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अखलाक का गांव बना 'बिसाहड़ा LIVE'

देश भर के राजनीतिज्ञ दादरी कांड पर दुख जता रहे हैं। कुछ अखलाक के परिवार से मिलने पहुंच रहे हैं तो कुछ ट्विटर पर संवेदना जाहिर कर रहे हैं। दूसरी ओर बिसाहड़ा के लोग लगातार नेताओं के पहुंचने और मीडिया...

अखलाक का गांव बना 'बिसाहड़ा LIVE'
लाइव हिन्दुस्तान टीमSun, 04 Oct 2015 08:11 AM
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देश भर के राजनीतिज्ञ दादरी कांड पर दुख जता रहे हैं। कुछ अखलाक के परिवार से मिलने पहुंच रहे हैं तो कुछ ट्विटर पर संवेदना जाहिर कर रहे हैं। दूसरी ओर बिसाहड़ा के लोग लगातार नेताओं के पहुंचने और मीडिया कवरेज से परेशान नज़र आए।

अखलाक के परिवार से मिले राहुल

कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने शनिवार को मोहम्मद अखलाक के परिवार से मुलाकात की। गांधी ने ट्वीट किया, "मोहम्मद अखलाक के परिवार से मिला और अपनी गहरी संवेदना व्यक्त की।"

राहुल ने कहा, "यह देखकर बहुत दुख होता है कि दशकों में विकसित हुआ विश्वास और सौहाद्र्र घृणा की राजनीति के द्वारा नष्ट हो गया।" उन्होंने कहा, "हमारे लोगों के बीच घृणा भारत को कमजोर करता है। हमें एकजुट रहना है और घृणा फैलाने वालों से लड़ना है।"

गांधी ने ट्वीट में कहा है, "बिसाहड़ा में सौहार्द बनाए रखने को लेकर लोगों की इच्छा से प्रभावित हुआ। यह भावना कठिन समय में देश को उबारने में मददगार होगी।"

वायुसैनिक के पिता की हत्या दुर्भाग्यपूर्ण: वायुसेना प्रमुख

वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल अरुप राहा ने वायुसेना के जवान के पिता की हत्या को दुर्भाग्यपूर्ण करार दिया। उन्होंने कहा कि वायुसेना के अधिकारी उस परिवार के संपर्क में हैं। राहा ने यह भी कहा कि पीड़ित परिवार को जल्द ही किसी सुरक्षित स्थान पर ले जाया जाएगा।

राहा ने कहा, "यह किसी के लिए भी एक दुर्भाग्यपूर्ण घटना थी, खासतौर से वायुसेना के किसी कार्यरत जवान के लिए। वायुसेना के वरिष्ठ अधिकारी वायुसैनिक के परिवार के संपर्क में हैं और उन्हें मदद पहुंचा रहे हैं।" उन्होंने कहा, "हम वायुसैनिक के परिवार को वायुसेना के किसी सुरक्षित इलाके में स्थानांतरित करने की कोशिश कर रहे हैं।"

वायुसेना प्रमुख ने कहा कि वे जिला प्रशासन के संपर्क में हैं। लेकिन उन्होंने इस मुद्दे पर केंद्र या राज्य सरकार को पत्र लिखने की बात से इंकार कर दिया। राहा ने कहा, "राज्य सरकार या केंद्र सरकार को इस मामले में लिखना बेकार है, क्योंकि हर कोई समझता है कि इस तरह की चीजें स्वीकार नहीं की जा सकती हैं। सरकारों की तरफ से उचित कार्रवाई की जा रही है।"

केजरीवाल पीड़ित परिवार से मिले

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अखलाक के परिवार से शनिवार को मुलाकात की और हत्या की इस घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताया। केजरीवाल को प्रशासन ने पहले एक अतिथिगृह में लगभग चार घंटे तक रोके रखा और उसके बाद मोहम्मद अखलाक के परिवार से मिलने की अनुमति दी।

केजरीवाल ने संवाददाताओं से कहा, "इस गांव में घटी घटना दुर्भाग्यपूर्ण है। यह घटना नहीं घटनी चाहिए थी। यह गांव शांतिप्रिय है.. इस तरह की घटनाएं बहुत पीड़ादायक हैं।"

केजरीवाल ने उन हिंदू महिलाओं से भी मुलाकात की, जिन्होंने इसके पहले एक जुलूस निकाला और गांव का प्रवेश मार्ग अवरुद्ध कर दिया और कहा कि मीडिया और राजनेता उनके खिलाफ पक्षपातपूर्ण रवैया अपना रहे हैं। केजरीवाल गांव में आधा घंटा रहे और उन्होंने हिंदू परिवारों की भी समस्याएं सुनी।

