ग्रामीण पेयजल योजना के लिए बिहार को 250 करोड़ आवंटित
फ्लोराइड, आर्सेनिक और आयरन प्रभावित ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छ पेयजल के लिए 2017-18 में केंद्र सरकार से बिहार को 250 करोड़ रुपए मिलेगा। गुरुवार को पेयजल एवं स्वच्छता मंत्रालय दिल्ली में बिहार के...
फ्लोराइड, आर्सेनिक और आयरन प्रभावित ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छ पेयजल के लिए 2017-18 में केंद्र सरकार से बिहार को 250 करोड़ रुपए मिलेगा। गुरुवार को पेयजल एवं स्वच्छता मंत्रालय दिल्ली में बिहार के पदाधिकारियों के साथ हुई बैठक में यह आवंटन तय हुआ। 2016-17 की तीसरी किश्त के रूप में बिहार को करीब 52 करोड़ रुपए और देने पर भी सहमति बनी।
दिल्ली में आयोजित इस बैठक में मंत्रालय के संयुक्त सचिव सत्यव्रत साहू, निदेशक राजेश कुमार और एडवाइजर दिनेश कुमार के सामने लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग की प्रधान सचिव अंशुली आर्या तथा अन्य अधिकारियों ने बिहार में चल रही योजनाओं का ब्यौरा रखते हुए अधिक से अधिक आवंटन का दावा किया। बताया गया कि राज्य सरकार ने इस मद में 350 करोड़ रुपए आवंटित किया है, लिहाजा केंद्र भी पर्याप्त धनराशि दे ताकि अधिक से अधिक लोगों को स्वच्छ पानी मुहैया कराया जाए।
वर्ष 2016-17 में केंद्र सरकार ने बिहार के लिए इस मद में 236 करोड़ रुपए आवंटित किया था, जिसमें से 228 करोड़ विभाग को मिल चुके हैं। अब तीसरी किश्त के रूप में भी बिहार को 20 करोड़ रुपए दिया जाना तय हुआ है। इसी प्रकार विश्व बैंक परियोजना के तहत इस वर्ष बिहार को 50 करोड़ रुपए मिले हैं तीसरी किश्त के रूप में और 32 करोड़ रुपए मिलना तय हुआ है। ग्रामीण पेयजल कार्यक्रम के तहत बिहार के करीब दो लाख घरों में पीएचईडी ने हर घर नल का जल योजना के तहत पानी का कनेक्शन दे दिया है।