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आप को खून पसीने से सींचा, छोड़ने का सवाल ही नहीं: छोटेपुर

आम आदमी पार्टी (आप) की पंजाब इकाई के संयोजक सुच्चा सिंह छोटेपुर ने दो टूक शब्दों में कहा कि वह किसी हालत में उस पार्टी को नहीं छोड़ेंगे जिसे उन्होंने बहुत मेहनत और खून पसीने से सींचा है। छोटेपुर ने...

आप को खून पसीने से सींचा, छोड़ने का सवाल ही नहीं: छोटेपुर
एजेंसीFri, 26 Aug 2016 08:38 PM
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आम आदमी पार्टी (आप) की पंजाब इकाई के संयोजक सुच्चा सिंह छोटेपुर ने दो टूक शब्दों में कहा कि वह किसी हालत में उस पार्टी को नहीं छोड़ेंगे जिसे उन्होंने बहुत मेहनत और खून पसीने से सींचा है।

छोटेपुर ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि खेदजनक तथ्य यह है कि पार्टी के लोग ही उनकी छवि को बदनाम करने की कोशिश कर रहे हैं और विरोधी ऐसे लोगों का बचाव कर रहे हैं। यह सब बड़ी साजिश के तहत हो रहा है। वह किसी के कहने पर पार्टी नहीं छोड़ेंगे जिसे राज्य में महज दो-ढाई साल के भीतर रात दिन एक करके खड़ा किया है। उन्होंने कहा कि मेरे चालीस साल से ज्यादा के सियासी कैरियर में किसी ने कोई इल्जाम नहीं लगाया और आप के कुछ नेताओं ने बदनाम कर दिया।

उन्होंने कहा कि दिल्ली के नेताओं ने उन्हें पार्टी को खड़ा करने के लिए एक पाई तक नहीं दी। राज्य में कोई पार्टी का फंड या बैंक में खाता तक नहीं। राज्य के लोगों ने अपनी हैसियत के अनुसार सहायता कर पार्टी को खड़ा करने में उनकी मदद की है। उन्होंने कहा कि मैंने अपने साथियों के साथ  19 घंटे तक काम किया और मेरा बिस्तर मेरी गाड़ी में पड़ा रहता है। अब जब पार्टी फर्श से अर्श तक पहुंच गई तो कुछ बड़े नेताओं की नजर में मैं खटकने लगा। मैंने कभी झूठ नहीं बोला और आम आदमी होने के नाते सदैव जनता की खिदमत की।

आप नेता ने कहा कि मैंने अपने को मुख्यमंत्री पद का दावेदार कभी नहीं कहा और न ही टिकट की दावेदारी जतायी। अब आप के वालंटियर्स को तय करना है कि मुझे क्या करना चाहिए। लोग जो कहेंगे वैसा ही करूंगा।

छोटेपुर ने कहा कि अपने ही लोग अपनों की रिकाडिग करें है इससे बड़ा दुर्भाग्य और क्या हो सकता है। यह तो सरासर जासूसी है। जब पार्टी ने कोई फंड नहीं दिया और लोग अपनी खुशी से पार्टी को मदद कर रहे हैं। ऐसे में अचानक यह सब मेरे खिलाफ साजिश क्यों रची गई।

उन्होंने कहा कि दिल्ली वालों को पंजाब के नेताओं पर कभी भरोसा ही नहीं रहा। पार्टी टिकट बंटवारे का मामला हो या कोई अन्य कभी यहां के नेतृत्व को नहीं पूछा गया। यही कारण है कि अब तक घोषित टिकटों में से करीब चौबीस पर असंतोष है। अब जनता ही आप का भविष्य तय करेगी। यूथ मैनीफेस्टो के समय कवर पेज पर दरबार साहिब के नीचे झाड़ू को दर्शाने के बारे में में पूछा तक नहीं गया।

यह पूछे जाने पर कि क्या केजरीवाल से उनका मिलने का कोई इरादा है, उन्होंने कहा कि धर्मशाला से लौटे केजरीवाल को काफी समय हो गया, लेकिन उन्होंने आप संयोजक होने के नाते एक बार भी मिलने को नहीं कहा।

छोटेपुर के खिलाफ नकद राशि लेने संबंधी स्टिंग आपरेशन के बाद पार्टी के प्रभारी से लेकर अन्य बड़े नेताओं ने उन्हें हर मामले में दरिकनार करना शुरू कर दिया और टिकटों के आबंटन से लेकर नाम तय करने के बारे में आप प्रदेश संयोजक होने के बावजूद उन्हें नहीं पूछा गया।

 

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