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माध्यमिक विद्यालयों में हिन्दी, संस्कृत, अंग्रेजी की पढ़ाई ठप

देवरिया। निज संवाददाता। माध्यमिक विद्यालयों में हिन्दी, संस्कृत और अंग्रेजी की पूरी किताबें नहीं पहुंची हैं। हालांकि सत्र शुरू हुए ढाई महीने हो गए हैं। इसके चलते विद्यालयों में पढ़ाई ठप हो गई है।...

माध्यमिक विद्यालयों में हिन्दी, संस्कृत, अंग्रेजी की पढ़ाई ठप
लाइव हिन्दुस्तान टीमWed, 24 Sep 2014 01:31 AM
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देवरिया। निज संवाददाता। माध्यमिक विद्यालयों में हिन्दी, संस्कृत और अंग्रेजी की पूरी किताबें नहीं पहुंची हैं। हालांकि सत्र शुरू हुए ढाई महीने हो गए हैं। इसके चलते विद्यालयों में पढ़ाई ठप हो गई है। स्कूल के प्रधानाचार्य कई बार डिमाण्ड कर चुके हैं, लेकिन विभाग कोई उचित कार्रवाई नहीं कर रहा है।

शिक्षा का अधिकार अधिनियम के तहत कक्षा एक से आठवीं तक सरकार नि:शुल्क किताबों का वितरण कराती है। किताबें जनपद के परिषदीय व माध्यमिक विद्यालयों में भी वितरित की जाती हैं।

जिले में 450 हाई स्कूल व इण्टरमीडिएट स्तर के मान्यता प्राप्त विद्यालय हैं। इनमें 122 सरकारी और सरकार द्वारा सहायता प्राप्त हैं। यहां के छात्रों को कक्षा छह से आठवीं तक सरकार की योजना के तहत नि:शुल्क पुस्तक दी जाती है लेकिन ऐसा नहीं हुआ है।

अधिकतर विद्यालयों पर पूरी किताबें नहीं पहुंची हैं। कई विद्यालयों पर हिन्दी, अंग्रेजी, संस्कृत, हमारा पर्यावरण, कृषि विज्ञान की किताबें नहीं पहुंची हैं। इससे अधिकतर विद्यालयों में इन विषयों की पढ़ाई नहीं हो पा रही है।

कुछ विषयों की किताबें पहुंची भी हैं तो आधी-अधूरी। कम पुस्तकों की वजह से पढ़ाई भी प्रभावित हो रही है। इनकी बाजार में उपलब्धता न होने से भी छात्र पढ़ाई पूरी नहीं कर रहे हैं जबकि शिक्षण सत्र शुरू हुए ढाई महीने हो गए हैं। प्रधानाचार्यों ने पढ़ाई बंद होने का हवाला देते हुए डीआईओएस कार्यालय में मांग की है।

वहां से भी कोई ठोस कार्रवाई नहीं हो सकी है। तीन लाख बच्चों के लिए होती है डिमाण्ड सर्व शिक्षा अभियान कार्यालय द्वारा पुस्तको की डिमाण्ड तीन लाख बच्चों के लिए शासन से किया जाता है।

किताबें कई खेप में जिलों को उपलब्ध कराई जाती हैं। इसका वितरण परिषदीय प्राथमिक, जूनियर, माध्यमिक विद्यालयों में पढ़ने वाले छात्रों में किया जाता है। कई खेप में किताबे आने से प्रकाशक द्वारा कम भेज दिया जाता है।

किताबें कम उपलब्ध हुई हैं। कई विद्यालयों ने डिमाण्ड किया है। पत्र बनाकर सर्व शिक्षा अभियान में भेज दिया गया है। किताबें उपलब्ध होते ही वितरित करा दिया जाएगा। बच्चों की पढ़ाई में कोई व्यवधान नहीं होने पाएगा। डॉ. विनोद कुमार राय, डीआईओएस।

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