चौधरी अजित सिंह ने साधा केंद्र सरकार पर निशाना
राष्ट्रीय लोकदल के अध्यक्ष और पूर्व केंद्रीय मंत्री चौधरी अजित सिंह ने अपने सरकारी बंगले को पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह स्मारक में बदलने की मांग खारिज करने पर सरकार की आलोचना की है। अजित सिंह...
राष्ट्रीय लोकदल के अध्यक्ष और पूर्व केंद्रीय मंत्री चौधरी अजित सिंह ने अपने सरकारी बंगले को पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह स्मारक में बदलने की मांग खारिज करने पर सरकार की आलोचना की है। अजित सिंह ने स्मारक की मांग को लेकर हो रहे विरोध-प्रदर्शनों के लिए केंद्र की एनडीए सरकार को जिम्मेदार ठहराया है।
चौधरी अजित सिंह ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री के नाम पर स्मारक है। जिस बगंले में बाबू जगजीवन राम रहा करते थे, उसे भी कुछ माह पहले स्मारक में बदल दिया गया। बसपा के संस्थापक कांशीराम के नाम पर भी एक स्मारक बना है। इसलिए, सरकार की दलील के पीछे का तर्क समझ से परे है।
केंद्र सरकार ने चौधरी अजित सिंह ने सरकारी बंगले को चौधरी चरण सिंह स्मारक बनाने से इनकार किया है। केंद्रीय शहरी विकास मंत्री एम वेंकैया नायडू ने कहा कि केंद्र सरकार नियमों से बंधी है। उन्होंने सवाल उठाया कि जब यूपीए सत्ता में थी, तब कांग्रेस ने स्मारक घोषित क्यों नहीं किया। साथ ही यह भी साफ किया कि सरकारी आवास खाली कराने में राजनीतिक बदले की भावना जैसा कुछ भी नहीं है।
सरकार ने 12 तुगलक रोड को पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह के स्मारक के रूप में बदलने की मांग को यह कहते हुए खारिज कर दिया था कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने वर्ष 2000 में सरकारी बंगलों को दिवंगत नेताओं के नाम पर स्मारक में बदलने पर रोक लगा दी थी। लोकसभा चुनाव में रालोद अध्यक्ष चौधरी अजित सिंह और उनके बेटे जयंत चौधरी चुनाव हार गए, इसलिए उन्हें सरकारी बंगला खाली करना पड़ा है। यह बंगला 1978 में तत्कालीन प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह को आवंटित हुआ था।