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राज्यपाल ने कहा, भारतीय संस्कृति मधु के समान

मगध यूनिवर्सिटी में इंटर रीलिजियस अंडरस्टैंडिंग विषय पर आयोजित सेमिनार के समापन सत्र पर राज्यपाल रामनाथ कोविंद रविवार को बोधगया में थे। समापन सत्र को संबोधित करते हुए राज्यपाल ने कहा कि भारतीय...

राज्यपाल ने कहा, भारतीय संस्कृति मधु के समान
लाइव हिन्दुस्तान टीमSun, 25 Sep 2016 09:45 PM
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मगध यूनिवर्सिटी में इंटर रीलिजियस अंडरस्टैंडिंग विषय पर आयोजित सेमिनार के समापन सत्र पर राज्यपाल रामनाथ कोविंद रविवार को बोधगया में थे। समापन सत्र को संबोधित करते हुए राज्यपाल ने कहा कि भारतीय संस्कृति चींटियों द्वारा एकत्र किये गये अन्न के कणों की तरह नहीं है। बल्कि मधुमक्खियों के शहद की तरह है। इसमें सभी पुष्पों का तत्व समाहित है। रविवार को सेमिनार में राज्यपाल शामिल हुए और समापन सत्र को संबोधित किया।

राज्यपाल ने कहा कि जब तक समाज का दृष्टिकोण नहीं बदलेगा, तब तक देश नहीं बदलेगा। धर्मों की भाषा भिन्न है, किन्तु विचार एक ही है। जरूरत इस बात की है कि हम मंदिर, मस्जिद, गिरिजाघर, गुरुद्वारा में बैठ कर करुणा, मैत्री और भाई चारे को बढ़ावा दें। 

उन्होंने उदाहरण स्वरूप कहा कि पानी को किसी नाम से पुकारे लेकिन उसके गुण और स्वरुप में कोई अंतर नहीं आता। उन्होंने कहा कि भारत में धार्मिक विविधता है और यही इसकी शक्ति है। एमयू के वीसी प्रो. मो. इश्तियाक ने कहा कि अमन चैन मानवीय गरिमा और भाईचारा के पैगाम के लिए यह प्रयास आनेवाले दिनों में रंग लायेगा।  उन्होंने बताया कि  सेमिनार में विशेषज्ञों द्वारा 9 विषयों पर कुल 50 शोधपत्र पढ़े गए। आरके शर्मा ने कहा कि बच्चों प्रारंभिक शिक्षा के तहत ही सवधर्म की ऐसी घुटी दी जाय जिसे वह जीवन पर्यन्त समाहित रख सके।

आईओसी के अध्यक्ष डॉ. मंजूर आलम एवं डॉ. जेड एच खान ने संगोष्ठी के मूल तथ्यों पर प्रकाश डाला। कुलपति प्रो मो इश्तियाक ने अतिथियों को प्रतीक चिन्ह देकर सम्मानित किया। इस मौके पर प्रथम महिला सविता कोविंद, कमिश्नर लियान कुंगा, डीआईजी सौरभ कुमार, एसएसपी गरीमा मल्लिक, डॉ. इसराईल खां, रजिस्ट्रार सीताराम सिंह सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे। समारोह के अंत में बौद्ध अध्यन विभाग के प्रो. सुशील कुमार सिंह ने धन्यवाद ज्ञापन किया।

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