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इलाहाबाद विश्वविद्यालय के कुलपति का इस्तीफा

इलाहाबाद विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. अनिल कुमार सिंह ने सोमवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। रजिस्ट्रार प्रो. बीपी सिंह ने कुलपति प्रो. सिंह के इस्तीफे की पुष्टि की है। विश्वविद्यालय में नौ...

इलाहाबाद विश्वविद्यालय के कुलपति का इस्तीफा
लाइव हिन्दुस्तान टीमTue, 29 Jul 2014 01:38 AM
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इलाहाबाद विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. अनिल कुमार सिंह ने सोमवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। रजिस्ट्रार प्रो. बीपी सिंह ने कुलपति प्रो. सिंह के इस्तीफे की पुष्टि की है। विश्वविद्यालय में नौ जुलाई से बेमियादी हड़ताल पर चल रहे कर्मचारियों का मसला हो या फिर प्रशासनिक कामकाज या फिर शिक्षकों के साथ हाल के वर्षो में हुई अभद्रता का मामला कुलपति प्रो. सिंह के रवैये से लगातार शिक्षकों, कर्मचारियों व छात्रों में निराशा रही।

कुलपति के रूप में प्रो. सिंह ने 24 जनवरी 2011 को कार्यभार संभाला लेकिन प्रो. सिंह की संवादहीनता की वजह से विश्वविद्यालय की छोटी से छोटी समस्याएं भी वर्तमान में विकराल रूप ले चुकी थी। 25 जुलाई को विश्वविद्यालय में ठप हो चुकी शैक्षिक व्यवस्था को शुरू कराने की मांग को लेकर छात्रों ने प्रो. सिंह को उनके आवास पर ही बंधक बना लिया था। ऐसा माना जा रहा है कि एमएनएनआईटी स्थित आवास पर 26 जुलाई को भाजपा के तीन सांसदों को एक घंटे तक इंतजार कराना और परिसर के लगातार अशांत हो रहे माहौल के बढम्ते दबाव में प्रो. सिंह ने इस्तीफा दिया है।

छह अगस्त को होने वाली कार्यपरिषद पर लगा ग्रहण
कुलपति प्रो. सिंह के इस्तीफे के बाद छह अगस्त को होने वाली कार्यपरिषद की आपात बैठक पर भी ग्रहण लग गया है। प्रो. सिंह ने 27 जुलाई को कर्मचारियों को अपने आवास पर बुलाकर उनकी मांगों के संदर्भ में निर्णय लेने के लिए छह अगस्त को बैठक बुलाई थी। लेकिन प्रो. सिंह के इस्तीफे से परिसर में अनिश्चितता का माहौल पैदा हो गया है। सबसे बडम सवाल यह है कि विश्वविद्यालय के वर्तमान हालात को कैसे संभाला जा सकेगा।

साढ़े तीन साल में नहीं सामान्य हुए हालात
कुलपति के रूप में प्रो. सिंह ने पूरब के ऑक्सफोर्ड के मुखिया का कार्यभार संभाला था। अपने साढ़े तीन साल के कार्यकाल में प्रो. सिंह विश्वविद्यालय में शिक्षकों, छात्रों व कर्मचारियों की समस्याओं को लेकर कोई निर्णय नहीं कर सके। इतना ही नहीं वर्ष अप्रैल 2012 में छात्रों को हॉस्टल खाली कराने की नोटिस के बाद स्थितियां अराजक हो गई थी। छात्रों ने प्रो. सिंह को 34 घंटे तक कुलपति कार्यालय में बंधक बनाए रखा था। इस प्रकरण में यूजीसी के पूर्व चेयरमैन प्रो. थोराट व आईआईटी कानपुर के प्रो. संजय धांडे की दो सदस्यीय कमेटी ने कुलपति की संवादहीनता को बड़ी वजह बताया था।

गोरखपुर का सफर इलाहाबाद में अधूरा
प्रो. एके सिंह ने गोरखपुर विश्वविद्यालय से रसायन विज्ञान से एमएससी किया। आईआईटी कानपुर से पीएचडी की और आईआईटी मुंबई में रसायन विज्ञान के प्रोफेसर रहे। इसके पहले प्रो. सिंह महज 15 दिन ही बुंदेलखंड विश्वविद्यालय के कुलपति रहे। गोरखपुर से चला प्रो. सिंह का सफर इलाहाबाद विश्वविद्यालय में अधूरा रह गया।

प्रो. सिंह का शैक्षणिक परिचय
1978: पीएचडी, आईआईटी कानपुर
1982: लेक्चरर रसायन विज्ञान, रूडम्की विश्वविद्यालय
1983: लेक्चरर रसायन विज्ञान, आईआईटी, मुंबई
1984: असिस्टेंट प्रोफेसर, आईआईटी, मुंबई
1988: एसोसिएट प्रोफेसर, आईआईटी, मुंबई
1989: विजिटिंग साइंटिस्ट, युनिवर्सिटी ऑफ मोट्रीरियल
1990: प्रोफेसर, आईआईटी, मुंबई
1993: हेड, रसायन विज्ञान विभाग, आईआईटी मुंबई
2002: निदेशक, रीजनल रिसर्च लेबोरेट्री(सीएसआईआर) जोरहट
2004: डीन एकेडमिक प्रोगाम, आईआईटी मुंबई
2007: कुलपति, बुंदेलखंड विश्वविद्यालय
24 जनवरी 2011: कुलपति इलाहाबाद विश्वविद्यालय

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