पर हरियाणा विधानसभा चुनाव मिलकर लड़ने की प्रतिबद्धता से पीछे हटने का आरोप लगाया था। 2019 के लोकसभा चुनाव में पार्टी ने भाजपा के उम्मीदवारों को समर्थन दिया था। अकाली दल की कोर कमेटी के एक सदस्य ने कहा कि जब भाजपा के लिए अकाली दल के कदम पर ऐसे ही रुख का वक्त आया तो वह पलट गई और यहां तक कि अकाली दल के एक विधायक को अपने खेमे में शामिल कर लिया। अकाली दल ने हरियाणा के प्रभारी महासचिव बलविंदर सिंह की अध्यक्षता में समिति बनाई थी जिसे हरियाणा चुनाव के लिए सीट बंटवारे के मुद्दे पर भाजपा से बातचीत का काम सौंपा गया था।

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