स्वास्थ्य व्यवस्था पर व्यंग्य करता है नाटक बाघिन
कला केंद्र में रविवार को संबंध नाट्य संस्था की तरफ से बाघिन नाटक का मंचन किया गया। नाटक के जरिए बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्था पर व्यंग्य किया गया है। नाटक में एक प्रसूता लखिया बहू की कहानी बताई गई जो...
कला केंद्र में रविवार को संबंध नाट्य संस्था की तरफ से बाघिन नाटक का मंचन किया गया। नाटक के जरिए बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्था पर व्यंग्य किया गया है। नाटक में एक प्रसूता लखिया बहू की कहानी बताई गई जो प्रसव कराने पहले शहर के प्राइवेट अस्पताल जाती है लेकिन उसे वहां इलाज नहीं मिलता। इसके बाद उसके घरवाले सरकारी अस्पताल ले जाते हैं लेकिन वहां की हालत देख उसके घरवाले परेशान हो जाते हैं। प्रसूता की सास गंगिया डॉक्टर से लेकर नर्स तक जाती है लेकिन सभी उसे दुत्कार देते हैं। जब लखिया मरनासन्न हो जाती है तब उसके ऑपरेशन की तैयारी होती है। ऑपरेशन में देरी होने से जच्चा और बच्चा दोनों मर जाते हैं। इसके बाद गंगिया डॉक्टर पर टूट पड़ती है। वह बाघिन की तरह दहाड़ती है। नाटक में मुख्य भूमिका में गुणनिधि पंडित, बिपिन कुमार, पंकज गुप्ता, मेघा कुमारी थे। सूत्रधार की भूमिका साहिल सिंह ने निभाई। इसके अलावा परवेज आलम, सुमित मिश्रा, खुशबू कुमारी, नितिन अनिमेष, कुमार सत्यम, डॉ साधाना, आदि भी शामिल थे। संचालन रोशन कुमार यादव ने किया। संबंध संस्था के रीतेश रंजन ने कहा कि दर्शकों का खूब प्यार नाटक को मिला।