प्रारंभ में पुलिस ने केजरीवाल और उनके साथियों को गांव में प्रवेश करने से रोक दिया, क्योंकि 500 से अधिक महिलाओं ने घटना की एकतरफा मीडिया कवरेज की शिकायत की और विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शन कर रहे कई लोगों ने कहा कि वे मुसलमानों के साथ रहते हैं और उन्होंने उनके घरों और मस्जिदों को बनाने में मदद की है।

पुलिस ने कहा कि चूंकि कुछ प्रदर्शनकारियों ने पथराव किया, लिहाजा केजरीवाल के काफिले को एक अतिथिगृह के लिए मोड़ दिया गया। अतिथिगृह में लगभग चार घंटे इंतजार के बाद केजरीवाल और उनकी टीम -संजय सिंह, कुमार विश्वास और आशुतोष- ने अखलाक की विधवा और उसकी मां से मुलाकात की।

पुलिस द्वारा रोके जाने के बाद केजरीवाल ने ट्वीट किया, "हमें पुलिस और प्रशासन ने रोका। महेश शर्मा (मंत्री) और ओवैसी (मुस्लिम नेता असददुद्दीन ओवैसी) को पुलिस ने नहीं रोका, तो फिर मुझे क्यों? मैं तो सबसे ज्यादा शांतिप्रिय व्यक्ति हूं।" उन्होंने आगे लिखा, "मुझ पर राजनीति करने का आरोप लगता रहा है। हां, मैं राजनीति करता हूं, लेकिन मैं प्रेम और एकता के लिए राजनीति करता हूं। वे नफरत की राजनीति करते हैं।"

आप के नेता ने कहा, "हमारा दृढ़ विश्वास है कि हिंदू और मुसलमान को एकता से रहना चाहिए और वोट बैंक नहीं बनना चाहिए। वे लोगों को बांटना चाहते हैं।" आप नेता आशुतोष ने कहा, "हमें लगता है कि प्रधानमंत्री को यहां आना चाहिए और एक संदेश देना चाहिए, ताकि ऐसा फिर कभी न हो।"

पीड़ित परिवार को 20 लाख रुपये देगी अखिलेश सरकार

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने गौतमबद्धनगर जिले के दादरी स्थित बिसाहड़ा गांव की घटना पर अफसोस जताते हुए कहा कि दोषियों को किसी भी हालत में बक्शा नहीं जाएगा। उन्होंने पीड़ित परिवार को 20 लाख रुपये की आर्थिक सहायता देने की घोषणा भी की है। लखनऊ स्थित सरकारी आवास पर दादरी घटना की समीक्षा करते हुए उन्होंने उच्च अधिकारियों से इस मामले की पूरी जानकारी ली। भविष्य में ऐसी घटना न हो, इसके लिए सभी उन्होंने अधिकारियों को जरूरी कदम उठाने के निर्देश दिए।

मुख्यमंत्री ने दादरी घटना में मृतक मोहम्मद अखलाक के आश्रितों को पूर्व में दी गई 10 लाख रुपये की आर्थिक सहायता को बढ़ाकर 20 लाख रुपये किए जाने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि इस घटना के संबंध में निष्पक्ष जांच करते हुए दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।

उप्र को सांप्रदायिकता की आग में झोंकना चाहती है सपा सरकार: कांग्रेस

उत्तर प्रदेश के कांग्रेस नेतृत्व ने शनिवार को कहा कि दादरी इलाके के बिसाहड़ा की घटना में पुलिस एवं प्रशासन ने लापरवाही बरती और कुछ राजनीतिक दल इसे सांप्रदायिक रंग देने में कामयाब हुए, इससे साबित होता है कि प्रदेश की समाजवादी पार्टी की सरकार पंचायत चुनाव के ऐन मौके पर प्रदेश को सांप्रदायिकता की आग में झोंकने पर अमादा है।

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डॉ. निर्मल खत्री ने दादरी की घटना की निंदा की और कहा कि एक तरफ जहां केंद्र सरकार आरएसएस द्वारा पूरे देश सहित उत्तर प्रदेश में धर्म की आड़ में आम जनता को आपस में लड़ाकर वोटों का ध्रुवीकरण कराना चाहती है, वहीं समाजवादी पार्टी इन सांप्रदायिक ताकतों के साथ मिलकर चुनावी लाभ लेने की जुगत में लगी हुई है।

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