काले धन के खुलासे से सरकारी खजाने में आए 30,000 करोड़
आईडीएस यानी आय घोषणा योजना में चार महीनों में कुल 65,250 करोड़ रुपये का खुलासा किया गया है और कुल 64,275 लोगों ने अपनी आय घोषित की है। हालांकि इनकी गणना पूरी होने के बाद इन आंकड़ों में थोड़ी वृद्धि
आईडीएस यानी आय घोषणा योजना में चार महीनों में कुल 65,250 करोड़ रुपये का खुलासा किया गया है और कुल 64,275 लोगों ने अपनी आय घोषित की है। हालांकि इनकी गणना पूरी होने के बाद इन आंकड़ों में थोड़ी वृद्धि हो सकती है। केंद्रीय वित्तमंत्री अरुण जेटली ने शनिवार को यह घोषणा की। सरकार को इस रकम में से जुर्माने और कर के रूप में 30,000 करोड़ रुपये से थोड़ी कम की आय होगी। इस रकम में 8000 करोड़ रुपये वे भी शामिल हैं जो एचएसबीसी की सूची में थे। फिलहाल जो आंकड़े जारी किए गए हैं वे अंतरिम हैं। इस संबंध में अंतिम आंकड़े का ऐलान केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड करेगा।
वित्त मंत्री ने कहा कि जिन लोगों ने कालेधन का खुलासा किया है उनके नाम सार्वजनिक नहीं किए जाएंगे। उनके खिलाफ कोई कार्रवाई भी नहीं की जाएगी। यह माना जा रहा है कि हैदराबाद कालेधन का खुलासा करने वाले शहरों में पहले नंबर पर है। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने प्रधान आयकर आयुक्तों को 30 सितंबर को मध्यरात्रि तक काउंटर खोलने के निर्देश दिए थे ताकि घरेलू आय घोषणा योजना (आईडीएस) के तहत लोगों को अपने बेहिसाबी धन की घोषणा करने में सुविधा हो।
काले धन के खुलासे से सरकारी खजाने में आए 30,000 करोड़
आधी रात के बाद भी काम करते रहे अधिकारी
समय सीमा समाप्त होने के दो घंटे पहले ही कर्मचारी घोषित कालेधन के आकलन में जुट गए थे। सीबीडीटी चीफ रानी सिंह नायर और राजस्व सचिव हंसमुख अधिया के निर्देशन में चार महीने में घोषित किए गए कालेधन के मूल्यांकन के लिए दिल्ली और मुंबई के वरिष्ठ इनकम टैक्स अधिकारी आधी रात के बाद तक काम करते रहे। घोषणा के आखिरी दिन कैबिनेट सचिवालय के नॉर्थ ब्लॉक स्थित सीबीडीटी के ऑफिस में देर रात तक काम चलता रहा।
काले धन के खुलासे से सरकारी खजाने में आए 30,000 करोड़
आईडीएस
01 जून 2016 को शुरू की गई थी आईडीएस योजना
45 फीसदी टैक्स देकर कालेधन का कर सकते थे खुलासा
30 नवंबर तक घोषित ब्लैकमनी की 25 फीसदी राशि जमा करनी होगी
30 सितंबर 2017 तक आखिरी किस्त जमा करनी होगी।
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अब होगी सख्त कार्रवाई
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हाल में कहा था कि 30 सितंबर के बाद अगर किसी के पास कालाधन पाया जाता है तो सख्त कार्रवाई की जाएगी। इस मामले में उम्र कैद तक की सजा हो सकती है।
काले धन के खुलासे से सरकारी खजाने में आए 30,000 करोड़
1997 में पहली योजना
आईडीएस योजना को लेकर आशंका थी कि क्या इस बार 1997 में एचडी देवेगौड़ा के कार्यकाल में वित्तमंत्री पी चिदंबरम द्वारा चलाए गए घरेलू आय घोषणा योजना के तहत घोषित हुए 33 हजार करोड़ रुपये का आंकड़ा पार हो सकेगा। उस दौरान चार लाख से अधिक लोगों ने अपनी बेहिसाब संपत्ति का ब्योरा दिया था। इसकी तुलना में पिछले साल विदेशों में जमा कालेधन के रूप में केवल 4164 करोड़ रुपये की घोषणा हुई थी, जिससे टैक्स के रूप में केवल 2428 करोड़ रुपयों की प्राप्ति हुई थी।
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