फोटो गैलरी

Hindi Newsमोबाइल रिपेयरिंग: कम लागत अधिक मुनाफा

मोबाइल रिपेयरिंग: कम लागत अधिक मुनाफा

इन दिनों मोबाइल इस्तेमाल करने वालों की संख्या तो काफी बढ़ गई है, लेकिन इसे ठीक करने वाले ट्रेंड मैकेनिक गिने-चुने ही हैं। आप इसका प्रशिक्षण लेकर अपने भविष्य को बेहतर आयाम दे सकते हैं। मोबाइल...

मोबाइल रिपेयरिंग: कम लागत अधिक मुनाफा
लाइव हिन्दुस्तान टीमTue, 30 Sep 2014 11:29 AM
ऐप पर पढ़ें

इन दिनों मोबाइल इस्तेमाल करने वालों की संख्या तो काफी बढ़ गई है, लेकिन इसे ठीक करने वाले ट्रेंड मैकेनिक गिने-चुने ही हैं। आप इसका प्रशिक्षण लेकर अपने भविष्य को बेहतर आयाम दे सकते हैं। मोबाइल रिपेयरिंग एक ऐसा स्वरोजगार है, जिसे सीख कर आप खुद का काम शुरू कर सकते हैं और अच्छी कमाई कर सकते हैं।

कैसे करें शुरुआत
मोबाइल रिपेयरिंग के लिए कुछ महीनों का प्रशिक्षण लेकर आप मोबाइल रिपेयर शॉप खोल सकते हैं। मोबाइल रिपेयरिंग शॉप शुरू करने से पहले प्रशिक्षण के अलावा सही जगह का चुनाव और कुछ जरूरी उपकरणों की आवश्यकता होती है।

जगह का चुनाव
इस काम में जगह का काफी महत्वपूर्ण स्थान है। जगह का चुनाव इस काम की सफलता की गारंटी में अहम रोल अदा करेगा। आप अपनी दुकान मार्केट में खोलें तो बेहतर होगा, साथ ही इस बात का ध्यान रखें कि वहां इलेक्ट्रिसिटी की आसानी से उपलब्धता हो और ग्राहकों को आने-जाने में आसानी हो।

जरूरी उपकरण
प्रशिक्षण के दौरान आपको उपकरणों के बारे में और उनके इस्तेमाल के बारे में विस्तृत तरीके से बताया जाता है। रिपेयर के दौरान जिन उपकरणों की अधिक जरूरत पड़ती है वह हैं पेचकस सेट, एमएसडी, सोल्डिंग आयरन, डिजिटल मीटर और कंप्यूटर या लैपटॉप। ये सभी सामान आपको नजदीकी मार्केट में आसानी से मिल जाएंगे।

प्रशिक्षण
मोबाइल रिपेयरिंग ऐसा काम है, जिसे बगैर प्रशिक्षण के नहीं किया जा सकता। हर छोटे-बड़े शहर में आईटीआई और कई प्राइवेट संस्थान कुछ महीनों का प्रशिक्षण कार्यक्रम चलाते हैं। सर्टिफिकेट कोर्स दो-तीन से छह माह तक होता है, जबकि डिप्लोमा पाठय़क्रम एक वर्ष का होता है। प्रशिक्षण लेने के लिए किसी खास डिग्री की जरूरत नहीं है, लेकिन अगर आप आठवीं या दसवीं उत्तीर्ण हैं तो प्रशिक्षण के दौरान आपको आसानी होगी। हालांकि कुछ संस्थान बारहवीं के बाद ही प्रशिक्षण के लिए दाखिला देते हैं।

बैंकों से मदद
इस काम को शुरू करने के लिए अगर आपके पास पूंजी नहीं हो तो आप बैंक से मदद ले सकते हैं। अधिकांश बैंक आपको स्वरोजगार योजना के तहत इस काम के लिए लोन मुहैया करा देंगे। बैंक द्वारा दिए गए कुछ मानकों को पूरा करने के बाद आपका लोन पास हो जाएगा। लोन पर कुछ राशि आपको ब्याज के रूप में देनी होगी, लेकिन सरकारी बैंकों की ब्याज दर काफी कम है।

आमदनी
किसी छोटे शहर में अपना रिपेयरिंग का काम शुरू करने पर 12 से 20 हजार रुपए प्रतिमाह आसानी से मुनाफा हो सकता है। अगर ग्राहकों के साथ संबंध अच्छे रखेंगे और अच्छा काम देंगे तो काफी कम समय में आपकी आमदनी अच्छी-खासी हो सकती है।

पूंजी
छोटे शहर में छोटे स्तर पर खुद का मोबाइल रिपेयरिंग शॉप शुरू करने के लिए जरूरी सामान और शॉप को स्थापित करने के लिए कम से कम 30 से 50 हजार रुपए की जरूरत पड़ेगी। अगर बड़े शहर में या बड़े स्तर पर इस काम को शुरू करना चाहते हैं तो एक लाख रुपए और उससे अधिक की भी जरूरत पड़ सकती है। आप अपने बिजनेस एरिया के हिसाब से शॉप शुरू करने के लिए पूंजी लगा सकते हैं।

हिन्दुस्तान का वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें