बकाया दिलाने को मिलों का अधिग्रहण करे सरकारः जयंत
बड़ौत। पश्चिमी उत्तर प्रदेश में पहली बार ऐसे हालात हुए हैं, जिसमें किसान आत्महत्या को मजबूर हो गया है। अब बहुत हो चुका। सरकार अपनी जिम्मेदारी को समझे और किसानों का भुगतान कराए। भुगतान में देरी करने...
बड़ौत। पश्चिमी उत्तर प्रदेश में पहली बार ऐसे हालात हुए हैं, जिसमें किसान आत्महत्या को मजबूर हो गया है। अब बहुत हो चुका। सरकार अपनी जिम्मेदारी को समझे और किसानों का भुगतान कराए। भुगतान में देरी करने वाले मिलों का अधिग्रहण करें।
ये बातें रालोद महासचिव जयंत चौधरी ने ढिकाना गांव में पत्रकार वार्ता के दौरान कही। जयंत चौधरी ने बताया कि किसान की दुर्दशा के लिए प्रधानमंत्री के मंत्रिमंडल में अहम पदों पर बैठे मंत्री गैर जिम्मेदाराना बयान दे रहे हंै और कोर्ट किसानों के पक्ष में फैसला नहीं ले रहा। मुख्यमंत्री भुगतान नहीं दिला रहे। प्रधानमंत्री किसानों की पीड़ा पर चर्चा नहीं कर रहे हैं। केन्द्र के मंत्री राज्य सरकारी की जिम्मेदारी बताकर पल्ला झाड़ रहे हैं। केन्द्र सरकार व राज्य सरकार समन्वय नहीं बना रही।
मिल मालिक लामबंदी कर रहे हंै। सरकार को अधिकार है कि वह मिलों का अधिग्रहण करे। किसानों का कर्जा माफ होना चाहिए। उन्होने बताया कि एक्ट के अनुसार केन्द्र सरकार मिलों का अधिग्रहण कर सकती है। उन्होने बताया कि गन्ना भुगतान के लिए पार्टी की बैठक हुई है। जिलों में धरना प्रदर्शन किया जा रहा है। इसका अगला चरण भी जल्द शुरू हो जाएगा। उन्होने कहा कि दिल्ली में 12 तुगलक रोड स्थित कोठी से लोगों का भावनात्मक लगाव है,जिस कारण लोगों में रोष है।
सवाल निवास का नहीं है। सवाल है लोगों की भावनाओं का है। इस मौके पर पूर्व विधायक डा. अजय कुमार, अश्वनी तोमर, अरूण तोमर उर्फ बोबी, अश्वनी तोमर, रामकुमार चेयरमैन, सतेन्द्र प्रमुख, अनिल जैन, धनपाल गुर्जर ,सुरेश मलिक आदि थे।